झारखंड की पूर्व भाजपा सरकार के पांच मंत्रियों, जिनमें से वर्तमान में चार विधायक भी हैं, के पास एसीबी ने आय से अधिक संपत्ति होने की पुष्टि की थी. इन नेताओं में अमर कुमार बाउरी, रणधीर कुमार सिंह, डॉ. नीरा यादव, लुइस मरांडी और नीलकंठ सिंह मुंडा शामिल हैं.
भ्रष्टाचार संबंधी मामलों पर नज़र रखने वाले ‘पीपुल राइट टू इनफॉरमेशन एंड डेवलपमेंट इम्पलीमेंटिंग सोसाइटी ऑफ मिज़ोरम’ और वरिष्ठ नागरिक संघ ‘मिज़ोरम उपा पाउल’ ने 2009 में मुख्यमंत्री जोरमथांगा पर लोकसेवक के तौर पर अपने अधिकारों का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया था.
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, यूपी विधानसभा चुनाव के मद्देनज़र भाजपा ईडी के वरिष्ठ अधिकारी राजेश्वर सिंह को पार्टी में ला सकती है. ग़ौरतलब है कि भाजपा सरकार ने ही साल 2018 में आय से अधिक संपत्ति मामले में सिंह के ख़िलाफ़ जांच शुरू की थी. हाल में सामने आई पेगासस निगरानी के संभावितों की सूची में भी सिंह का नाम था.
गोवा के लोकायुक्त जस्टिस अंबादास जोशी का कहना है कि उनके पूर्ववर्ती जस्टिस प्रफुल्ल कुमार मिश्रा ने 15 सितंबर 2020 को गोवा सरकार को भाजपा विधायक पांडुरंग मडकाइकर के ख़िलाफ़ एफ़आईआर दर्ज करने के निर्देश दिए थे, लेकिन राज्य की प्रमोद सावंत सरकार ने कोई कार्रवाई नहीं की. मडकाइकर पर आय से अधिक संपत्ति का आरोप है.
राज्य के बेसिक शिक्षा मंत्री सतीश द्विवेदी ईडब्ल्यूएस कोटे से असिस्टेंट प्रोफेसर के तौर पर भाई की नियुक्ति संबंधी आरोपों के बाद अब 1.26 करोड़ मूल्य की ज़मीन को 20 लाख रुपये में खरीदने के विवाद में घिर गए हैं. विपक्ष ने उनकी संपत्ति की जांच करवाते हुए उन्हें कैबिनेट से बर्ख़ास्त करने की मांग की है.