एक जनहित याचिका में चार्ल्स डार्विन के विकासवाद के सिद्धांत और आइंस्टीन के विशेष सापेक्षता के सिद्धांत, जो द्रव्यमान और ऊर्जा (E=MC²) की समानता को व्यक्त करता है, को चुनौती दी गई थी. अदालत ने याचिका ख़ारिज करते हुए याचिकाकर्ता से कहा कि आप ख़ुद को फिर से शिक्षित करें.
किसी भी देश या समाज का यह रवैया कि उसकी धार्मिक पुस्तक या मान्यताएं थियरी आॅफ एव्रीथिंग हैं और इनमें ही भूत, वर्तमान, भविष्य का सारा ज्ञान और विज्ञान निहित है, बहुत ही आत्मघाती है.
हालांकि विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री डॉ. हर्षवर्धन इस सूचना का स्रोत नहीं बता पाए.