अपने संवेदनशील सैन्य प्रतिष्ठानों के ऊपर उड़ रहे एक चीनी जासूसी गुब्बारे को अमेरिका ने बीते 4 फरवरी को मार गिराया था. अब अमेरिकी अख़बार ‘द वॉशिंगटन पोस्ट’ ने अपनी एक रिपोर्ट में बताया है कि चीन से संचालित जासूसी गुब्बारों ने जापान, भारत, वियतनाम, ताइवान और फिलीपींस सहित चीन के लिए उभरते रणनीतिक हित के देशों और क्षेत्रों में सैन्य संपत्ति के बारे में जानकारी एकत्र की है.
ब्रिटेन के गृह मंत्रालय ने कहा कि गृह मंत्री प्रीति पटेल ने 50 वर्षीय ऑस्ट्रेलियाई नागरिक असांजे के प्रत्यर्पण आदेश पर हस्ताक्षर कर दिए हैं. हालांकि असांजे के पास इसके ख़िलाफ़ अपील करने के लिए 14 दिन का समय है. असांजे 2010 और 2011 में हज़ारों गोपनीय सैन्य तथा राजनयिक दस्तावेज़ों के प्रकाशन के मामले में अमेरिका में वांछित हैं.
लंदन हाईकोर्ट ने निचली अदालत के उस फैसले को पलट दिया जिसमें विकीलीक्स के सह-संस्थापक जूलियन असांजे के मानसिक स्वास्थ्य का हवाला देते हुए प्रत्यर्पण के अमेरिकी अनुरोध को खारिज़ कर दिया था. असांजे पर अमेरिका ने जासूसी के 17 आरोप लगाए हैं, जबकि एक आरोप कंप्यूटर के दुरुपयोग का भी है.
विकिलीक्स के सह-संस्थापक जूलियन असांजे पर अमेरिका ने जासूसी के 17 आरोप लगाएं हैं, जबकि एक आरोप कंप्यूटर के दुरुपयोग का भी है. इन आरोपों में अधिकतम सज़ा 175 साल क़ैद है.
सोमवार को इस्लामाबाद में दो भारतीय उच्चायोग कर्मचरियों को कथित तौर पर गिरफ़्तार करने के बाद भारत ने पाकिस्तान के उपराजदूत को तलब किया था. बताया जा रहा है कि छोड़े जाने के बाद दोनों कर्मचारियों के शरीर पर चोटें मिली हैं, जो उनके साथ हिरासत में मारपीट होने का इशारा करती हैं.
पाकिस्तान ने जासूसी के आरोप में नई दिल्ली स्थित अपने उच्चायोग से दो अधिकारियों को निष्कासित किए जाने के भारत के फैसले पर कड़ी आपत्ति जताने के लिए भारतीय दूतावास के राजनयिक को सोमवार को तलब किया.
पिछले साल जुलाई में अंतरराष्ट्रीय अदालत ने अपने फैसले में पाकिस्तान को राजनयिक पहुंच की अनुमति देने और मौत की सजा की प्रभावी समीक्षा करने का निर्देश दिया था. अदालत ने कहा था कि पाकिस्तान ने राजनयिक पहुंच न देकर अंतर्राष्ट्रीय कानून का उल्लंघन किया है
आंध्र प्रदेश खुफिया विभाग द्वारा 19 दिसंबर को जासूसी रैकेट का भंडाफोड़ किया गया था. इसमें दावा किया गया था कि 2017 में भर्ती किए गए नाविकों ने कथित तौर पर नौसैनिक जहाजों और पनडुब्बियों के स्थानों की जानकारी साझा की थी, क्योंकि वे एक हनीट्रैप में फंस गए थे.
अंतरराष्ट्रीय अदालत ने जुलाई में भारत के पक्ष में फैसला देते हुए कुलभूषण जाधव की फांसी की सज़ा पर रोक लगा दी थी और कहा था कि पाकिस्तान जाधव को दी गई मौत की सज़ा पर समीक्षा करे. जाधव को पाकिस्तान में जासूसी के आरोप में गिरफ़्तार किया गया है.
जुलाई में अंतरराष्ट्रीय अदालत के निर्देश के बाद पाकिस्तान ने जाधव को राजनयिक पहुंच दी थी, जिसके बाद दो सितंबर को इस्लामाबाद में भारतीय उच्चायोग के प्रभारी गौरव अहलूवालिया ने जाधव से मुलाकात की थी.
भारत को पहली बार पाकिस्तान की जेल में बंद भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव तक राजनयिक पहुंच मिली. सोमवार को इस्लामाबाद में भारत के उप उच्चायुक्त गौरव अहलूवालिया ने जाधव से मुलाकात की. यह मुलाकात अंतरराष्ट्रीय अदालत द्वारा दी गई व्यवस्था के तहत हुई.
पाकिस्तान के विदेश कार्यालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने बीते रविवार को ट्वीट कर कहा था कि कुलभूषण जाधव को राजनयिक संबंधों पर वियना कन्वेंशन, अंतरराष्ट्रीय कोर्ट के फैसले और पाकिस्तान के कानूनों के अनुरूप राजनयिक पहुंच दो सितंबर को उपलब्ध कराई जाएगी.
आईसीजे और अंतरराष्ट्रीय क़ानून से फिलहाल बस थोड़ा-सा समय मिला है, जिसका उपयोग भारत और पाकिस्तान दोनों के ही राजनीतिक नेतृत्व को उस संकट से बाहर निकलने में करना चाहिए, जहां एक इंसान की ज़िंदगी पर तलवार न लटक रही हो.
अंतरराष्ट्रीय न्याय अदालत ने भारत के पक्ष में फैसला सुनाते हुए पाकिस्तान से जाधव को राजनयिक पहुंच मुहैया कराने को कहा था. कुलभूषण जाधव जासूसी के आरोप में पाकिस्तान की जेल में बंद हैं.
वीडियो: जासूसी के आरोप में पाकिस्तान की जेल में बंद कुलभूषण जाधव को दी गई फांसी की सज़ा पर अंतरराष्ट्रीय न्याय अदालत ने रोक लगा दी. इस मुद्दे पर द वायर के संस्थापक संपादक सिद्धार्थ वरदराजन से आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की बातचीत.