उत्तर प्रदेश के ग़ाज़ियाबाद के लोनी इलाके में अब्दुल समद सैफ़ी नाम के एक मुस्लिम बुज़ुर्ग पर हमला करने और उन्हें ‘जय श्री राम’ कहने पर मजबूर करने का मामला सामने आया था. पीड़ित बेटे का कहना है कि पिता ने लिखित शिकायत में उनके साथ हुए दुर्व्यवहार का वर्णन किया है, लेकिन पुलिस ने जो एफ़आईआर लिखी है, उसमें उनके मुख्य विवरण को शामिल नहीं किया गया है.
उत्तर प्रदेश के ग़ाज़ियाबाद के लोनी इलाके में अब्दुल समद सैफ़ी नाम के एक मुस्लिम बुज़ुर्ग पर हमला करने और उन्हें ‘जय श्री राम’ कहने पर मजबूर करने का मामला सामने आया था. इस संबंध में दिल्ली के तिलक मार्ग थाने में दी गई एक शिकायत में अभिनेत्री स्वरा भास्कर, ट्विटर के एमडी मनीष माहेश्वरी, द वायर की वरिष्ठ संपादक आरफ़ा ख़ानम शेरवानी, ट्विटर इंक, ट्विटर इंडिया और आसिफ़ ख़ान का नाम शामिल है.
द वायर समेत अन्य मीडिया संस्थानों ने उत्तर प्रदेश के ग़ाज़ियाबाद के लोनी इलाके में एक मुस्लिम बुज़ुर्ग पर हमला कर उन्हें ‘जय श्री राम’ कहने पर मजबूर करने का आरोप लगाने से संबंधित ख़बर प्रकाशित की थी. इसे लेकर द वायर और अन्य तमाम लोगों के ख़िलाफ़ यूपी पुलिस ने केस दर्ज किया है.
गाज़ियाबाद में मुस्लिम बुज़ुर्ग की बर्बर पिटाई के संबंध में ट्वीट करने के मामले में मंगलवार देर रात ऑल्ट न्यूज़ के मोहम्मद ज़ुबैर, पत्रकार राना अय्यूब, द वायर, कांग्रेस नेता सलमान निजामी, मशकूर उस्मानी, शमा मोहम्मद, लेखक सबा नकवी, ट्विटर इंक व ट्विटर कम्युनिकेशंस इंडिया प्रा. के ख़िलाफ़ पुलिस ने एफआईआर दर्ज की है.
घटना महोबा की है, जहां हाल ही में ग्राम प्रधान बनीं एक दलित महिला ने आरोप लगाया है कि गांव के पंचायत भवन में ज़िले के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान वहां मौजूद कुछ लोगों ने उनके साथ दुर्व्यवहार किया. उन्हें कुर्सी से उतरने को कहते हुए जातिसूचक टिप्पणियां भी की गईं.
यह मामला पूर्व मेदिनीपुर ज़िले के कांथी नगरपालिका प्रशासनिक बोर्ड के सदस्य रत्नदीप मन्ना की शिकायत पर दर्ज किया गया है. शिकायत में कहा गया है कि 29 मई 2021 को भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी और उनके भाई सौमेंधु अधिकारी के निर्देश पर नगपालिका के ऑफिस के गोदाम से लाखों रुपये की कीमत के सरकारी तिरपाल की चोरी की गई है.
भाजपा नेता अजय श्याम ने हिमाचल प्रदेश के शिमला ज़िले के कुमारसैन थाने में पिछले साल विनोद दुआ के ख़िलाफ़ राजद्रोह समेत विभिन्न धाराओं में केस दर्ज कराया था. उन्होंने आरोप लगाया था कि विनोद दुआ ने अपने यूट्यूब कार्यक्रम में प्रधानमंत्री पर आरोप लगाए थे कि उन्होंने वोट लेने के लिए ‘मौतों एवं आतंकी हमलों’ का इस्तेमाल किया है. सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में कहा है कि मीडिया के संदर्भ में राजद्रोह क़ानून की सीमाएं तय करने की
एलोपैथी पर योग गुरु रामदेव की टिप्पणी से नाराज़ रेजिडेंट डॉक्टरों के एसोसिएशन के परिसंघ ने कहा है कि वे एक जून को देशभर में प्रदर्शन करेंगे. उन्होंने रामदेव से बिना शर्त के सार्वजनिक रूप से माफ़ी मांगने को भी कहा है. इसी बयान पर आईएमए की पश्चिम बंगाल इकाई ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई है.
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ने दिल्ली के आईपी स्टेट थाने में दर्ज करवाई गई शिकायत में कहा कि रामदेव ने कोविड-19 की स्थिति का लाभ उठाने के लिए एलोपैथिक दवाओं और आधुनिक चिकित्सा विज्ञान के अन्य संबद्ध उपचार तकनीकों के बारे में भ्रामक और ग़लत बयानबाज़ी की है.
मुंबई के पत्रकार वरुण हिरेमथ पर एक महिला ने बलात्कार का आरोप लगाते हुए दिल्ली के चाणक्यपुरी थाने में एफआईआर दर्ज कराई है. फरवरी में मामला दर्ज होने के बाद से ही आरोपी फ़रार हैं. महिला ने केंद्रीय गृह मंत्री, पुलिस कमिश्नर और सहायक पुलिस आयुक्त को पत्र लिखकर आरोपी को गिरफ़्तार करने में प्रशासन की अनिच्छा को लेकर रोष जताया है.
उत्तर प्रदेश की वाराणसी पुलिस ने गूगल के मुख्य कार्यकारी अधिकारी सुंदर पिचई सहित 18 लोगों के खिलाफ पिछले सप्ताह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कथित तौर पर छवि खराब करने वाले वीडियो को लेकर मामला दर्ज किया.
वीडियो: दिल्ली पुलिस ने स्वतंत्र पत्रकार मनदीप पुनिया को सिंघू बॉर्डर प्रदर्शन स्थल से गिरफ्तार किया था जहां केंद्र के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ किसान प्रदर्शन कर रहे हैं. द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी ने ग़ाज़ीपुर बॉर्डर जाकर डिजिटल मीडिया के पत्रकारों से बात की.
वीडियो: दिल्ली के सिंघू बाॅर्डर पर किसानों के आंदोलन को कवर कर रहे स्वतंत्र पत्रकार मनदीप पुनिया को बीते 30 जनवरी को दिल्ली पुलिस ने गिरफ़्तार कर लिया था. रिहा होने के बाद उनसे द वायर के सिराज अली ने बातचीत की.
दिसंबर 2019 में सीएए के ख़िलाफ़ एक प्रदर्शन में हुई झड़प के बाद दिल्ली पुलिस ने जामिया मिलिया परिसर में घुसकर लाठीचार्ज किया था, जिसमें क़रीब 100 लोग घायल हुए थे. विश्वविद्यालय ने बिना अनुमति प्रवेश और छात्रों व सुरक्षा गार्डों पर हमले के आरोप में पुलिस पर एफआईआर दर्ज करने की याचिका दायर की थी.
स्वतंत्र पत्रकार मंदीप पुनिया को सिंघू बॉर्डर से शनिवार को हिरासत में लेने के बाद रविवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा गया था. अदालत ने उन्हें ज़मानत देते हुए कहा कि शिकायतकर्ता, पीड़ित, गवाह सब पुलिसकर्मी हैं. इस बात की संभावना है नहीं कि आरोपी किसी पुलिस अधिकारी को प्रभावित कर सकता है.