लोकसभा चुनाव ‘डिक्टेटर’ की दौड़ बन चुका है

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार चुनाव शुरू होने के ऐलान के पहले सरकारी ख़र्चे से अपना प्रचार बड़े पैमाने पर कर चुकी थी. इस तरह वह पहले ही उस रेस में दौड़ना शुरू कर चुकी थी जहां विपक्षी दल इसके शुरू होने घोषणा का इंतज़ार कर रहे थे.

बीबीसी ने एफडीआई नियमों के चलते भारत में अपना कामकाज नई कंपनी ‘कलेक्टिव न्यूज़रूम’ को सौंपा

भारत में संचालित डिजिटल समाचार संगठनों के लिए नए नियमों के तहत 26 प्रतिशत प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की सीमा तय की गई है, जिसके चलते बीबीसी ने भारत में अपना न्यूज़रूम प्रकाशन लाइसेंस 'कलेक्टिव न्यूज़रूम' नामक निजी कंपनी को सौंप दिया, जिसे इसके ही चार पूर्व कर्मचारियों ने स्थापित किया है.

प्रबीर पुरकायस्थ-न्यूज़क्लिक के समर्थन में विपक्षी नेता, पत्रकार और नागरिक समाज एकजुट हुए

विदेशी फंडिंग प्राप्त करने के आरोप में बीते छह माह से जेल में बंद न्यूज़क्लिक के प्रधान संपादक प्रबीर पुरकायस्थ के समर्थन में एकजुटता व्यक्त करने के लिए राजधानी दिल्ली में आयोजित एक कार्यकर्म में विपक्षी नेताओं, पत्रकारों और नागरिक समाज के लोगों ने मोदी सरकार पर असहमति की आवाज़ कुचलने और नागरिकों के संवैधानिक अधिकारों के हनन का आरोप लगाया.

भारत में कौन जनतंत्र को ज़िंदा रखना चाहता है

चुनाव के साफ़ सुथरा और निष्पक्ष होने में विपक्ष के अलावा जनता को दिलचस्पी होनी चाहिए. आशा की जाती है कि जब शासक दल निरंकुश होने लगे तो राज्य की बाक़ी संस्थाएं मिलकर जनतांत्रिक प्रक्रियाओं की हिफ़ाज़त करेंगी. लेकिन जान पड़ता है राज्य की सभी संस्थाओं ने भाजपा में अपना विलय कर दिया है.

‘एनडीए अब गठबंधन नहीं भाजपा के वर्चस्व वाला जमावड़ा है, जिसमें अधिकतर घटक दल मजबूरी में हैं’

साक्षात्कार: डाॅ. रामबहादुर वर्मा जाने-माने राजनीति विज्ञानी, लेखक व स्तंभकार हैं, जो राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय राजनीति के दो टूक विश्लेषण के लिए जाने जाते हैं. 2024 लोकसभा चुनाव के मद्देनज़र उनसे बातचीत.

फ़र्ज़ी टीआरपी: कोर्ट ने अर्णब गोस्वामी, 21 अन्य के ख़िलाफ़ दर्ज केस वापस लेने की अनुमति दी

महाराष्ट्र सरकार ने मुंबई पुलिस के जरिये पिछले साल नवंबर में साल 2020 के कथित फ़र्ज़ी टीआरपी मामले में रिपब्लिक टीवी के प्रधान संपादक अर्णब गोस्वामी सहित 22 आरोपियों के ख़िलाफ़ दर्ज एफआईआर वापस लेने की अर्ज़ी दायर की थी.

दरबारी मीडिया शर्मसार; नफ़रत फैलाने पर न्यूज़ चैनलों पर लगा जुर्माना

वीडियो: न्यूज़ ब्रॉडकास्टिंग एंड डिजिटल स्टैंडर्ड्स अथॉरिटी (एनबीडीएसए) ने नफ़रत और सांप्रदायिक वैमनस्य फैलाने में भूमिका निभाने के लिए टाइम्स नाउ नवभारत, न्यूज़18 और आज तक से तीन शो हटाने को कहा है और जुर्माना भी लगाया है. विस्तार से बता रही हैं द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी.

न्यूज़ ब्रॉडकास्टिंग अथॉरिटी ने टाइम्स नाउ नवभारत, न्यूज़18, आज तक को तीन शो हटाने को कहा

न्यूज़ ब्रॉडकास्टिंग एंड डिजिटल स्टैंडर्ड्स अथॉरिटी ने टाइम्स नाउ नवभारत को 1 लाख रुपये व न्यूज़18 इंडिया को 50,000 रुपये जुर्माना भरने का आदेश दिया है और आजतक को चेतावनी दी है. इन कार्यक्रमों की एंकरिंग सुधीर चौधरी, अमीश देवगन, अमन चोपड़ा और हिमांशु दीक्षित ने की थी.

भाजपा का सोशल मीडिया फेक न्यूज़ की फैक्ट्री है: सुप्रिया श्रीनेत

वीडियो: राहुल गांधी की 'भारत जोड़ो न्याय यात्रा', आगामी लोकसभा चुनावों के लिए कांग्रेस पार्टी की तैयारी समेत विभिन्न विषयों पर कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत से बात कर रही हैं द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी.

यूपी: एक्स पर ग़लत तस्वीरें पोस्ट करने पर पत्रकार के ख़िलाफ़ मानहानि का मामला दर्ज

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को पुलिसकर्मियों के एक आवासीय परिसर का उद्घाटन किया था. पुलिस का कहना है कि एक चैनल के साथ काम करने वाले ग़ाज़ियाबाद के पत्रकार ने सोशल मीडिया पर उक्त परिसर की तस्वीर के बजाय अन्य निर्माणाधीन इमारत की तस्वीर डाली, जो सरकार और ग़ाज़ियाबाद पुलिस को बदनाम करने का प्रयास था.

लोकतंत्र, संविधान और सच की रक्षा करने में विफल रहा है मीडिया: जस्टिस कुरियन जोसेफ

सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश जस्टिस कुरियन जोसेफ ने एक कार्यक्रम में मीडिया को लेकर कहा कि लोकतंत्र पर सबसे बड़ा आघात यह है कि इसके चौथे स्तंभ मीडिया ने देश को हताश किया है. वे लोकतंत्र और संविधान की रक्षा करने, सच्चाई का बचाव करने में विफल रहे हैं.

निर्भयता ऐसे नहीं आती: उसके लिए जतन ज़रूरी है

कभी-कभार | अशोक वाजपेयी: आज अगर साहित्य और कलाएं निर्भयता का परिसर नहीं हैं, अगर वे निर्भय नहीं करतीं तो यह उनका नैतिक और सभ्यतामूलक कदाचरण होगा. भय के आगे आत्मसमर्पण करना भारतीय प्रश्नवाची परंपरा, लोकतंत्र और साहित्य-कलाओं की सामाजिक ज़िम्मेदारी के साथ विश्वासघात के बराबर होगा.

निर्वासित किए जाने के ख़तरे के बीच फ्रांसीसी पत्रकार वेनेसा डॉनेक ने भारत छोड़ा

फ्रांसीसी पत्रकार वेनेसा डॉनेक 25 साल से भारत में थीं. वह चार फ्रांसीसी प्रकाशनों की दक्षिण एशियाई संवाददाता थीं. गृह मंत्रालय के नोटिस में उन पर लगाए गए आरोपों में भारत के बारे में ‘नकारात्मक धारणा’ बनाने वाली ‘दुर्भावनापूर्ण’ रिपोर्टिंग से लेकर अव्यवस्था भड़काना, प्रतिबंधित क्षेत्रों की यात्रा के लिए अनुमति न लेना और पड़ोसी देशों पर रिपोर्टिंग करना शामिल है.

कश्मीर में सेना की हिरासत में नागरिकों की मौत संबंधी ‘कारवां’ की रिपोर्ट सरकार ने हटाने को कहा

‘कारवां’ पत्रिका को आईटी अधिनियम के तहत मिले एक नोटिस में कहा गया है कि अगर वह 24 घंटे के भीतर अपनी वेबसाइट से जम्मू कश्मीर में सेना द्वारा आम नागरिकों की कथित हत्या से संबंधित लेख नहीं हटाती है, तो पूरी वेबसाइट हटा दी जाएगी. पत्रिका ने इसे अदालत में चुनौती देने की बात कही है.

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