आज जब लोकतंत्र का अस्तित्व संकट में है, तब भी छोटे राजनीतिक कद लेकिन विराट अहंकारी विपक्षी नेता आपसी सहमति और एकजुटता से चुनाव लड़ने को इच्छुक नहीं हैं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न देने की घोषणा के बाद जयंत चौधरी की रालोद हाल ही में एनडीए में शामिल हुई थी. शाहिद सिद्दीकी ने कहा है कि वे पार्टी के गठबंधन करने के फैसले के साथ सामंजस्य बैठाने में असमर्थ हैं.
चुनाव आयोग को सौंपे जनता दल (यूनाइटेड) के हलफनामे में पार्टी ने घोषणा की है कि उसे 10 अप्रैल 2019 से 26 अप्रैल 2019 के बीच चुनावी बॉन्ड के माध्यम से 13 करोड़ रुपये मिले, लेकिन पार्टी ने चंदादाताओं में से केवल दो का ही नाम बताया है.
आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने से मोदी सरकार के इनकार के बाद तेलुगु देशम पार्टी 2018 में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन से बाहर हो गई थी. फरवरी 2019 में, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने घोषणा की थी कि नायडू के लिए एनडीए के दरवाजे स्थायी रूप से बंद हो गए हैं, जिन्हें उन्होंने 'यू-टर्न सीएम' करार दिया था.