जयंती विशेष: 19वीं सदी के उत्तरार्ध में महिला अधिकारों की स्थिति कहीं बदतर थी. ऐसे में ख़ुद बाल विवाह का शिकार हुईं बॉम्बे की रखमाबाई ने इस विवाह के विरुद्ध अपनी पूरी शक्ति से मुखर हुईं, तो पितृसत्ता व पुनरुत्थान के सारे पैरोकार तिलमिलाहट से भरकर उनके विरुद्ध हमलावर हो उठे थे.
1856 में ईस्ट इंडिया कंपनी के अवध के नवाब वाजिद अली शाह को जबरन अपदस्थ कर निर्वासित किए जाने के बाद उनकी मां एक शिष्टमंडल के साथ ब्रिटेन की क्वीन विक्टोरिया से मिलने लंदन गई थीं. लेकिन विक्टोरिया ने मदद तो दूर, दस महीनों तक उनसे भेंट करना गवारा नहीं किया.