विपक्षी इंडिया गठबंधन दलों से जुड़े 16 छात्र संगठनों ने केंद्र सरकार की राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) के ख़िलाफ़ प्रदर्शन के लिए ‘यूनाइटेड स्टूडेंट्स ऑफ इंडिया’ के गठन की घोषणा की. नेताओं ने कहा कि आरएसएस समर्थित सरकार का लक्ष्य न केवल शिक्षा प्रणाली को कमज़ोर और नष्ट करना है, बल्कि वह इसे एक सांप्रदायिक और विनाशकारी योजना में बदलना भी चाहती है.
केरल हाईकोर्ट ने यह टिप्पणी एक याचिका का निस्तारण करते हुए की, जिसमें छात्र संगठनों या राजनीतिक दलों द्वारा बुलाए गए 'शैक्षणिक बंद' को अवैध ठहराने का अनुरोध किया गया था.