मधु लिमये पक्के राष्ट्रप्रेमी और देशभक्त थे, जो सांप्रदायिकता के ख़िलाफ़ खड़े रहे

स्वतंत्रता संग्राम सेनानी मधु लिमये ने अपने 50 वर्ष भी अधिक लंबे सार्वजनिक और राजनीतिक जीवन में अपने राजनीतिक सिद्धांतों को मज़बूती से पकड़े रखा और उनसे कभी कोई समझौता नहीं किया. वे द्विराष्ट्रवाद सिद्धांत के ख़िलाफ़ थे और हमेशा सांप्रदायिक मुस्लिम राजनीति की मुख़ालिफ़त की.

असम: अवैध कोयला खदान में फंसे लोगों में से एक का शव बरामद, बचाव अभियान जारी

असम के दीमा हसाओ ज़िले में अवैध कोयला खदान में फंसे खनिकों में से एक का शव बुधवार सुबह बरामद किया गया. उमरंगसो कोयला भंडार में एक रैट होल खदान में काम कर रहे कम से कम नौ खनिक सोमवार सुबह फंस गए थे, जब खदान में पानी भर गया.

नियुक्तियां न होने पर नाराज़ कोर्ट, कहा- सूचना आयोग बनाकर क्या फायदा, जब काम करने वाले नहीं

सुप्रीम कोर्ट ने सूचना आयुक्तों की नियुक्तियों में देरी पर केंद्र और राज्यों को फटकार लगाते हुए नियुक्ति प्रक्रिया तेज़ी से पूरी करने और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के निर्देश दिया है.

राज्यों के पास मुफ़्त योजनाओं के लिए खूब पैसा है, मगर जजों के वेतन के लिए नहीं: सुप्रीम कोर्ट

अदालत न्यायिक अधिकारियों के वेतन और पेंशन के संबंध में लंबित एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी. इस संबंध में जब अटॉर्नी जनरल ने सरकार के बढ़ते पेंशन बिल का ज़िक्र किया तब जस्टिस गवई ने सरकारों द्वारा मुफ़्त सुविधाएं और धनराशि दिए जाने पर टिप्पणी की.

तमिलनाडु: यूजीसी के राज्यपालों को कुलपति नियुक्तियों में अधिक शक्ति देने के ख़िलाफ़ सीएम स्टालिन

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने कहा कि यूजीसी के नए नियम राज्यपालों को कुलपतियों की नियुक्तियों पर व्यापक नियंत्रण प्रदान करते हैं और ग़ैर-शैक्षणिक लोगों को इन पदों पर रहने की अनुमति देते हैं, जो संघवाद और राज्य के अधिकारों पर सीधा हमला है.

आशापूर्णा देवी: महिलाओं की वह आवाज़, जिसका संघर्ष भी अथक और सृजन भी

जयंती विशेष: आशापूर्णा देवी बंकिम, टैगोर और शरत के बाद के दौर की पहली ऐसी बांग्ला साहित्यकार हैं, जिन्होंने मध्यवर्गीय बंगाली समाज में महिलाओं के हाशियाकरण पर बेबाकी से कलम चलाई. सात दशकों से ज्यादा के साहित्यिक जीवन में उनकी एक बड़ी उपलब्धि अपनी जड़ों के प्रति ईमानदार रहने और सामाजिक अन्याय पर सवाल उठाने को माना जाता है.

द वायर अब तेलुगु में भी उपलब्ध, हैदराबाद में हुआ लॉन्च

सोमवार को हैदराबाद में द वायर तेलुगु की वेबसाइट लॉन्च की गई. इसे लाने के पीछे विचार यह है कि भारत न केवल राज्यों, बल्कि भाषाओं का भी संघ है, और सभी भाषाओं के पाठकों को अपने समय की सबसे सटीक ख़बरें मिलनी चाहिए.

उत्तराखंड: हाईकोर्ट ने बागेश्वर में खनन कार्य पर रोक लगाई, अधिकारियों को फटकार

उत्तराखंड हाईकोर्ट ने बागेश्वर ज़िले में सोपस्टोन खनन के कारण घरों को हुए नुक़सान की रिपोर्ट मिलने के बाद सभी खनन गतिविधियों पर रोक लगाते हुए कहा कि रिपोर्ट दिखाती है कि न केवल खननकर्ताओं द्वारा पूरी तरह से अराजकता हुई बल्कि स्थानीय प्रशासन ने भी इस ओर से आंखें मूंद लीं.

यूजीसी ने वीसी नियुक्ति के लिए राज्यपालों को व्यापक अधिकार दिए, ग़ैर-शिक्षक बन सकेंगे कुलपति

यूजीसी ने कुछ नए नियम जारी किए, जो राज्यों में राज्यपालों को कुलपतियों की नियुक्ति के लिए व्यापक अधिकार प्रदान करते हैं. साथ ही कहते हैं कि अब वीसी का पद शिक्षाविदों तक सीमित नहीं है, बल्कि उद्योग विशेषज्ञों और सार्वजनिक क्षेत्र के दिग्गजों को भी वीसी बनाया जा सकता है.

2013 बलात्कार मामले में सुप्रीम कोर्ट ने आसाराम को अंतरिम ज़मानत दी

2013 में सूरत की एक महिला ने आसाराम और सात अन्य के ख़िलाफ़ बलात्कार का मामला दर्ज कराया था, जिसके बाद साल 2023 में गुजरात की एक अदालत ने आसाराम को दोषी ठहराते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी. अब सुप्रीम कोर्ट ने उसे मेडिकल आधार पर अंतरिम ज़मानत दी है.

दिल्ली विधानसभा चुनाव: 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को परिणाम

दिल्ली विधानसभा चुनाव-2025 के लिए मतदान 5 फरवरी को और मतगणना 8 फरवरी को तय हुई है. इसके साथ ही मिल्कीपुर और इरोड में विधानसभा उपचुनाव भी होना है.

गोवा: साहित्य अकादमी विजेता दत्ता दामोदर नाइक पर धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का केस दर्ज

गोवा के प्रख्यात लेखक और साहित्य अकादमी पुरस्कार विजेता दत्ता दामोदर नाइक के ख़िलाफ़ आरोप है कि उन्होंने एक साक्षात्कार में मंदिर के पुजारियों को 'लुटेरा' कहा था, जिससे धार्मिक भावनाएं आहत हुईं. इस बारे में नाइक ने कहा कि वे कट्टर नास्तिक हैं और ऐसी एफआईआर से डरते नहीं हैं.

जयपुर: जेल में बुनियादी सुविधाओं की कमी पर क़ैदियों ने लिखे ख़त, कहा- सांस लेने को भी हवा नहीं

जयपुर की केंद्रीय जेल में बंद एक दर्जन से अधिक क़ैदियों ने द वायर को चिट्ठियों के ज़रिये अपनी शिकायतें भेजी हैं, जिसमें भीड़भाड़ वाली इस जेल में दैनिक कामों से लेकर भोजन की ख़राब गुणवत्ता को लेकर क़ैदियों के संघर्ष को साझा किया गया है.

‘रघुपति राघव राजाराम’ से चिढ़ने वाले ‘राम मोहम्मद सिंह’ से कुछ सीख सकेंगे?

बापू के नाम पर बने सभागार में उनका प्रिय भजन गाने से रोकने वालों को शायद भान नहीं कि 'ईश्वर अल्ला तेरो नाम-सबको सन्मति दे भगवान' की संस्कृति इस देश की परंपरा में रही है. 1940 के दशक में बस्ती में 'निजाई बोल आंदोलन' में सक्रिय किसान नेता राम मोहम्मद सिंह इसकी बानगी हैं.

‘कुछ होगा तो नहीं’- मुकेश चंद्राकर को पत्रकारिता के लिए पहले भी मिलती रही थीं धमकियां

वीडियो: छत्तीसगढ़ के पत्रकार मुकेश चंद्राकर ने अगस्त 2024 में द वायर हिंदी पर 'बस्तर के पत्रकारों की आंध्र प्रदेश में गिरफ़्तारी' पर रिपोर्ट प्रकाशित होने के अगले दिन कहा था कि राज्य के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने इस ख़बर पर आपत्ति जताई थी. इस बारे में द वायर हिंदी के संपादक आशुतोष भारद्वाज से ज़ीशान कास्कर की बातचीत.

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