दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने निजी स्कूलों से कहा है कि इस कठिन समय में छात्र-छात्राओं को लॉकडाउन से प्रभावित न होने दें.
नई दिल्ली: दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने सोमवार को निजी स्कूलों से कहा कि इस कठिन समय में फीस नहीं भर सकने वाले छात्रों को भी ऑनलाइन कक्षाओं में शामिल होने दिया जाए.
सिसोदिया ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये 300 से अधिक निजी स्कूलों के प्राचार्यों से बात की और ऑनलाइन कक्षाओं के दौरान अपनाई जाने वाली शिक्षण की रणनीतियों पर चर्चा की.
उप मुख्यमंत्री ने कहा, ‘हम इस कठिन समय में छात्रों को इससे (लॉकडाउन) प्रभावित नहीं होने दें. हमें इस मुद्दे का अत्यधिक ध्यान रखने की जरूरत है. अगर छात्रों के माता-पिता उनकी फीस भर पाने में यदि सक्षम नहीं हैं तो भी उन्हें ऑनलाइन कक्षाओं में शामिल होने दिया जाए.’
यह चर्चा एक घंटे से अधिक समय तक चली, जिसमें प्राचार्यों ने ऑनलाइन उपकरणों का उपयोग करते हुए अध्ययन में सहयोग की अपनी रणनीतियां साझा की.
शिक्षा निदेशक के सलाहकार शैलेंद्र शर्मा ने कहा, ‘हमारा मुख्य ध्यान मौजूदा स्थिति से निपटने में न सिर्फ बच्चों की मदद करना है बल्कि उनके बच्चों के साथ उनके माता-पिता को भी व्यस्त करना है. हमने एक प्रतिदिन अभ्यास या गतिविधि एसएमएस या आईवीआर के जरिये नर्सरी से आठवीं कक्षा तक के छात्रों के माता-पिता के फोन पर भेजे हैं.’
उन्होंने कहा कि इससे माता-पिता को एक शिक्षक की तरह अपने बच्चों को सिखाने में मदद मिलेगी.
बता दें कि इससे पहले भी दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने निजी स्कूलों को निर्देश दिया था कि लॉकडाउन के दौरान बच्चों से यातायात शुल्क, सालाना शुल्क या कोई भी अन्य शुल्क वसूला नहीं जा सकता है. शुल्क जमा हो या ना हो, किसी भी छात्र को ऑनलाइन कक्षा में शामिल होने से नहीं रोका जा सकता है.
उन्होंने कहा था कि जो भी स्कूल इस आदेश का पालन नहीं कर रहे हैं उनके खिलाफ दिल्ली स्कूल शिक्षा अधिनियम और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत कार्रवाई की जाएगी.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)