मशहूर लेखक व कार्यकर्ता सादिया देहलवी का निधन

दिल्ली की संस्कृति और इतिहास की जानकार सादिया देहलवी 63 वर्ष की थीं और लंबे समय से कैंसर से जूझ रही थीं.

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सादिया देहलवी. (फोटो साभार: ईटीवी उर्दू/वीडियोग्रैब)

दिल्ली की संस्कृति और इतिहास की जानकार सादिया देहलवी 63 वर्ष की थीं और लंबे समय से कैंसर से जूझ रही थीं.

सादिया देहलवी. (फोटो साभार: ईटीवी उर्दू/वीडियोग्रैब)
सादिया देहलवी. (फोटो साभार: ईटीवी उर्दू/वीडियोग्रैब)

नई दिल्ली: दिल्ली की मशहूर लेखक, स्तंभकार और कार्यकर्ता सादिया देहलवी का कैंसर से लंबी जंग के बाद निधन हो गया.

वह 63 वर्ष की थीं. सादिया ने बुधवार को अपने घर में अंतिम सांस ली. उनके परिवार में उनका बेटा अरमान अल देहलवी है. हाल ही में उन्हें शहर के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया था.

इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, 1 अगस्त को उनके बेटे ने सोशल मीडिया पर उनके इलाज के लिए फंड जुटाने का आग्रह किया था.

दिल्ली के इतिहास से जुड़ी कहानियों को सुनाने के लिए जानी जाने वाली सादिया ने कुछ किताबें और धारावाहिकों की स्क्रिप्ट भी लिखी थी.

मशहूर सीरियल अम्मा एंड फैमिली, जिसमें जिह्रा सहगल ने अभिनय किया था, उन्होंने लिखा था. इसके अलावा जिंदगी कितनी खूबसूरत है सीरियल भी उन्होंने ही लिखा, साथ ही खुशवंत सिंह की किताब ‘नॉट अ नाइस मैन टू नो’ पर टीवी सीरीज प्रोड्यूस की.

द सूफी कोर्टयार्ड: दरगाह ऑफ डेल्ही और सूफीइज़्म: द हार्ट ऑफ इस्लाम उनकी प्रमुख किताबें हैं. 1979 में उन्होंने अपनी मां के साथ दिल्ली के चाणक्यपुरी में अल कौसर रेस्टोरेंट खोला था.

वे दिल्ली की पाक-कला की संस्कृति और खान-पान की रवायतों पर भी लिखती थीं. साल 2017 में उन्होंने दिल्ली की पाक कला के इतिहास पर ‘जैस्मीन एंड जिन्स: मेमोरिज एंड रेस्पी ऑफ माय देहली’ नाम की एक किताब लिखी थी.

प्रख्यात इतिहासकार एस. इरफान हबीब ने उनके गुजरने पर शोक जाहिर किया है. उन्होंने ट्वीट किया, ‘सादिया देहलवी के निधन की खबर सुनकर दुखी हूं. दिल्ली की एक प्रसिद्ध सांस्कृतिक शख्सियत, मेरी अच्छी दोस्त और एक बेहतरीन इंसान. भगवान आपकी आत्मा को शांति दे.’

शाही ‘शमा’ परिवार से ताल्लुक रखने वाली सादिया ने उर्दू महिलाओं की पत्रिका ‘बानो’ का संपादन भी किया था.

दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने भी उनके निधन पर शोक व्यक्त किया है. उन्होंने ट्विटर पर लिखा, ‘सादिया देहलवी के असमय निधन पर दुखी हूं. दिल्ली आपको हमेशा एक सच्ची दिल्ली वाली और लोगों की इतिहासकार के रूप में याद रखेगी.’

सादिया चर्चित लेखक खुशवंत सिंह की बेहद अच्छी दोस्त थीं. सिंह ने अपनी किताब ‘नॉट अ नाइस मैन टू नो’ उन्हें ही समर्पित की थी.

अपनी अनूठी लेखन शैली के लिए मशहूर सिंह ने लिखा था, ‘सादिया देहलवी को, जिन्होंने मुझे उतना स्नेह और बदनामी दी, जिसके मैं योग्य नहीं था.’

यह किताब सिंह के विभिन्न क्षेत्रों की महिलाओं के साथ साक्षात्कारों पर आधारित थी, जिस पर देहलवी ने टीवी शो भी बनाया था.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)