कोविड-19: बढ़ते संक्रमण के बीच सीबीएसई की 10वीं की बोर्ड परीक्षा रद्द, 12वीं की स्थगित

देश में बढ़ते कोरोना संक्रमण के मद्देनज़र केंद्र ने सीबीएसई की दसवीं कक्षा की परीक्षाएं रद्द करते हुए बोर्ड द्वारा तय मानदंडों के आधार पर परिणाम तैयार किए जाने की बात कही है, वहीं 12वीं की परीक्षा से कम से कम 15 दिन पहले इसके बारे में सूचना दी जाएगी. दोनों परीक्षाएं चार मई से 14 जून के बीच होनी थीं.

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(फोटो: पीटीआई)

देश में बढ़ते कोरोना संक्रमण के मद्देनज़र केंद्र ने सीबीएसई की दसवीं कक्षा की परीक्षाएं रद्द करते हुए बोर्ड द्वारा तय मानदंडों के आधार पर परिणाम तैयार किए जाने की बात कही है, वहीं 12वीं की परीक्षा से कम से कम 15 दिन पहले इसके बारे में सूचना दी जाएगी. दोनों परीक्षाएं चार मई से 14 जून के बीच होनी थीं.

(फोटो: पीटीआई)
(फोटो: पीटीआई)

नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने देश भर में कोविड-19 महामारी के बढ़ते मामलों के मद्देनजर केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) की 10वीं की परीक्षा रद्द कर दी है जबकि 12वीं की परीक्षा स्थगित करने का फैसला किया है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में और केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक, केंद्रीय शिक्षा सचिव तथा अन्य शीर्ष अधिकारियों की मौजूदगी में बुधवार को हुई एक बैठक में यह फैसला लिया गया.

बैठक के बाद एक बयान जारी कर परीक्षाओं के संबंध में लिए गए निर्णयों की जानकारी साझा की गई.

बयान के मुताबिक बैठक में प्रधानमंत्री ने जोर दिया कि छात्रों का स्वास्थ्य सरकार की शीर्ष प्राथमिकता होनी चाहिए. उन्होंने यह भी कहा कि केंद्र सरकार छात्रों के सर्वोच्च हित का ध्यान रखेगी और सुनिश्चित करने का प्रयास करेगी कि उनके स्वास्थ्य के साथ ही उनके शिक्षा सत्र का भी नुकसान ना हो.

बयान में कहा गया, ‘महामारी की वर्तमान स्थिति, स्कूलों के बंद होने और छात्रों की सुरक्षा के मद्देनजर कक्षा 12वीं की परीक्षा स्थगित करने का निर्णय लिया गया है.’ यह परीक्षा चार मई से 14 जून के बीच होना प्रस्तावित थी.

सीबीएसई बोर्ड एक जून को कोविड महामारी की स्थिति की समीक्षा करेगा और उसके बाद परीक्षा की तारीखों के संबंध में फैसला लेगा.

बयान में कहा गया, ‘परीक्षा की शुरुआत से कम से कम 15 दिन पहले छात्रों को इसकी सूचना दी जाएगी.’ 10वीं की परीक्षा भी चार मई से 14 जून के बीच होनी थी.

बयान में कहा गया, ‘10वीं की परीक्षा रद्द कर दी गई हैं. इसके परिणाम बोर्ड द्वारा तैयार किए गए एक मानदंड के आधार पर तैयार किए जाएंगे.’

बयान के मुताबिक यदि कोई छात्र उसे मिले अंकों से संतुष्ट नहीं होता है तो उसे परीक्षा में बैठने का एक मौका दिया जाएगा लेकिन यह तभी होगा जब परिस्थितियां परीक्षा के आयोजन के अनुकूल होंगी.

उल्लेखनीय है कि कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी, पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सहित कई नेताओं ने कोरोना वायरस संक्रमण के बढ़ते खतरों के मद्देनजर सीबीएसई परीक्षाओं को रद्द करने की मांग की थी.

प्रियंका ने सीबीएसई की 10वीं कक्षा की परीक्षा रद्द करने के केंद्र के फैसले पर खुशी जताई है. हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि 12वीं कक्षा की परीक्षा के बारे में भी कोई अंतिम निर्णय लिया जाए.

उन्होंने ट्वीट किया, ‘खुशी हुई कि आखिरकार सरकार ने 10वीं कक्षा की परीक्षा को रद्द करने का फैसला किया. बहरहाल, 12वीं कक्षा की परीक्षा के बारे में भी अंतिम निर्णय लेना चाहिए. जून तक छात्रों को बेवजह के दबाव में रखने का कोई मतलब नहीं है.’

प्रियंका ने कहा, ‘यह अनुचित है. सरकार से आग्रह करती हूं कि अभी फैसला किया जाए.’

 

प्रियंका ने पिछले कुछ दिनों में कई बार यह मांग उठाई थी कि 10वीं और 12वीं कक्षाओं की परीक्षाएं रद्द की जाएं. दोनों ही कक्षाओं की परीक्षाएं चार मई से शुरू होनी थी.

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी इस फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि इससे छात्रों और उनके अभिभावकों को बड़ी राहत मिलेगी.

केजरीवाल ने ट्वीट किया, ‘मुझे खुशी है कि परीक्षाएं रद्द/स्थगित कर दी गईं. यह लाखों छात्रों और उनके अभिभावकों के लिए एक बड़ी राहत है. ’

 

केजरीवाल और दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने मंगलवार को केंद्र से बोर्ड परीक्षाएं रद्द करने की अपील करते हुए कहा था कि इन्हें (परीक्षाओं को) आयोजित कराने से व्यापक स्तर पर कोरोना वायरस का संक्रमण फैलेगा.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)