इंडिया टुडे की कॉपीराइट उल्लंघन की शिकायत के बाद न्यूज़लॉन्ड्री का यूट्यूब चैनल फ्रीज़

न्यूज़लॉन्ड्री पोर्टल के सह-संस्थापक अभिनंदन सेखरी ने कॉपीराइट उल्लंघन के आरोपों से इनकार करते हुए कहा कि अगर कोई न्यूज़ वेबसाइट आलोचना, टिप्पणी या ख़बरों के विश्लेषण के लिए किसी अन्य समाचार संगठन की वीडियो फुटेज का इस्तेमाल करती है तो इसमें कॉपीराइट उल्लंघन का मामला बनता ही नहीं है. उन्होंने कहा कि इस तरह की शिकायतों के पीछे की मंशा उन्हें काम करने से रोकना है.

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न्यूज़लॉन्ड्री पोर्टल के सह-संस्थापक अभिनंदन सेखरी ने कॉपीराइट उल्लंघन के आरोपों से इनकार करते हुए कहा कि अगर कोई न्यूज़ वेबसाइट आलोचना, टिप्पणी या ख़बरों के विश्लेषण के लिए किसी अन्य समाचार संगठन की वीडियो फुटेज का इस्तेमाल करती है तो इसमें कॉपीराइट उल्लंघन का मामला बनता ही नहीं है. उन्होंने कहा कि इस तरह की शिकायतों के पीछे की मंशा उन्हें काम करने से रोकना है.

(साभार: यूट्यूब स्क्रीनग्रैब)

नई दिल्लीः स्वतंत्र समाचार मीडिया कंपनी न्यूजलॉन्ड्री का दावा है कि इंडिया टुडे के बार-बार कॉपीराइट उल्लंघन के आरोपों के बाद उनके यूट्यूब चैनल को फ्रीज कर दिया गया है.

रिपोर्ट के अनुसार, न्यूजलॉन्ड्री ने कॉपीराइट उल्लंघन के आरोपों से इनकार करते हुए कहा कि इस तरह की शिकायतों के पीछे मंशा हमें हमारा काम करने से रोकना है.

न्यूजलॉन्ड्री ने कहा कि इस संबंध में उन्होंने यूट्यूब को कानूनी जवाब भेजा है.

न्यूजलॉन्ड्री के सह-संस्थापक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी अभिनंदन सेखरी ने द वायर  को बताया, ‘लगभग एक हफ्ते पहले हमारे यूट्यूब चैनल पर दो कॉपीराइट स्ट्राइक किए गए.’

सेखरी ने कहा कि यूट्यूब से शिकायत करने से पहले इंडिया टुडे ग्रुप ने न्यूजलॉन्ड्री से संपर्क नहीं किया. इंडिया टुडे ग्रुप की शिकायतों के बाद यूट्यूब ने वेबसाइट के चैनल को फ्रीज कर दिया है.

सेखरी ने चैनल को स्ट्राइक करने की इस प्रक्रिया को समझाते हुए कहा, ‘यूट्यूब का स्ट्राइक करने का एक सिस्टम होता है, जो एक तरह से ऑटोमैटिक है, अगर किसी ने तुम्हारे वीडियो फुटेज का इस्तेमाल किया है तो आप कॉपीराइट स्ट्राइक की शिकायत कर सकते हैं. एक महीने में इस तरह के तीन स्ट्राइक का मतलब है कि आपका चैनल ब्लॉक हो जाएगा. यह एक ऑटोमैटिक सिस्टम है, जिसमें एक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) मशीन यह जांच करती है कि क्या वीडियो फुटेज एक जैसा तो नहीं है.’

सेखरी ने कहा कि यूट्यूब सिस्टम एआई आधारित है लेकिन किसी को शिकायत करनी पड़ेगी.

उन्होंने कहा, ‘लेकिन मौजूदा मामले में उन्होंने (इंडिया टुडे ग्रुप ने) दो हफ्ते में पचास से ज्यादा शिकायतें की हैं.’ सेखरी ने कहा कि अगर कोई न्यूज वेबसाइट आलोचना, टिप्पणी या खबरों के विश्लेषण के लिए किसी अन्य समाचार संगठन की वीडियो फुटेज का इस्तेमाल करती है तो इसमें कॉपीराइट उल्लंघन का मामला बनता ही नहीं.

यह पूछने पर कि वेबसाइट ने इस पर क्या प्रतिक्रिया दी? इस पर सेखरी ने कहा, ‘हमने लगभग पांच से छह दिन पहले यूट्यूब को हमारा जवाब भेज दिया है. जिस प्रणाली का अनुसरण किया जा रहा है, उसमें भी खामियां हैं, जैसे जब वे आपका जवाब देखते हैं तो वे शिकायतकर्ता पक्ष को इसे दिखाते हैं और कोई उल्लंघन नहीं होने पर चैनल को बहाल करते हैं.’

सेखरी ने कहा कि उन्होंने अपने वकील के जरिये जवाब भेजा है, जिसमें कहा गया है, ‘वीडियो फुटेज का सही तरीके से इस्तेमाल किया गया और यहां तक कि सुप्रीम कोर्ट ने भी कहा है कि अगर आप किसी मूल कंटेंट की आलोचना, उस पर टिप्पणी या उसका विश्लेषण कर रहे हैं और उस कमेंट्री में अपने बौद्धिक इनपुट डाल रहे हैं तो यह कॉपीराइट उल्लंघन का मामला नहीं है क्योंकि अगर आपको किसी न्यूज कंटेंट पर टिप्पणी करनी है तो बिना कंटेंट दिखाए कैसे करोगे? आपको यह दिखाना पड़ेगा कि आप किस कंटेंट पर टिप्पणी कर रहे हो.’

सेखरी ने कहा कि शुक्रवार को उनकी इस मामले पर यूट्यूब से बातचीत हुई थी, जिसमें यूट्यूब ने कहा कि उन्होंने अन्य पक्ष को जवाब भेज दिया है और इसके बाद ही चैनल को रिस्टोर करने में लगभग दस दिन का समय लग सकता है.

उन्होंने कहा, ‘मैंने उन्हें बताया कि अगर आप यूट्यूब की पॉलिसी भी देखें तो यह भारतीय कानून के अनुरूप है लेकिन यह प्रक्रिया काफी लंबी है. यूट्यूब को अपन सिस्टम में बदलाव करना होगा.’

कॉपीराइट उल्लंघन के आरोपों से इनकार करते हुए सेखरी ने कहा कि ऐसा कोई मामला ही नहीं है. उन्होंने कहा, ‘हमें उनका कंटेंट दिखाने में कई दिलचस्पी नहीं है. वे जानते हैं. यह हमारे लिए चीजों को और कठिन बनाने का तरीका है.’

बता दें कि न्यूजलॉन्ड्री के मेघनाद एस. ने शुक्रवार को ट्वीट कर कहा था, ‘आप सोच रहे होंगे की न्यूजलॉन्ड्री यूट्यूब चैनल पर सन्नाटा क्यों हैं? आजतक ने यूट्यूब को कॉपीराइट उल्लंघन की शिकायतें की हैं, जिसके बाद यूट्यूब ने हमारे चैनल को स्ट्राइक कर दिया है.’

उन्होंने कहा, ‘इससे आपको स्वतंत्र मीडिया की ताकत पता चलती है. इससे पता चलता है कि किस तरह बड़े-बड़े मीडिया संस्थान सक्रिय रूप से हमारे लिए समस्याएं पैदा कर रहे हैं.’

मेघनाद ने एक और ट्वीट कर कहा, ‘चैनल अपने नियमित शो सहित सभी वीडियो न्यूजलॉन्ड्री डॉट कॉम पर पोस्ट कर रहा है.’

न्यूजलॉन्ड्री की कार्यकारी संपादक मनीषा पांडे ने ट्वीट कर कहा, ‘उन्हें समझ नहीं आ रहा है कि आखिर किस बात की वजह से इंडिया टुडे ग्रुप ने न्यूजलॉन्ड्री के यूट्यूब चैनल पर सर्जिकल स्ट्राइक की.’

बता दें कि इससे पहले छह अक्टूबर को पांडे ने ट्वीट कर कहा था कि आज तक के कॉपीराइट शिकायतों की वजह से न्यूजलॉन्ड्री अपने यूट्यूब चैनल पर कोई भी वीडियो अपलोड नहीं कर पा रहा है.

उन्होंने ट्वीट में कॉपीराइट उल्लंघन से इनकार करते हुए कहा था कि दरअसल यह शिकायत न्यूजलॉन्ड्री को उसका काम, मीडिया की आलोचना और उससे सवाल पूछने से रोकने के लिए की गई है.