उत्तराखंड में प्रस्तावित विधानसभा चुनावों से पहले कांग्रेस महासचिव हरीश रावत ने संगठन पर उनके साथ असहयोग करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अब आराम करने का समय है. उनकी भावनाओं पर सहमत होते हुए प्रदेश कांग्रेस प्रमुख गणेश गोडियाल ने कहा कि यह एक संगठनात्मक विषय है, जिसका हल पार्टी आलाकमान के साथ परामर्श कर किया जाएगा.
देहरादून/नई दिल्ली: कांग्रेस के प्रचार प्रमुख हरीश रावत द्वारा पार्टी संगठन पर उनसे सहयोग नहीं करने का आरोप लगाए जाने के एक दिन बाद कांग्रेस की उत्तराखंड इकाई के प्रमुख गणेश गोडियाल ने बीते बृहस्पतिवार को कहा कि वह पार्टी के वरिष्ठ नेता (रावत) की भावनाओं को साझा करते हैं, लेकिन यह एक संगठनात्मक विषय है जिसका हल एक-दो दिनों में पार्टी आलाकमान के साथ परामर्श कर किया जाएगा.
प्रदेश कांग्रेस समिति प्रमुख गोडियाल ने कहा कि राज्य के कांग्रेस नेता, पार्टी के केंद्रीय नेताओं से मिलने के लिए शुक्रवार को दिल्ली जाएंगे.
बीते 22 दिसंबर को प्रदेश कांग्रेस चुनाव प्रचार समिति के अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने एक ट्वीट में कहा था, ‘है न अजीब सी बात, चुनाव रूपी समुद्र को तैरना है, संगठन का ढांचा अधिकांश स्थानों पर सहयोग का हाथ आगे बढ़ाने के बजाय या तो मुंह फेर कर खड़ा हो जा रहा है या नकारात्मक भूमिका निभा रहा है.’
रावत के ट्वीट पर टिप्पणी करते हुए गोडियाल ने कहा कि उनकी thewirehindi.com/…/trouble-in-uttarakhand-congress-harish-rawat-says-hands-tied-time-to-restभी समान भावनाएं हैं.
उन्होंने रावत के ट्वीट में व्यक्त किए गए विचारों का समर्थन करते हुए कहा, ‘मैं भी यह महसूस करता हूं. लेकिन मैं संबद्ध व्यक्ति को खुद को ठीक करने के लिए पर्याप्त समय देता हूं.’
उन्होंने कहा, ‘पार्टी संगठन इस बात से अवगत है और हमारे द्वारा उठाए गए मुद्दों का हल करने की प्रक्रिया जारी है.’ उन्होंने कहा कि हालांकि, यदि उनका पहले ही हल हो जाता तो इस तरह के ट्वीट नहीं किए जाते.
गोडियाल ने कहा, ‘हम पार्टी महासचिव केसी वेणुगोपाल से और जरूरत पड़ी तो राहुल गांधी से भी मिलेंगे तथा उनके समक्ष विषय को रखेंगे. मुझे उम्मीद है कि समाधान हो जाएगा.’
उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा कि रावत को दरकिनार करने के बारे में किसी का सोचना बेवकूफी होगी. उन्होंने कहा, ‘उनके जैसा नेता, जिन्हें लोगों का स्नेह प्राप्त है और जो सभी को स्वीकार्य हैं, उत्तराखंड में किसी पार्टी में नहीं है.’
गोडियाल ने इस बात से इनकार किया कि पार्टी में कई गुट हैं. उन्होंने कहा, ‘पूरी कांग्रेस हरीश रावत के साथ खड़ी है. पार्टी में कोई गुटबंदी नहीं है.’
उत्तराखंड में पार्टी मामलों के कांग्रेस प्रभारी से रावत के मतभेदों के बारे में पूछे जाने पर गोडियाल ने सीधा जवाब नहीं दिया, लेकिन कहा कि सभी को साथ लेकर चलना पार्टी प्रभारी की जिम्मेदारी है.
हरीश रावत के करीबी सूत्रों ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि वह कांग्रेस के राज्य प्रभारी देवेंद्र यादव की कार्यप्रणाली से नाखुश हैं और उन्हें दरकिनार करने की कोशिश का संदेह है. सूत्रों ने बताया कि रावत और यादव के बीच कुछ समय से तनाव चल रहा था.
रावत ने गुरुवार को एक और ट्वीट किया, जिसमें कहा कि विपक्षी दल उनके पोस्ट के बाद बहुत उत्साहित हैं, यही वजह है कि वे इसे मसाला लगा रहे हैं.
मेरा ट्वीट रोजमर्रा जैसा ही ट्वीट है, मगर आज अखबार पढ़ने के बाद लगा कि कुछ खास है, क्योंकि भाजपा और आप पार्टी को मेरी ट्वीट को पढ़कर बड़ी मिर्ची लग गई है और इसलिये बड़े नमक-मिर्च लगाये हुये बयान दे रहे हैं।@BJP4UK @AAPUttarakhand pic.twitter.com/85HXX4Far2
— Harish Rawat (@harishrawatcmuk) December 23, 2021
उन्होंने ट्वीट कर कहा, ‘मेरा ट्वीट रोजमर्रा जैसा ही ट्वीट है, मगर आज अखबार पढ़ने के बाद लगा कि कुछ खास है, क्योंकि भाजपा और आप पार्टी को मेरे ट्वीट को पढ़कर बड़ी मिर्ची लग गई है और इसलिए बड़े नमक-मिर्च लगाए हुए बयान दे रहे हैं.’
रावत ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि उनके ट्वीट ने सिर्फ उनकी भावनाओं और उन चीजों को व्यक्त किया जो पार्टी के कल्याण को सुनिश्चित कर सकती हैं.
कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने हरीश रावत से संपर्क किया, मुद्दों को सुलझाने की कोशिश जारी
इन बयानों के बीच कांग्रेस के कुछ वरिष्ठ नेताओं ने बृहस्पतिवार को उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत से बातचीत की, जिन्होंने एक दिन पहले राज्य में पार्टी की कार्यप्रणाली को लेकर अप्रसन्नता जाहिर की थी.
पार्टी सूत्रों ने यह जानकारी दी है.
वरिष्ठ नेताओं ने रावत से उस समय संपर्क किया है, जब एक दिन पहले 22 दिसंबर को उन्होंने पार्टी संगठन पर असहयोग का आरोप लगाते हुए कहा था कि अब आराम का समय है.
सूत्रों ने बताया कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने रावत से उनके इस रुख के कारणों के बारे में जानने का प्रयास किया और उनसे कहा कि वह आगामी विधानसभा चुनाव में पार्टी की जीत सुनिश्चित करने के लिए निरंतर प्रयासरत रहें.
सूत्रों का यह भी कहना है कि रावत उत्तराखंड विधानसभा चुनाव के संदर्भ में शुक्रवार को दिल्ली में होने वाली कई बैठकों में शामिल होंगे और वह पार्टी आलाकमान से भी मुलाकात कर सकते हैं.
रावत के करीबी सूत्रों का कहना है कि पूर्व मुख्यमंत्री जिन विषयों को लेकर ‘आहत’ हैं उन पर पार्टी आलाकमान को ध्यान देना चाहिए, क्योंकि आगामी विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की जीत सुनिश्चित करने के लिए इन मुद्दों का समाधान जरूरी है.
उन्होंने कहा कि जल्द ही मुद्दे का समाधान निकाले जाने की उम्मीद है.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)