गोविंद बल्लभ पंत अस्पताल की कई नर्सों का आरोप है कि प्रशासनिक कर्मचारी भ्रष्टाचार व अन्य अनियमितताओं में लिप्त हैं. इन आरोपों के बीच चिकित्सा अधीक्षक ने तीन नर्सिंग अधिकारियों और एक नर्सिंग अधीक्षक को सेवा से हटा दिया है. इनमें से दो अधिकारी भ्रष्टाचार मामले में शिकायतकर्ता थे.
नई दिल्ली: दिल्ली के गोविंद बल्लभ पंत अस्पताल की कई नर्सों ने मंगलवार को अस्पताल परिसर में विरोध प्रदर्शन किया और आरोप लगाया कि कई प्रशासनिक कर्मचारी भ्रष्टाचार तथा अन्य अनियमितताओं में लिप्त हैं.
अस्पताल की नर्सिंग एसोसिएशन के अध्यक्ष और दिल्ली नर्सिंग महासंघ के महासचिव लीलाधर रामचंदानी ने कहा, ‘हम इस मुद्दे को कई दिनों से उठाने का प्रयास कर रहे हैं और इसके बारे में कई अधिकारियों से चर्चा की है. हमारे पास विरोध प्रदर्शन के अलावा कोई चारा नहीं था.’
इस बीच, अस्पताल के कर्मचारियों के विरुद्ध भ्रष्टाचार के आरोपों की शिकायत के बीच चिकित्सा अधीक्षक ने तीन नर्सिंग अधिकारियों और एक नर्सिंग अधीक्षक को सेवा से हटा दिया है और छुट्टी पर जाने को कहा है.
रामचंदानी ने कहा कि यह कार्रवाई उन लोगों के विरुद्ध की गई है जिन्होंने भ्रष्टाचार के विरुद्ध आवाज उठाई.
उन्होंने कहा कि संयुक्त एक्शन समिति के बैनर तले मंगलवार को दो घंटे के लिए विरोध प्रदर्शन किया गया जो बुधवार को भी जारी रहेगा.
रामचंदानी ने कहा कि मांग नहीं मानी गई तो अगले सप्ताह से नर्सिंग कर्मचारी अनिश्चितकाल के लिए हड़ताल पर जा सकते हैं.
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, चिकित्सा अधीक्षक द्वारा जारी आदेश में कहा गया है, ‘आरोपों और चल रही जांच के मद्देनजर जीबी पंत के चार नर्सिंग अधिकारियों को उनके कर्तव्यों से मुक्त किया जाता है और तुरंत छुट्टी पर जाने का आदेश दिया जाता है. इसके अलावा जब भी बुलाया जाएगा, ये अधिकारी जांच के लिए हाजिर होंगे.’
हालांकि, नर्सों के संघ ने दो नर्सिंग अधिकारियों के खिलाफ की गई कार्रवाई का विरोध करते हुए कहा कि वे मामले में शिकायतकर्ता थे.
रामचंदानी ने कहा, ‘वे भ्रष्टाचार के मुद्दे को उठाने वाले शिकायतकर्ताओं को कैसे हटा सकते हैं? अस्पताल प्रशासन की इस तरह की कार्रवाई से पता चलता है कि वे भ्रष्टाचार और कुप्रबंधन के खिलाफ आवाज उठाने वाले हर व्यक्ति को चुप कराना चाहते हैं. यह अत्यधिक अस्वीकार्य है. सभी चार संघ इस आदेश की कड़ी निंदा करते हैं.’
उन्होंने कहा, ‘अस्पताल प्रशासन की ओर से इस तरह की कार्रवाई के कारण कोई भी कर्मचारी भविष्य में अपनी आवाज नहीं उठा पाएगा. अगर दो नर्सिंग अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई वापस नहीं ली गई तो हम अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाएंगे और सभी आपातकालीन सेवाएं बंद कर देंगे.’
नर्सों के संघ ने यह भी आरोप लगाया कि नर्सिंग अधीक्षक नर्सों पर आंतरिक पोस्टिंग और तबादलों के लिए पैसे देने के लिए दबाव बना रहा थे. दो नर्सिंग अधिकारियों ने अस्पताल के निदेशक के पास शिकायत दर्ज की थी.
सोशल मीडिया पर नर्सिंग सुप्रिटेंडेंट द्वारा रिश्वत की मांग करने वाला एक कथित ऑडियो क्लिप वायरल हो गया था.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)