दिल्ली: सरकारी स्कूल में घुसकर अजनबी ने दो लड़कियों का किया यौन उत्पीड़न, पॉक्सो के तहत केस दर्ज

पूर्वी दिल्ली के भजनपुरा में एक सरकारी स्कूल की कक्षा में कथित तौर पर एक अजनबी एक व्यक्ति द्वारा छात्रों के सामने आठ वर्ष की दो लड़कियों के कपड़े उतारने का मामला सामने आया है. दिल्ली महिला आयोग ने कहा कि यह एक गंभीर मामला है और इस पर तत्काल कार्रवाई की जानी चाहिए. आयोग ने पुलिस और पूर्वी दिल्ली नगर निगम को नोटिस जारी किया है.

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(प्रतीकात्मक फाइल फोटो: पीटीआई)

पूर्वी दिल्ली के भजनपुरा में एक सरकारी स्कूल की कक्षा में कथित तौर पर एक अजनबी एक व्यक्ति द्वारा छात्रों के सामने आठ वर्ष की दो लड़कियों के कपड़े उतारने का मामला सामने आया है. दिल्ली महिला आयोग ने कहा कि यह एक गंभीर मामला है और इस पर तत्काल कार्रवाई की जानी चाहिए. आयोग ने पुलिस और पूर्वी दिल्ली नगर निगम को नोटिस जारी किया है.

(प्रतीकात्मक फोटो: पीटीआई)

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली में नगर निगम (एमसीडी) द्वारा संचालित एक स्कूल में कक्षा के अंदर एक अज्ञात व्यक्ति द्वारा कथित तौर पर दो लड़कियों के कपड़े जबरन उतारने का मामला सामने आया. यह घटना तब हुई, जब बच्चे अपने शिक्षक के आने का इंतजार कर रहे थे. अब तक इस संबंध में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है.

दिल्ली महिला आयोग ने बुधवार को कहा कि पूर्वी दिल्ली में एक सरकारी स्कूल की कक्षा में एक व्यक्ति कथित तौर पर घुसा और उसने आठ वर्ष की दो लड़कियों का यौन उत्पीड़न किया तथा छात्रों के सामने कपड़े उतार कर पेशाब किया.

आयोग ने दावा किया कि जब छात्राओं ने इस घटना की जानकारी प्राचार्य और शिक्षक को दी तो उन्होंने उन्हें चुप रहने और भूल जाने को कहा. पुलिस के मुताबिक स्कूल के प्रवेश द्वार और परिसर में कोई सीसीटीवी कैमरा नहीं लगा था.

दिल्ली पुलिस ने बताया कि भजनपुरा में पूर्वी दिल्ली नगर निगम (ईडीएमसी) के स्कूल में लड़कियों के यौन उत्पीड़न के संबंध में एक मामला दर्ज किया है. पुलिस ने घटना से संबंधित विस्तृत जानकारी नहीं दी.

दिल्ली महिला आयोग ने इस संबंध में पुलिस और पूर्वी दिल्ली नगर निगम को एक नोटिस जारी किया है. पूर्वी दिल्ली के महापौर श्याम सुंदर अग्रवाल ने कहा कि एक चूक हुई है और जांच के आदेश दिए गए हैं.

नगर निगम के स्कूलों में कक्षा पांच तक के छात्र पढ़ते हैं. दिल्ली महिला आयोग ने 30 अप्रैल को जारी नोटिस में कहा कि स्कूल असेंबली के बाद बच्चे कक्षा में अपने शिक्षक का इंतजार कर रहे थे तभी एक अजनबी कक्षा में घुस गया.

नोटिस में कहा गया, ‘कथित तौर पर उसने एक बच्ची के कपड़े उतारे और उससे अश्लील शब्द कहे. इसके बाद वह दूसरी लड़की के पास गया और उसके तथा अपने कपड़े उतारे. इसके बाद आरोपी ने कक्षा का दरवाजा बंद कर दिया और बच्चों के सामने पेशाब किया.’

आयोग ने कहा, ‘यह एक गंभीर मामला है और इस पर तत्काल कार्रवाई की जानी चाहिए.’

मामले की जांच के लिए विशेष दस्ते का गठन किया गया है. एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि जांच में पुलिस थाने की टीम की मदद के लिए बल की विशेष शाखा को भी लगाया गया है.

नोटिस में कहा गया है, ‘यह एक एमसीडी स्कूल है और प्रवेश द्वार पर या स्कूल के अंदर कोई सीसीटीवी नहीं पाया गया था. हालांकि, संदिग्ध का पता लगाने के लिए आसपास के कई सीसीटीवी की जांच की गई है.’

पुलिस अधिकारी ने बताया, ‘लड़कियों द्वारा दिए गए विवरण के आधार पर संदिग्ध की एक तस्वीर तैयार की गई है और दो लोगों को लाइन हाज़िर किया गया है. पुलिस का एक दल स्कूल के अधिकारियों के साथ निकट समन्वय में काम कर रही है.’

पूर्वी दिल्ली के महापौर श्याम सुंदर अग्रवाल ने माना कि स्कूल में एक ‘चूक’ हुई है. अग्रवाल ने कहा कि अन्यथा, पूर्वी दिल्ली नगर निगम स्कूलों के गेट अंदर से बंद कर दिए जाते हैं जब कक्षाएं होती हैं और कोई भी अनधिकृत व्यक्ति प्रवेश नहीं कर सकता है.

उन्होंने कहा, ‘हम घटना की जांच करा रहे हैं और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.’

महापौर के मुताबिक घटना शनिवार (30 अप्रैल्) सुबह की है और पूर्वी दिल्ली नगर निगम को मामले में डीसीडब्ल्यू का नोटिस मिला है.

यह पूछे जाने पर कि जब वह व्यक्ति कथित रूप से स्कूल परिसर में घुसा तो क्या सुरक्षाकर्मी ड्यूटी पर था, अग्रवाल ने कहा, ‘एक गार्ड नाइट ड्यूटी पर है.’

उन्होंने कहा कि दिन के समय स्कूल के गेट अंदर से बंद कर दिए जाते हैं और साफ-सफाई या अन्य कर्मचारी ही अनुमति के साथ अंदर आने दिए जाते हैं.

महापौर ने कहा, ‘नगर निगम पैसों की तंगी से जूझ रहा है. इसलिए, दिन भर सुरक्षाकर्मी को तैनात करना मुश्किल है.’

डीसीडब्ल्यू ने कहा, ‘एमसीडी को यह बताना चाहिए कि ऐसा कैसे होने दिया गया? दिल्ली पुलिस को तुरंत आरोपियों को गिरफ्तार करना चाहिए और मामले को छिपाने की कोशिश करने वालों के खिलाफ पॉक्सो अधिनियम के तहत कार्रवाई शुरू करनी चाहिए.’

पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि उन्होंने यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण कानून (पॉक्सो) के तहत मामला दर्ज किया है और आरोपी को पकड़ने के लिए विशेष दल बनाए गए हैं. आयोग ने पुलिस से प्राथमिकी की एक प्रति तलब की है.

इसके अलावा आरोपी का विवरण, पीड़ितों को बाल कल्याण समिति के सामने पेश किया गया या नहीं और कक्षा शिक्षक तथा प्राचार्य के विरुद्ध कोई कार्रवाई की गई या नहीं आदि जानकारी भी आयोग द्वारा मांगी गई है.

दिल्ली महिला आयोग ने छह मई तक जानकारी तलब की है और पूर्वी दिल्ली नगर निगम के महापौर से इस मामले पर विस्तृत कार्रवाई रिपोर्ट की मांग की है. इसके अलावा पूर्वी निगम के कमिश्नर को भी तलब किया है और 48 घंटे के भीतर पेश होने को कहा है.

आयोग ने कहा कि यदि स्कूल में सीसीटीवी कैमरे नहीं हैं, तो पूर्वी निगम आयुक्त को इसके कारणों बताने होंगे और क्या सीसीटीवी कैमरे लगाने का कोई प्रस्ताव नागरिक निकाय के समक्ष लंबित है.

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, डीसीपी (उत्तर पूर्व दिल्ली) संजय सेन ने कहा, ‘हमने मामले का तुरंत संज्ञान लिया और जांच कर रहे हैं. जांच के लिए विशेष टीम बनाई गई है. यह एक एमसीडी स्कूल था और प्रवेश द्वार पर या अंदर कोई सीसीटीवी नहीं पाया गया था. हालांकि आसपास के कई सीसीटीवी कैमरों की जांच की गई है.’

उन्होंने कहा, ‘आरोपी का पता लगाने के लिए उसका विश्लेषण किया जा रहा है. हमने लड़कियों के बयान भी लिए और उनके द्वारा दिए गए विवरण के आधार पर स्केच तैयार किया गया है और हमने दो संदिग्धों को चिह्नित किया है. पुलिस की एक टीम स्कूल अधिकारियों के साथ मिलकर काम कर रही है.’

नगर निगम के प्रवक्ता ने कहा, ‘हम मामले की जांच कर रहे हैं. लड़कियों और पुलिस के संपर्क में हैं. हमारे अधिकारी मामले के संबंध में विस्तृत कार्रवाई रिपोर्ट तैयार कर रहे हैं. यदि कोई आरोप, चूक या गलत काम दर्ज किया जाता है, तो उसकी जांच की जाएगी और स्कूल अधिकारियों के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी.’

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)