मध्य प्रदेश: बहन के यौन उत्पीड़न की शिकायत वापस न लेने पर दलित युवक की पीट-पीटकर हत्या

मध्य प्रदेश के सागर ज़िले का मामला. पुलिस के अनुसार, लड़की के यौन उत्पीड़न की शिकायत 2019 में दर्ज कराई गई थी. इसे वापस लेने के लिए मुख्य आरोपी उसके भाई और परिवार पर लगातार दबाव बना रहा था. बीते 24 अगस्त को इसी बात पर लड़की के भाई और आरोपी के बीच विवाद हो गया और भाई की कथित तौर पर पीट-पीटकर हत्या कर दी गई. मां को भी निर्वस्त्र करने का आरोप है.

(प्रतीकात्मक फोटो: पीटीआई)

मध्य प्रदेश के सागर ज़िले का मामला. पुलिस के अनुसार, लड़की के यौन उत्पीड़न की शिकायत 2019 में दर्ज कराई गई थी. इसे वापस लेने के लिए मुख्य आरोपी उसके भाई और परिवार पर लगातार दबाव बना रहा था. बीते 24 अगस्त को इसी बात पर लड़की के भाई और आरोपी के बीच विवाद हो गया और भाई की कथित तौर पर पीट-पीटकर हत्या कर दी गई. मां को भी निर्वस्त्र करने का आरोप है.

(प्रतीकात्मक फोटो: पीटीआई)

नई दिल्ली: मध्य प्रदेश के सागर जिले में यौन उत्पीड़न की शिकायत वापस लेने से इनकार करने पर दलित लड़की के 20 वर्षीय भाई की कथित तौर पर पीट-पीटकर हत्या कर दी गई और उनकी 49 वर्षीय मां को निर्वस्त्र किए जाने का मामला सामने आया है. शनिवार (26 अगस्त) को पुलिस ने बताया कि लड़की की शिकायत पर मामले के सभी नौ आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है.

हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, घटना गुरुवार (24 अगस्त) देर रात सागर जिले के बड़ोदिया नौनागिर गांव की है. पुलिस के अनुसार, मुख्य आरोपी विक्रम सिंह (28 वर्ष) और उसके परिवार के आठ सदस्य लड़की के भाई और उसके परिवार पर यौन उत्पीड़न मामले को वापस लेने के लिए दबाव डाल रहे थे, जो कि साल 2019 में दर्ज कराया गया था.

अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (सागर) लोकेश सिन्हा ने कहा, ‘विक्रम सिंह पर 2019 में मृतक की बहन का यौन उत्पीड़न करने का मामला दर्ज किया गया था और तब से वह उन पर मामला वापस लेने का दबाव बना रहा है. गुरुवार को विक्रम का लड़की के भाई के साथ उसके घर पर झगड़ा हुआ, जो बढ़ गया. विक्रम ने बाद में अपने परिवार के सदस्यों को बुलाया, जिन्होंने मिलकर लड़की के भाई और उसकी मां पर हमला किया.’

खुरई पुलिस स्टेशन के प्रभारी नितिन पाल ने कहा, ‘आरोपी ने लड़की की मां को निर्वस्त्र भी कर दिया.’

पाल ने बताया कि दोनों को बुंदेलखंड मेडिकल कॉलेज पहुंचाया गया, जहां डॉक्टरों ने भाई को मृत घोषित कर दिया, जबकि उसकी मां का इलाज चल रहा है.

बुंदेलखंड मेडिकल कॉलेज के अधीक्षक आरसी पांडे ने कहा, ‘महिला के एक हाथ में फ्रैक्चर था और मामूली चोटें थीं. उनकी हालत स्थिर बताई गई है.’

लड़की के परिवार द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के आधार पर पुलिस ने सभी नौ आरोपियों पर भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 302 (हत्या), 353 (यौन उत्पीड़न) और 323 (जान-बूझकर चोट पहुंचाना) और अनुसूचित जाति और जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम, 1989 की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है. उन्होंने कहा, सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है.

हिंदुस्तान टाइम्स के अनुसार, लड़की के परिवार ने आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए भाई के शव का अंतिम संस्कार करने से इनकार कर दिया है. वे अधिकारियों से आरोपी का घर गिराने की भी मांग कर रहे था.

सागर जिला कलेक्टर दीपक आर्य ने बाद में परिवार के सदस्यों से मुलाकात की और उन्हें सख्त कार्रवाई का आश्वासन दिया, जिसके बाद उन्होंने शाम को शव का अंतिम संस्कार कर दिया.

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, मृतक के एक अन्य भाई ने कहा, ‘मेरे भाई को मामले में समझौता करने के लिए कहा गया था, लेकिन उसने इनकार कर दिया. फिर उन्होंने उसे पीट-पीटकर मार डाला.’

उन्होंने कहा, ‘आरोपी व्यक्ति, जो उच्च जाति के हैं, ने मेरी बहन का यौन उत्पीड़न किया था. वे पूर्व सरपंचों के परिवार से आते हैं.’

इस घटना ने एक कड़वे राजनीतिक टकराव को जन्म दिया, कांग्रेस ने जहां ‘भय के माहौल’ की ओर इशारा किया, वहीं भाजपा ने उस पर ‘मामले का राजनीतिकरण’ करने का आरोप लगाया है.

घटना के बाद विपक्षी कांग्रेस पार्टी ने एक टीम का गठन किया जो इलाके में गई और परिवार के लिए मुआवजे की मांग की. सत्तारूढ़ भाजपा ने कांग्रेस पर जाति की राजनीति करने का आरोप लगाया.

पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता कमलनाथ ने कहा कि उनकी पार्टी न्याय के लिए और इस दुखद घटना के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के लिए लड़ेगी.

उन्होंने कहा, ‘सत्तारूढ़ दल से जुड़े कुछ तत्वों द्वारा डर और धमकी का माहौल बनाया गया है.’ उन्होंने आरोपियों के खिलाफ तत्काल कार्रवाई की भी मांग की और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से गहन जांच सुनिश्चित करने का आग्रह किया.

कांग्रेस ने पीड़ित परिवार को एक करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता और परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने की भी मांग की.

भाजपा ने कहा कि राज्य सरकार कानून और व्यवस्था के सिद्धांतों का पालन कर रही है और कांग्रेस लोगों को जाति के आधार पर विभाजित करने की कोशिश कर रही है.

पार्टी प्रवक्ता नरेंद्र सलूजा ने कहा, ‘वे राजनीतिक लाभ के लिए दलितों और आदिवासियों के मुद्दे उठा रहे हैं. आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है और किसी भी आरोपी को बख्शा नहीं जाएगा.’

भाजपा के एक अन्य प्रवक्ता हितेश बाजपेयी ने कहा, ‘कांग्रेस हर आपराधिक घटना पर राजनीति कर रही है. वे बस हर मामले का राजनीतिकरण करना चाहते हैं, जो उचित नहीं है. भाजपा किसी भी तरह के अपराध के प्रति जीरो टॉलरेंस रखती है.’