सस्पेंड होने के बावजूद कुश्ती महासंघ के राष्ट्रीय प्रतियोगिता करवाने समेत अन्य ख़बरें

द वायर बुलेटिन: आज की ज़रूरी ख़बरों का अपडेट.

(फोटो: द वायर/pixabay)

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भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह के करीबी संजय सिंह की अध्यक्षता वाले भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) ने अपने निलंबन के बावजूद पुणे में कुश्ती की ‘सीनियर नेशनल’ प्रतियोगिता रखी है. हालांकि, रिपोर्ट के अनुसार, भारत के अधिकांश शीर्ष खिलाड़ी इस टूर्नामेंट में हिस्सा नहीं ले रहे हैं. वे इसके बजाय अगले महीने की शुरुआत में जयपुर में केंद्रीय खेल मंत्रालय द्वारा गठित एडहॉक समिति द्वारा आयोजित ‘नेशनल’ में भाग लेने वाले हैं. मंत्रालय ने संजय सिंह के नवगठित डब्ल्यूएफआई समिति द्वारा प्रमुख चुने जाने के तीन दिन बाद बीते 24 दिसंबर को इसे निलंबित कर दिया था. मंत्रालय ने कहा था कि महासंघ का नवगठित निकाय ‘पूर्व (डब्ल्यूएफआई) पदाधिकारियों के पूर्ण नियंत्रण’ में काम कर रहा है, जो राष्ट्रीय खेल संहिता के अनुरूप नहीं है. ओलंपिक पदक विजेता बजरंग पुनिया और साक्षी मलिक और विश्व चैंपियनशिप पदक विजेता विनेश फोगाट समेत कई शीर्ष पहलवानों ने बृजभूषण के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं और मामले की सुनवाई दिल्ली हाईकोर्ट में हो रही है. संजय सिंह को डब्ल्यूएफआई प्रमुख चुने जाने के बाद साक्षी मलिक ने कुश्ती से संन्यास लेने की घोषणा की थी, जबकि बजरंग ने अपना पद्म श्री पुरस्कार लौटा दिया था और विनेश ने भी अपने खेल रत्न और अर्जुन पुरस्कार वापस लौटाने का फैसला किया था. डेफलंपिक स्वर्ण पदक विजेता वीरेंद्र सिंह यादव ने भी अपने पदक और पद्मश्री पुरस्कार वापस करने की घोषणा की थी.

राजस्थान के कोचिंग हब माने जाने वाले शहर कोटा में जेईई की तैयारी कर रही एक छात्रा की आत्महत्या की घटना सामने आई है. हिंदुस्तान टाइम्स के अनुसार, यह इस महीने हुई ऐसी दूसरी घटना है. छात्रा बोरखेड़ा इलाके में अपने परिजनों के साथ रहती थीं. उनके पिता एक प्राइवेट बैंक में सिक्योरिटी गार्ड के तौर पर काम करते हैं. बताया गया है कि छात्रा के कमरे से एक सुसाइड नोट मिला है, जिसमें उन्होंने पढ़ाई के तनाव का जिक्र करते हुए ‘ वे जेईई नहीं कर सकतीं और जान लेने के सिवाय कोई रास्ता नहीं बचा है.’ इससे पहले उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद के एक 19 वर्षीय छात्र को 23 जनवरी की देर रात उनके हॉस्टल के कमरे में मृत पाया गया था. पुलिस रिकॉर्ड के अनुसार, वर्ष 2023 में विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे 26 छात्रों ने आत्महत्या की थी, जो 2015 के बाद से सबसे अधिक है.

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा है कि अगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी फिर से चुने जाते हैं तो आगामी आम चुनाव भारत का आखिरी चुनाव होगा. द हिंदू के अनुसार, सोमवार को भुवनेश्वर में पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए खरगे ने कहा, ‘… हमारे एक नेता कल इंडिया गठबंधन छोड़कर चले गए… मौजूदा सरकार की कार्यप्रणाली में एक के बाद एक नेताओं को नोटिस भेजना, आतंकित करना और धमकाना शामिल है. लोग डर के कारण दोस्ती, गठबंधन और पार्टियों को छोड़ रहे हैं. सवाल उठता है: क्या इतने सारे कायरों के रहने से देश, लोकतंत्र या संविधान बच पाएगा?’ उन्होंने जोड़ा कि जनता के सामने निर्णायक रूप से वोट डालने का यह आखिरी मौका है. इसके बाद, आगे कोई मतदान संभव नहीं होगा क्योंकि आगे कोई चुनाव नहीं होगा. अगर चुनाव हुए तो रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के चुनाव की तरह ही होंगे. वे ही सत्ता में रहेंगे, उन्हें 200, 300 और 400 सीटें मिलेंगी. वे सीटों की संख्या 600 से भी अधिक बढ़ा देंगे.’

केंद्रीय मंत्री शांतनु ठाकुर ने कहा है कि नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) को हफ्तेभर के अंदर देश में लागू किया जाएगा. टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक, सोमवार को दक्षिण 24 परगना जिले में भाजपा के कार्यकर्ताओं के एक बूथ-सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, ‘मैं सीएए को राष्ट्रीय स्तर पर लागू करने की गारंटी दे सकता हूं. इसे एक सप्ताह के भीतर पश्चिम बंगाल समेत भारत के सभी राज्यों में लागू कर दिया जाएगा. मैं इस मंच से यह गारंटी दे रहा हूं.’ ठाकुर बोंगांव से भाजपा सांसद हैं. उनकी टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि भाजपा हमेशा किसी भी चुनाव से पहले सीएए का मुद्दा उठाती है. ममता ने कहा कि उन्होंने एनआरसी के खिलाफ लड़ाई लड़ी है. राजबंशी भारत के नागरिक हैं. भाजपा ने वोट के लिए फिर से सीएए, सीएए चिल्लाना शुरू कर दिया है. उन्होंने जोड़ा कि उनकी सरकार ने सभी कॉलोनियों को ‘स्थायी पते’ के रूप में स्वीकार किया है और राज्य सरकार के विभिन्न लाभों का लाभ पाने वाले सभी निवासी देश के नागरिक हैं.

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत स्टूडेंट्स इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया (सिमी) पर प्रतिबंध को अगले पांच साल के लिए बढ़ा दिया है. इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार, गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार को कहा कि पीएम मोदी के आतंक के खिलाफ जीरो टॉलरेंस केदृष्टिकोण को आगे बढ़ाते हुए सिमी को यूएपीए के तहत 5 साल के लिए ‘गैरकानूनी संगठन’ घोषित किया गया है. सिमी 25 अप्रैल, 1977 को उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में जमात-ए-इस्लामी-हिंद में विश्वास रखने वाले युवाओं और छात्रों के एक संगठन के रूप में अस्तित्व में आया था. आरोप है कि यह संगठन कथित तौर पर भारत को इस्लामिक राज्य में परिवर्तित कर उसे आजाद कराने के एजेंडा पर काम करता है. इसे पहली बार 2001 में एक गैरकानूनी संगठन घोषित किया गया था. तब से, इस पर कई मौकों पर प्रतिबंध लगाया गया है. पिछला प्रतिबंध पांच सालों के लिए 31 जनवरी, 2019 को लगाया गया था.

दिल्ली की एक अदालत ने यूएपीए केस के तहत न्यूज़क्लिक के संस्थापक संपादक प्रबीर पुरकायस्थ और एचआर हेड अमित चक्रवर्ती की न्यायिक हिरासत को बढ़ा दिया. एनडीटीवी के अनुसार, सोमवार को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश हरदीप कौर ने उनकी न्यायिक हिरासत 17 फरवरी, 2024 तक बढ़ा दी. वहीं चक्रवर्ती हाल ही में इस मामले में सरकारी गवाह बन गए हैं. चक्रवर्ती और प्रबीर पुरकायस्थ को दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने 3 अक्टूबर 2023 को गिरफ्तार किया था, तबसे दोनों दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं. बीते दिसंबर में ही पटियाला हाउस कोर्ट ने दिल्ली पुलिस को जांच पूरी करने के लिए इनकी न्यायिक हिरासत को 60 दिन तक बढ़ाया था.