नई दिल्ली: मध्य प्रदेश के शिवपुरी जिले में मंगलवार (26 नवंबर) को गांव के सरपंच और उसके परिवार ने दलित समुदाय के 30 वर्षीय व्यक्ति की कथित तौर पर पीट-पीटकर हत्या कर दी.
रिपोर्ट के अनुसार, ग्वालियर जिले का रहने वाला मृतक नारद जाटव अपने चाचा से मिलने इंदरगढ़ गांव गया था, तभी यह घटना हुई. पुलिस ने बताया है कि जाटव और सरपंच पदम धाकड़ के परिवार के बीच बोरवेल को लेकर लंबे समय से चल रहे विवाद के चलते यह हत्या की गई.
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, घटना के प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि जाटव और धाकड़, उसके भाई मोहर पाल धाकड़ और बेटे अंकेश धाकड़ के बीच बहस के बाद तीनों ने कथित तौर पर जाटव को घेर लिया और उस पर डंडों से तब तक हमला किया, जब तक कि उसकी मौत नहीं हो गई.
सोशल मीडिया पर सामने आए इस घटना के वीडियो में कई लोग जाटव की पिटाई करते हुए दिखाई दे रहे हैं.
यह विवाद पदम और जाटव के दिवंगत चाचाओं द्वारा बनाए गए एक बोरवेल को लेकर शुरू हुआ था. जाटव परिवार अपनी ज़मीन की सिंचाई के लिए बोरवेल का इस्तेमाल करता था, जबकि धाकड़ परिवार ने कथित तौर पर अपने होटल में पानी की आपूर्ति के लिए जाटव की ज़मीन से होकर एक सरकारी रास्ता बनाया था.
जाटव ने कथित तौर पर इस बोरवेल की पाइपलाइन को हटा दिया था, जिसके कारण धाकड़ परिवार के साथ टकराव हुआ.
अख़बार के अनुसार जाटव के परिवार ने सरपंच और उनके रिश्तेदारों पर पूर्व नियोजित हत्या का आरोप लगाया है.
एसपी अमन सिंह राठौर ने बताया है कि हत्या के आरोप में सरपंच समेत आठ लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है, जिनमें से चार को अब तक गिरफ़्तार किया गया है.
इस मुद्दे पर कांग्रेस और मध्य प्रदेश में सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के बीच वाकयुद्ध छिड़ गया है.
कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने एक्स पर लिखा, ‘एक तरफ़ पूरा देश संविधान दिवस मना रहा है, लोग बाबा साहब आंबेडकर के विचारों की बात कर रहे हैं, वहीं दूसरी तरफ़ भाजपा के शासन में एक दलित भाई को लाठियों से पीट-पीटकर मार डाला गया. आज भाजपा का शासन दलितों पर शोषण और अत्याचार का पर्याय बन गया है. राज्य के गृह मंत्री विदेश में छुट्टियां मना रहे हैं और माफिया उनके संरक्षण में फल-फूल रहा है.’
हालांकि, भाजपा प्रवक्ता नरेंद्र सलूजा ने कहा कि मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री स्थिति पर नजर रखे हुए हैं और किसी भी आरोपी को बख्शा नहीं जाएगा. उन्होंने कहा कि यादव की ब्रिटेन यात्रा का उद्देश्य विदेशी निवेश को आकर्षित करना है और इसकी आलोचना नहीं की जानी चाहिए.