दक्षिण त्रिपुरा के बेलोनिया शहर में लगी थी लेनिन की मूर्ति. भाजपा कार्यकर्ताओं पर प्रतिमा ढहाने का आरोप. इस दौरान भारत माता की जय के नारे भी लगाए गए.
अगरतला/नई दिल्ली: त्रिपुरा में विधानसभा चुनाव में मिली जीत के 48 घंटे के भीतर वामपंथ के अगुवा माने जाने वाले रूसी कम्युनिस्ट क्रांतिकारी व्लादिमीर लेनिन की मूर्ति ढहाने की घटना सामने आई है. इस दौरान भारत माता की जय के नारे लगाए गए.
फिलहाल जिस जेसीबी से लेनिन की प्रतिमा गिराई गई उसके चालक को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. माकपा ने इस घटना के लिए भाजपा कार्यकर्ताओं को ज़िम्मेदार ठहराया है.
त्रिपुरा माकपा ज़िला सचिव तापस दत्ता ने कहा कि त्रिपुरा में माकपा की हार और भाजपा की जीत के बाद अगरतला से करीब 110 किलोमीटर दूर बेलोनिया में कॉलेज स्क्वायर में कथित तौर पर भाजपा कार्यकर्ताओं ने पांच फुट लंबी प्रतिमा को गिरा दिया. कुछ महीना पहले पार्टी पोलित ब्यूरो सदस्य प्रकाश करात ने इस प्रतिमा का अनावरण किया था.
दत्ता ने बताया, ‘प्रतिमा को गिराए जाने के बाद भारत माता की जय के नारे भी लगाए गए.’
दक्षिण त्रिपुरा जिले के पुलिस अधीक्षक मोनचक इप्पर ने बताया कि जेसीबी मशीन के चालक को गिरफ़्तार किया गया. बाद में जमानत पर उसे रिहा कर दिया गया.
एसपी ने बताया कि प्रतिमा बेलोनिया नगर निगम को सौंप दी जाएगी. इस बीच, ज़िला मजिस्ट्रेट मिलिंद रामटेके ने बताया कि चुनाव बाद हिंसा के कारण श्रीनगर, लेफुंगाख, मंडई, आमतली, राधापुर, अरूंधति नगर, जिरनिया, मोहनपुर सहित दक्षिण त्रिपुरा ज़िले के कई इलाकों में निषेघाज्ञा लागू कर दी गई है.
हाल में संपन्न विधानसभा चुनावों में भाजपा ने त्रिपुरा में वाम दुर्ग ढहा दिया है और अपने गठबंधन सहयोगी इंडीजिनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ इंडिया (आईपीएफटी) के साथ मिल कर दो तिहाई बहुमत हासिल किया है.
माकपा ने भाजपा और आईपीएफटी पर तीन मार्च को चुनाव परिणामों की घोषणा के बाद पूरे राज्य में एक ‘अभूतपूर्व आतंक’ को बढ़ावा देने का मंगलवार को आरोप लगाया है.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, यह घटना करीब ढाई बजे की है. जब भारत माता की जय का नारा लगाते हुए सैकड़ों की संख्या में भाजपा कार्यकर्ता जुटे और एक बुलडोजर मंगाकर ब्लादिमीर लेनिन की मूर्ति ढहा दी. बाद में पुलिस ने चालक आशीष पाल को गिरफ्तार कर जेसीबी सीज कर दिया. यह मूर्ति माकपा शासन के 21 साल पूरे होने पर 2013 में दक्षिण त्रिपुरा ज़िले के मुख्यालय बेलोनिया में लगाई गई थी.
#WATCH: Statue of Vladimir Lenin brought down at Belonia College Square in Tripura. pic.twitter.com/fwwSLSfza3
— ANI (@ANI) March 5, 2018
त्रिपुरा के एसपी कमल चक्रवर्ती (पुलिस कंट्रोल) ने जानकारी दी कि बीजेपी समर्थकों ने बुलडोज़र ड्राइवर को शराब पिलाकर इस घटना को अंजाम दिया.
वहीं, माकपा नेता तापस दत्ता ने कहा, प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि बीजेपी कार्यकर्ताओं ने मूर्ति गिराने के बाद उसे तोड़ना शुरू किया. वे लेनिन की प्रतिमा के सिर से फुटबॉल की तरह खेल रहे थे.
फिलहाल भाजपा ने इस मामले से पल्ला झाड़ते हुए कहा है कि वामपंथी शासन में दमन के शिकार लोगों ने मूर्ति को ढहाया.
Post Poll violence in Tripura against the Left is the truth which mocks the PM's claims that BJP believes in democratic norms! What is happening in Tripura is a wholesale effort to bully, intimidate and spread a feeling of fear and insecurity among Left cadres and supporters. pic.twitter.com/l1FFAqFhR1
— CPI (M) (@cpimspeak) March 5, 2018
माकपा ने वामपंथी कैडरों और दफ्तरों पर हुए हमलों की लिस्ट जारी की है और कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा उनके कार्यकर्ताओं को डरा रहे हैं. साथ ही यह भी कहा है कि ये हिंसक घटनाएं घटनाएं प्रधानमंत्री द्वारा बीजेपी को लोकतांत्रिक बताने के दावों का मजाक है.
सोमवार को भी दो जगहों से हिंसा की खबर है जिसमें 3 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. कई थाना क्षेत्रों में धारा 144 भी लगाई गई है.
नगर निगम परिसर में रखी जाएगी लेनिन की क्षतिग्रस्त प्रतिमा
दक्षिण त्रिपुरा के बेलोनिया में कुछ लोगों द्वारा क्षतिग्रस्त की गई कम्युनिस्ट नेता व्लादिमीर लेनिन की प्रतिमा को नगर निगम के कार्यालय में रखा जाएगा.
करीब 11 फुट ऊंची फाइबर ग्लास की इस प्रतिमा को बुलडोज़र से गिराया गया था.
बेलोनिया नगर निगम परिषद के सीईओ अमित घोष ने सात मार्च को बताया, ‘शुरुआत में हमने क्षतिग्रस्त प्रतिमा को वहीं पड़े रहने दिया क्योंकि हमें लोगों के मिज़ाज़ के बारे में पता नहीं था. हम चाहते थे कि स्थिति थोड़ा संभल जाए. लेकिन उच्च अधिकारियों की ओर से निर्देश मिलने के बाद हमने प्रतिमा को ले जाने और अपने कार्यालय में रखने का निर्णय किया है.’
हालांकि उन्होंने कहा कि अभी यह निश्चित नहीं है कि प्रतिमा को परिसर के अंदर रखा जाएगा अथवा बाहर.
सीईओ ने कहा, ‘प्रतिमा का सिर गायब है. हम इसे किसी चीज़ से ढकने का प्रयास करेंगे, जो हुआ वह निंदनीय है, लेनिन वैश्विक नेता हैं. घटनास्थल में कोई सीसीटीवी कैमरा नहीं था.’
माकपा और तृणमूल कांग्रेस ने घटना के लिए भाजपा को ज़िम्मेदार ठहराया है.
उन्होंने बताया कि प्रतिमा 2015 में लगाई गई थी और इसमें करीब पांच लाख रुपये का ख़र्च आया था. स्थानीय कलाकार ने इसकी रचना की थी और धन त्रिपुरा शहरी रोज़गार कार्यक्रम से मिला था.
त्रिपुरा में चुनाव बाद हिंसा की घटनाओं से माकपा ने मोदी को अवगत कराया
माकपा ने त्रिपुरा में विधानसभा चुनाव का परिणाम आने के बाद शुरू हुई हिंसा की घटनाओं पर चिंता व्यक्त करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से वामपंथी संगठनों और कार्यकर्ताओं पर हो रहे हमलों को रोकने के लिए तत्काल कार्यवाही करने की मांग की है.
लोकसभा में माकपा के उपनेता मोहम्मद सलीम ने मंगलवार को संवाददाताओं को बताया कि पार्टी पोलित ब्यूरो की ओर से प्रधानमंत्री को इस बारे में पत्र लिखकर त्रिपुरा के हालात से अवगत कराया गया है.
सलीम ने कहा कि त्रिपुरा में चुनाव परिणाम घोषित होने के बाद शुरू हुए हिंसा के दौर का ताज़ा उदाहरण राज्य में सोमवार को लेनिन की प्रतिमा ढहाना है.
उन्होंने कहा कि पत्र में विधानसभा चुनाव परिणाम घोषित होने के बाद त्रिपुरा में भाजपा समर्थकों की माकपा कार्यकर्ताओं और संगठनों के ख़िलाफ़ हिंसक घटनाओं का ब्योरा भी दिया गया है.
इसके मुताबिक पांच मार्च को शाम चार बजे तक त्रिपुरा में हिंसा की घटनाओं में 514 लोग घायल हुए हैं, 1539 घरों पर हमले किए गए, 196 घरों में आग लगाई गई, माकपा के 134 पार्टी कार्यालयों को निशाना बनाया गया है और 208 पार्टी कार्यालयों पर क़ब्ज़ा किया गया.
पत्र में प्रधानमंत्री मोदी से हिंसा और हमलों की घटनाओं को रोकने के लिए तत्काल हस्तक्षेप करने का अनुरोध किया गया है. उन्होंने कहा कि पत्र में त्रिपुरा में तेज़ी से बिगड़ते हालात को ठीक कर स्थिति सामान्य करने और शांति बहाली की बात कही गई है.
राजनाथ सिंह ने त्रिपुरा के राज्यपाल से बात की
केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने राज्य के राज्यपाल और डीजीपी से बात की और नई सरकार के कामकाज संभालने तक राज्य में शांति सुनिश्चित करने को कहा.
एक अधिकारी ने बताया कि टेलीफोन पर हुई बातचीत में राज्यपाल तथागत राय और डीजीपी एके शुक्ला ने त्रिपुरा की स्थिति और यहां विधानसभा चुनाव में भाजपा-आईपीएफटी (क्षेत्रीय दल इंडीजिनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा) गठबंधन की जीत के बाद भड़की हिंसा पर नियंत्रण के लिए उठाये गये कदमों से गृह मंत्री को अवगत कराया.
गृह मंत्रालय के अधिकारी ने बताया कि सिंह ने राज्यपाल और डीजीपी से हर तरह की हिंसा पर रोक लगाने और त्रिपुरा में नई सरकार के गठन तक शांति सुनिश्चित करने का निर्देश दिया.
त्रिपुरा में ऐतिहासिक जीत दर्ज करते हुए भाजपा ने 25 सालों से सत्ता पर काबिज माकपा को बाहर का रास्ता दिखा दिया है. राज्य की 60 सीटों में से अब तक भाजपा-आईपीएफटी गठबंधन 40 सीटें जीत चुका है. वहीं सत्तारूढ़ माकपा के खाते में सिर्फ 11 सीटें ही आई हैं.
इससे पहले त्रिपुरा चुनाव के नतीजे आने के एक दिन बाद रविवार को माकपा ने दावा किया था कि कार्यकर्ताओं से मारपीट के अलावा पार्टी के दफ्तरों पर हिंसा की कम से कम 200 घटनाएं हुई हैं.
त्रिपुरा में चुनाव बाद हिंसा के 11 मामलों में चार गिरफ़्तार
त्रिपुरा के विभिन्न हिस्सों में पिछले 24 घंटे के दौरान ‘चुनाव बाद हिंसा’ के 11 मामलों की सूचना मिली है और इस सिलसिले में चार लोगों को गिरफ़्तार किया गया है.
पुलिस ने सात मार्च को बताया कि विधानसभा चुनाव के परिणाम तीन मार्च को घोषित किए जाने के बाद से राज्य में हमला और आगजनी की घटनाएं देखने को मिलीं. भाजपा ने अपने गठबंधन सहयोगी आईपीएफटी के साथ दो-तिहाई बहुमत हासिल कर त्रिपुरा में वाम क़िले को ध्वस्त कर दिया है.
पुलिस अधीक्षक (पुलिस नियंत्रण) प्रदीप डे ने बताया, ‘हिंसा नियंत्रित’ करने के लिए उपाय किये गए हैं.
उन्होंने बताया कि माकपा और भाजपा कार्यकर्ताओं के बीच हुए एक संघर्ष के सिलसिले में उत्तर त्रिपुरा ज़िले के धरमनगर उप संभाग से चार लोगों को गिरफ़्तार किया गया है.
एसपी ने बताया, ‘अब स्थिति पर बहुत हद तक काबू पा लिया गया है. मैं कह सकता हूं कि मंगलवार रात से हिंसा नहीं बढ़ी है.’ उन्होंने कहा कि मंगलवार से जो 10 अन्य मामले सामने आए हैं वह ‘मामूली’ हैं.
धरमनगर के उप संभागीय पुलिस अधिकारी (एसडीपीओ) धीमान दास चौधरी ने बताया कि दो राजनीतिक दलों के सदस्यों के बीच टकराव के बाद धरमनगर उप-संभाग के अलन बाज़ार इलाके में झगड़ा हो गया.
उन्होंने बताया कि माकपा के छह और भाजपा के चार सदस्यों का अस्पताल में इलाज चल रहा हैं. उन्होंने बताया कि इलाके में अर्द्धसैनिक बलों और त्रिपुरा स्टेट राइफल्स के जवानों को तैनात किया गया है.
भाजपा के मीडिया प्रभारी विक्टर शोम ने बताया कि पार्टी की ओर से मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने जा रहे बिप्लव कुमार देब ने ‘चुनाव बाद हिंसा’ में शामिल पाए जाने वाले लोगों के ख़िलाफ़ ‘कड़ी कार्रवाई’ करने की बात कही है.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)