बिहार चुनाव राउंडअप: विधानसभा चुनाव के पहले चरण में 71 सीटों पर शाम पांच बजे तक 51.91 प्रतिशत मतदान हुआ. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तेजस्वी यादव को 'जंगलराज का युवराज' बताया. माकपा नेता बृंदा करात ने कहा, एनडीए ‘विनाश गठबंधन.’
वीडियो: बिहार में चुनावी सर्वे की भविष्यवाणी के उलट ज़मीन पर हालात अलग नज़र आ रहे हैं. एक ओर तेजस्वी यादव की रैलियों में युवाओं की भारी भीड़ देखने को मिल रही है, वहीं युवाओं में नए चेहरे को मौक़ा देने की बात साफ़ देखी जा सकती है. द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की लोगों से बातचीत.
बिहार विधानसभा चुनाव के पहले चरण के मतदान की पूर्व संध्या पर मुंगेर में हुई इस घटना में मूर्ति विसर्जन के दौरान गोलीबारी और पथराव होने से एक व्यक्ति की मौत हो गई और सुरक्षाकर्मियों सहित दो दर्जन से अधिक लोग घायल हो गए. विपक्ष ने इसे लेकर राज्य सरकार पर निशाना साधा है.
बिहार चुनाव राउंडअप: विधानसभा चुनाव के पहले चरण के लिए बुधवार को 71 सीटों पर होगा मतदान. तेजस्वी यादव ने जताई महागठबंधन को दो तिहाई बहुमत मिलने की उम्मीद. जदयू के प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि बिहार की जनता जाति आधारित गोलबंदी से निकल चुकी है.
बिहार चुनाव राउंडअप: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोगों को चुनाव के समय तरह-तरह के वादे करने और ठगने की आदत होती है. कांग्रेस ने किया महागठबंधन के डेढ़ सौ सीटें जीतने का दावा, एआईएमआईएम नेता असदुद्दीन औवैसी बोले, भाजपा नीतीश कुमार के ख़िलाफ़ साज़िश रच रही है.
ग्राउंड रिपोर्ट: यूपी-बिहार सीमा पर पश्चिम चंपारण के वाल्मीकिनगर विधानसभा क्षेत्र के गंडक नदी के किनारे बसे आखिरी धूमनगर गांव के कुछ टोले केवल नावों के सहारे जुड़े हैं. ग्रामीणों का कहना है कि लंबे समय से पुल बनाने की मांग उठने के बावजूद प्रशासन की तरफ से कोई सुनवाई नहीं है.
बिहार विधानसभा चुनाव राउंडअप: महागठबंधन के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार तेजस्वी यादव ने कहा कि नीतीश कुमार ऊर्जाविहीन हो चुके हैं. उनकी पकाऊ, थकाऊ, उबाऊ, बासी और घिसी-पिट्टी बातों से जनता पक चुकी है. भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने महागठबंधन को विकास विरोधी क़रार देते हुए कहा कि राजद के स्वभाव में ही अराजकता है.
बिहार के शिवहर विधानसभा क्षेत्र का मामला. मृतक श्रीनारायण सिंह जनता दल राष्ट्रवादी के प्रत्याशी थे. हमले में उनके एक समर्थक की भी मौत हो गई है. पुलिस ने इसे निजी दुश्मनी का मामला बताया है.
ग्राउंड रिपोर्ट: गया शहर से 8 किलोमीटर दूर चूड़ी पंचायत के चुड़ामननगर में कमोबेश हर परिवार में कम से कम एक व्यक्ति पानी से मिले फ्लोराइड के चलते शरीर में आई अक्षमता से प्रभावित है. बड़े-बड़े चुनावी वादों के बीच इस क्षेत्र के लोगों को साफ़ पीने के पानी जैसी बुनियादी सुविधा भी मयस्सर नहीं है.
बिहार विधानसभा चुनाव राउंडअप: राजद की ओर से नौकरी के वादे पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि 15 साल के शासन में बिहार में जंगलराज क़ायम करने वालों का नौकरी और विकास की बात करना मज़ाक है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भाजपा के मुफ्त कोरोना वैक्सीन के वादे को सही ठहराया. इस बीच भाजपा के बिहार चुनाव प्रभारी देवेंद्र फड़नवीस कोरोना संक्रमित पाए गए.
ग्राउंड रिपोर्ट: आज़ादी के बाद कोसी की बाढ़ से राहत दिलाने के नाम पर इसे दो पाटों में क़ैद किया गया था और अब लगातार बनते तटबंधों ने नदी को कई पाटों में बंद कर दिया है. इस बीच सुपौल, सहरसा, मधुबनी ज़िलों के नदी के कटान में आने वाले गांव तटबंध के लाभार्थी और तटबंध के पीड़ितों की श्रेणी में बंट चुके हैं.
बिहार विधानसभा चुनाव राउंडअप: राहुल गांधी ने बिहार में हुई चुनावी रैली में कृषि संबंधी तीन क़ानून, जीएसटी, प्रवासी मज़दूरों का पलायन और नोटबंदी जैसे मुद्दों पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर सवाल उठाए. तेजस्वी यादव ने दावा किया कि नौ नवंबर को लालू जी की रिहाई हो रही है और 10 तारीख़ को नीतीश जी की विदाई होगी.
नीतीश कुमार मुख्यमंत्री बनाने के बीजेपी की घोषणा के तीर का पहला लक्ष्य प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कथित अजेय छवि को बरक़रार और हार का ठीकरा उनके सिर फोड़ना है. इसके अलावा चुनाव बाद स्पष्ट बहुमत न मिलने की दशा में नीतीश को किनारे कर एलजेपी के समर्थन और कांग्रेस तथा अन्य गठबंधनों से विधायक तोड़कर बीजेपी के नेतृत्व में अगली सरकार बनाना है.
2015 में जब जदयू के साथ मिलकर राजद ने बिहार में सरकार बनाई थी तब तेजस्वी यादव महज़ 26 साल की उम्र में उप-मुख्यमंत्री बन गए थे. अगले क़रीब एक साल तक उप-मुख्यमंत्री रहे वही तेजस्वी आज लगभग पांच साल बाद नीतीश के सामने मुख्यमंत्री पद के सबसे बड़े दावेदार बनकर खड़े हैं.
ग्राउंड रिपोर्ट: 70 के दशक में मधेपुरा-सहरसा राष्ट्रीय राजमार्ग पर बैजनाथपुर में काफ़ी उम्मीदों के साथ पेपर मिल बनी थी, पर कभी काम शुरू नहीं हो सका. मिल में रोज़गार पाने की आस में उम्र गुज़ार चुके लोगों की अगली पीढ़ी विभिन्न राज्यों में मज़दूरी कर रही है और मिल खुलने का वादा केवल चुनावी मौसम का मुद्दा बनकर रह गया है.