क्या ऑक्सीजन कांड में चुप न रहने की सज़ा काट रहे हैं डॉ. कफील ख़ान

गोरखपुर के बीआरडी अस्पताल में हुए ऑक्सीजन कांड के तीन बरस पूरे हो गए. लेकिन इस दौरान हादसे में 'विलेन' बना दिए गए डॉ. कफील ख़ान के अलावा नौ आरोपियों में से कोई इस प्रकरण पर बोलने के लिए सामने नहीं आया. शायद यही वजह है कि इन तीन बरसों में डॉ. कफील ने अधिकतर समय जेल में बिताया है.

यूपी: सवर्ण समुदाय के लोगों की आपत्ति के बाद रोका गया दलित महिला का अंतिम संस्कार

मामला आगरा के काकरपुर गांव का है. नट समुदाय की एक महिला की 19 जुलाई को मौत हो गई थी. उनके दाह संस्कार के समय गांव के सवर्णों ने श्मशान भूमि को किसी और द्वारा प्रयोग न करने देने की बात कहते हुए इसे रोक दिया और महिला के परिवार को चार किलोमीटर दूर दलितों के लिए बनी जगह पर शव जलाने को कहा.

यूपी: गोरखपुर में अपहरण के बाद बच्चे की हत्या, विपक्ष ने कहा- बढ़ता जा रहा है जंगलराज

मामला गोरखपुर ज़िले के पिपराइच इलाके का है, जहां अपहरण किए गए एक छठी कक्षा के छात्र का शव नाले में मिला. प्रदेश में बढ़ते अपराधों का हवाला देते हुए विपक्ष ने क़ानून और व्यवस्था की स्थिति को लेकर राज्य सरकार पर निशाना साधा है.

यूपी में क़ानून व्यवस्था धराशायी, न पत्रकार सुरक्षित न महिलाएं

वीडियो: गाज़ियाबाद में बदमाशों के हमले में गंभीर रूप से घायल पत्रकार विक्रम जोशी की बुधवार को मौत हो गई. वहीं, जमीन विवाद की सुनवाई न होने से परेशान होकर कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कार्यालय के सामने बेटी के साथ आत्मदाह का प्रयास करने वाली महिला ने भी दम तोड़ दिया.

यूपी: मुख्यमंत्री कार्यालय के सामने बेटी के साथ आत्मदाह की कोशिश करने वाली महिला की मौत

बीते 17 जुलाई को उत्तर प्रदेश के अमेठी की रहने वाली मां-बेटी ने भूमि विवाद पर पुलिस की ओर से कथित तौर पर कार्रवाई नहीं किए जाने के विरोध में मुख्यमंत्री कार्यालय के सामने ख़ुद पर मिट्टी तेल छिड़ककर आग लगा ली थी.

लखनऊ: भूमि विवाद में कार्रवाई न होने पर मां-बेटी ने लोकभवन के सामने आत्मदाह की कोशिश की

यह घटना शुक्रवार शाम को उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ की अत्यंत कड़ी सुरक्षा वाली जगह पर हुई, जहां विधान भवन और लोकभवन हैं. लोक भवन में ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का कार्यालय है. इस मामले में अमेठी के जामो थाने के प्रभारी निरीक्षक सहित तीन पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया गया है.

कब होगी डॉ. कफ़ील और भीमा कोरेगांव कार्यकर्ताओं की रिहाई?

वीडियो: डॉ. कफ़ील ख़ान बीते दिसंबर में एएमयू में हुए एंटी-सीएए प्रदर्शन में कथित भड़काऊ टिप्पणी करने के लिए गिरफ़्तार किया गया था. फरवरी में उन्हें ज़मानत मिली लेकिन जेल से बाहर आने के कुछ घंटे बाद उन पर एनएसए लगा दिया गया. इस बारे में द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम़ शेरवानी का नज़रिया.

पुलिस एनकाउंटर: ‘त्वरित न्याय’ के नाम पर अराजकता को स्वीकार्यता नहीं मिलनी चाहिए

एक राष्ट्र और एक अपराधी में यही अंतर होता है कि राष्ट्र क़ानून से चलता है जबकि अपराधी उसे तोड़ता है. अगर राष्ट्र एक बार भी क़ानून तोड़ दे, तो इसका अर्थ होगा कि वह भी अपराधी की श्रेणी में आ गया और उसका शासन करने का नैतिक अधिकार समाप्त हो जाएगा.

यूपी: गैंगरेप पीड़िता और उसकी मां को ज़मानत पर छूटे आरोपी ने ट्रैक्टर से कुचला, मौत

मामला कासगंज का है, जहां 2016 में पारिवारिक रंज़िश में एक 13 वर्षीय नाबालिग को अगवाकर उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया गया था. तब आरोपियों को गिरफ़्तार कर जेल भेज दिया गया. मंगलवार को ज़मानत पर बाहर आने के बाद एक आरोपी ने पीड़िता और उसकी मां पर ट्रैक्टर चढ़ा दिया.

कानपुर गोलीकांड में जान गंवाने वाले कॉन्स्टेबल के पिता बोले- विकास दुबे के साथ कई राज़ भी चले गए

कानपुर के बिकरू गांव में जान गंवाने वाले पुलिसकर्मियों के परिजन विकास दुबे के कथित एनकाउंटर से संतुष्ट हैं, लेकिन उनका कहना है कि अब उसके सहयोगियों-संरक्षकों का पर्दाफ़ाश नहीं हो पाएगा.

कौन नहीं चाहता था, विकास दुबे ज़िंदा रहे?

वीडियो: उत्तर प्रदेश पुलिस की एसटीएफ ने शुक्रवार को दावा किया था कि मध्य प्रदेश के उज्जैन में बीते नौ जुलाई को गिरफ़्तार किए गए आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के मुख्य आरोपी विकास दुबे को कानपुर लाते समय पुलिस दल की एक गाड़ी पलट गई. इस दौरान वह भागने की कोशिश कर रहा था, तो पुलिस को गोली चलानी पड़ी.

विकास दुबे एनकाउंटर: ‘अगर वो भाग रहा था, तो पुलिस की गोली पीठ की बजाय छाती में कैसे लगी?’

उत्तर प्रदेश के कानपुर में पिछले हफ्ते आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के मुख्य आरोपी विकास दुबे की कथित मुठभेड़ को कांग्रेस, सपा और बसपा ने उसके राजनीतिक संरक्षकों को बचाने की साजिश करार दिया और न्यायिक जांच की मांग की.

विकास दुबे की मौत से चंद मिनट पहले पुलिस ने रोक दी थी वाहनों की आवाजाही

मध्य प्रदेश से हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे को कानपुर ला रही यूपी पुलिस की टीम के काफ़िले के पीछे चल रहे मीडियाकर्मियों ने बताया है कि 'एनकाउंटर' से कुछ ही मिनट पहले अचानक पुलिस द्वारा उस सड़क पर वाहनों को रोक दिया गया.

पुलिस का दावा, भागने की कोशिश में मारा गया गैंगस्टर विकास दुबे

दो जुलाई की देर रात उत्तर प्रदेश में कानपुर के चौबेपुर थानाक्षेत्र के बिकरू गांव में पुलिस की एक टीम गैंगस्टर विकास दुबे को पकड़ने गई थी, जब विकास और उसके साथियों ने पुलिस पर हमला कर दिया था. इस मुठभेड़ में आठ पुलिसकर्मियों की मौत हो गई थी. बीते नौ जुलाई को पुलिस ने विकास दुबे को मध्य प्रदेश के उज्जैन शहर से गिरफ़्तार किया था.

गाज़ियाबाद: मोमबत्ती की अवैध फैक्ट्री में हुए हादसे पर यूपी सरकार को मानवाधिकार आयोग का नोटिस

5 जुलाई को गाज़ियाबाद ज़िले में मोमबत्ती बनाने के एक अवैध कारखाने में भीषण आग लग गई थी, जिसमें छह महिला श्रमिकों समेत आठ लोगों की मौत हो गई. मृतकों में एक नाबालिग भी शामिल था. एनएचआरसी ने राज्य सरकार से चार सप्ताह के अंदर इस बारे में विस्तृत रिपोर्ट देने को कहा है.

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