वीडियो: उत्तर प्रदेश के शामली ज़िले में पुलिस बर्बरता की एक घटना सामने आई है. शामली के टपरना गांव के लोगों का आरोप है कि बीती 26 मई को देर रात पुलिस ने लगभग 35 मुसलमानों के घरों में घुसकर तोड़फ़ोड़ की. मर्दों, औरतों और बच्चों के साथ मारपीट की.
उत्तर प्रदेश के अमरोहा ज़िले का मामला. दोनों मज़दूर अमरोहा-हापुड़ सीमा वाले ब्रजघाट में गंगा के पुल से नीचे कूद गए थे.
उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में पिछले साल दिसंबर में कथित तौर पर भड़काऊ भाषण देने के मामले में 29 जनवरी को डॉक्टर कफील खान को गिरफ्तार किया गया था. 10 फरवरी को इलाहाबाद हाईकोर्ट से जमानत मिलने के बाद रिहा करने के बजाय उन पर रासुका लगा दिया गया था.
देश में एक लंबी और मुश्किल लड़ाई के बाद हासिल किए गए लोकतांत्रिक अधिकार ख़तरे में हैं क्योंकि सत्ताधारी दल द्वारा उनका दुरूपयोग किया जा रहा है.
मौलाना साद कांधलवी के ख़िलाफ़ ग़ैर-इरादतन हत्या का भी मुक़दमा दर्ज किया गया है. पुलिस ने बताया था कि तबलीग़ी जमात के कार्यक्रम में शामिल हुए लोगों में से कुछ की कोरोना वायरस से मौत हो जाने के बाद ये कदम उठाया गया है.
उत्तर प्रदेश की फैजाबाद पुलिस द्वारा दर्ज एक प्राथमिकी में दावा किया गया है कि ‘द वायर’ के संस्थापक संपादक सिद्धार्थ वरदराजन ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के बारे में ‘आपत्तिजनक’ टिप्पणी की थी.
मामला उत्तर प्रदेश के भदोही जिले का है. पुलिस ने कहा कि दो बेटियों के शव को गोताखोरों ने निकाल लिया है. जबकि दो बेटों और एक बेटी के शव को निकालने का प्रयास किया जा रहा है.
उत्तर प्रदेश की फैजाबाद पुलिस द्वारा दर्ज एक प्राथमिकी में दावा किया गया है कि ‘द वायर’ के संस्थापक संपादक सिद्धार्थ वरदराजन ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के बारे में ‘आपत्तिजनक’ टिप्पणी की थी.
द वायर के संस्थापक संपादकों ने बुधवार को एक बयान जारी कर कहा कि यूपी पुलिस द्वारा दर्ज एफआईआर जायज़ अभिव्यक्ति और तथ्यात्मक जानकारी पर हमला करने की कोशिश है.
राजद्रोह के मामले में आरोपी बनाए गए कानपुर की जिला अदालत के वकील अब्दुल हन्नान को गिरफ्तार कर लिया गया है.
कुलदीप सिंह सेंगर ने अदालत में जिरह के दौरान कहा कि अगर उन्होंने कुछ गलत किया है तो उन्हें फांसी पर लटका दिया जाए, उनकी आंखों में तेजाब डाल दिया जाना चाहिए.
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उत्तर प्रदेश की योगी सरकार को आदेश दिया था कि लखनऊ में एंटी-सीएए प्रदर्शनकारियों के नाम, फोटो और उनके पते के साथ लगाए गए सभी होर्डिंग्स तुरंत हटाए जाएं. सुप्रीम कोर्ट ने इस आदेश पर रोक नहीं लगाया है.
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उत्तर प्रदेश की योगी सरकार को आदेश दिया कि लखनऊ में एंटी-सीएए प्रदर्शनकारियों के नाम, फोटो और उनके पते के साथ लगाए गए सभी होर्डिंग्स तुरंत हटाए जाएं.
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने एंटी-सीएए प्रदर्शनकारियों के होर्डिंग्स हटाने का दिया आदेश, कहा- अत्यधिक अनुचित
हाईकोर्ट ने उत्तर प्रदेश की योगी सरकार को आदेश दिया कि आज दोपहर तीन बजे से पहले ये सारे होर्डिंग्स हटाए जाए और तीन बजे कोर्ट को इसकी जानकारी दी जाए.
लखनऊ में कई स्थानों पर लगाए गए इन होर्डिंग्स में प्रदर्शनकारियों से सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने के आरोप में जुर्माना भरने को कहा गया है.