केरल हाईकोर्ट ने लक्षद्वीप प्रशासक द्वारा लक्षद्वीप विकास प्राधिकरण नियमन और सामाजिक गतिविधि रोकथाम अधिनियम पेश करने के ख़िलाफ़ दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए उन पर रोक लगाने से इनकार कर दिया. अदालत ने केंद्र से दो सप्ताह में याचिका पर अपना रुख स्पष्ट करने को कहा है.
केंद्र शासित प्रदेश लक्षद्वीप के प्रशासक प्रफुल्ल खोड़ा पटेल कुछ प्रावधान लेकर आए हैं, जिसके तहत इस मुस्लिम बहुल द्वीप से शराब के सेवन से रोक हटाने, बीफ (गोवंश) उत्पादों पर प्रतिबंध लगाने और तटीय इलाकों में मछुआरों के झोपड़े तोड़े जाने हैं. इनमें बेहद कम अपराध क्षेत्र वाले लक्षद्वीप में एंटी-गुंडा एक्ट लाना और दो से अधिक बच्चों वालों को पंचायत चुनाव लड़ने से रोकने का भी प्रावधान भी शामिल है.
लक्षद्वीप के प्रशासक प्रफुल्ल खोडा पटेल द्वारा शराब से रोक हटाने, बीफ उत्पादों पर प्रतिबंध लगाने, कम अपराधों के बावजूद गुंडा एक्ट लाने के निर्णयों के मसौदे को जनविरोधी बताते हुए विभिन्न विपक्षी दलों के जनप्रतिनिधियों ने केंद्र सरकार से अपील की है कि पटेल को वापस बुला लिया जाए.