बैंक कर्मचारी चालू वित्त वर्ष में दो और सरकारी बैंकों का निजीकरण करने के सरकार के फैसले के ख़िलाफ़ हड़ताल कर रहे हैं. हालांकि निजी क्षेत्र के बैंकों ख़ासकर एचडीएफसी, आईसीआईसीआई और कोटक महिंद्रा आदि बैंकों में कामकाज सामान्य दिनों की तरह जारी रहा.
बैंकों के संघ यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियंस ने बैंकिंग क़ानून (संशोधन) विधेयक 2021 के विरोध में और सरकारी बैंकों के निजीकरण के केंद्र सरकार के कथित क़दम का विरोध करते हुए 16 और 17 दिसंबर को पूरे देश में बैंकों की दो दिन की हड़ताल का आह्वान किया है.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2021-22 का बजट पेश करते हुए 1.75 लाख करोड़ रुपये जुटाने के लिए विनिवेश अभियान के तहत सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के निजीकरण की घोषणा की थी. अखिल भारतीय बैंक अधिकारी परिसंघ ने सरकार से बैंकिंग क़ानून (संशोधन) विधेयक, 2021 को वापस लेने की अपील की, जो संसद के शीतकालीन सत्र में पेश और पारित करने के लिए सूचीबद्ध है.
ऑल इंडिया बैंक आफिसर्स कॉनफेडरेशन ने एसबीआई के चेयरमैन रजनीश कुमार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा कथित रूप से फटकार लगाए जाने की ओलाचना की. हालांकि इसके बाद सीतारमण ने एक ट्वीट किया, जिसमें एआईबीओसी द्वारा ईमेल करके अपना बयान वापस लेने की जानकारी दी गई थी.