घटना कर्नाटक के शिवमोगा ज़िले की है. एक थियेटर ग्रुप जाने-माने लेखक और गीतकार जयंत कैकिनी के एक नाटक का मंचन कर रहा था. बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने नाटक में कुछ मुस्लिम किरदार और लव जिहाद का एंगल होने का आरोप लगाते हुए स्टेज पर चढ़कर नारेबाज़ी और हंगामा किया. उनका कहना था कि यह समाज में ग़लत संदेश भेजेगा.
रतलाम ज़िले के रावटी का मामला. सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक वीडियो में एक शख़्स लाउडस्पीकर से अज़ान पर आपत्ति जताते हुए कहते दिखता है कि उन्होंने मस्जिद के सामने वाली इमारत पर लाउडस्पीकर लगा दिए हैं और जब जब अज़ान बजेगी, लाउडस्पीकर से तेज़ संगीत बजाया जाएगा.
उत्तर प्रदेश में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में विभिन्न घाटों पर इन पोस्टरों को देखा जा सकता है, जिसमें पंचगंगा घाट, राम घाट, दशाश्वमेध घाट, अस्सी घाट और मणिकर्णिका घाट शामिल हैं. पोस्टरों पर यह भी लिखा है कि ‘यह निवेदन नहीं, चेतावनी है.’