राजस्थान: लॉकडाउन में काम को तरसे लोक कलाकार

आम तौर पर लोक कलाओं से गुलज़ार रहने वाले राजस्थान में कोरोना वायरस और लॉकडाउन के चलते सन्नाटा पसरा है. ऐसे में ख़ाली बैठे लोक कलाकार आर्थिक मुश्किलों का सामना कर रहे हैं. उनकी सहायता के लिए शुरू की गई राज्य सरकार की योजना कई विसंगतियों के चलते मददगार साबित नहीं हो रही है.

‘इरफ़ान हमेशा हर चीज़ में लय ढूंढ लेते थे… मैंने भी ये सीख लिया है’

इरफ़ान की साथी सुतपा अपने ख़त में लिखती हैं, 'एक कामयाब सफ़र के बाद जहां उन्हें आराम करने के लिए छोड़कर आए हैं, वहां उनका पसंदीदा रात की रानी का पौधा लगाते हुए आंखें नम होंगी. थोड़ा वक्त लगेगा, लेकिन इसकी ख़ुशबू फैलेगी और उन सब तक पहुंचेगी, जिन्हें मैं आने वाले समय में फैन नहीं, बल्कि परिवार मानूंगी.'

लॉकडाउन: दबे क़दमों से समाज की बनावट में बिखराव आ रहा है…

लॉकडाउन के दौरान कई स्तरों पर हो रहे नुकसानों में उन सामाजिक क्षतियों का ज़िक्र नहीं हो रहा है, जिनका सामना न्यूनतम संसाधनों के सहारे रह रहे निम्न आर्थिक वर्ग के परिवार कर रहे हैं.

दिल्ली के प्रतिष्ठित इतिहाकार और लेखक आरवी स्मिथ का निधन

इतिहासकार और लेखक आरवी स्मिथ ने तकरीबन एक दर्जन किताबें लिखी हैं, जिनमें से अधिकांश दिल्ली पर आधारित हैं. इसके अलावा वह पत्रकार भी थे और ज़िंदगी के आख़िरी दिनों तक विभिन्न अख़बारों के लिए लिखते रहे थे.

इस मुश्किल दौर में प्रेरणा देती एक लड़की

यह देशव्यापी लॉकडाउन का आख़िरी हफ़्ता है. इस दौरान सोशल मीडिया पर जारी नफ़रत और बहसों के बीच कुछ ऐसे लोग भी हैं जो बिना किसी स्वार्थ के राहत पहुंचाने के काम में लगे हैं. दिल्ली यूनिवर्सिटी की अनुष्का उनमें से एक हैं.

हरियाणा: लॉकडाउन की भारी क़ीमत चुका रहे नूंह के ये ग़रीब परिवार

देशव्यापी लॉकडाउन की अवधि बढ़ने के बाद विभिन्न क्षेत्रों में सड़क किनारे या झुग्गी-बस्तियों में ज़िंदगी बिता रहे लोगों की मुश्किलें भी बढ़ गईं. हरियाणा के नूंह ज़िले के कुछ ऐसे ही मेहनतक़श परिवार केवल समाज के रहम पर दिन गुज़ार रहे हैं.

क्या समय पर खाना-दवाई न मिलने से क्वारंटाइन सेंटर में हुई शख़्स की मौत?

वीडियो: दिल्ली के सुल्तानपुरी क्वारंटाइन सेंटर में पिछले हफ्ते 59 वर्षीय मोहम्मद मुस्तफ़ा की मौत हो गई. वे पिछले महीने तबलीग़ी जमात के कार्यक्रम में शामिल हुए थे. आरोप है कि वे डायबिटीज़ के मरीज़ थे और समय पर इलाज और खाना न मिलने से उनकी मौत हुई है.

दिल्ली: लॉकडाउन में फंसे प्रवासी मज़दूरों को खाने के लिए घंटों करना पड़ रहा इंतज़ार

वीडियो: कोरोना वायरस के चलते लागू लॉकडाउन के बीच दिल्ली के भलस्वा डेयरी इलाके में फंसे प्रवासी मज़दूरों को भोजन के लिए बनी लंबी लाइनों में घंटों अपनी बारी का इंतज़ार करना पड़ रहा है.

कोरोना संकट ने रोज़मर्रा की ज़िंदगी का हिस्सा बन गई असमानता को उघाड़कर रख दिया है

इस वायरस ने इस दुनिया को पूरी तरह से छिन्न-भिन्न कर डाला है. इसने हमारे समय की उन नाइंसाफ़ियों से रूबरू करवाया है, जो हमारी अर्थव्यवस्था और राजनीति की बेमिसाल क्रूरता दर्शाती हैं.

कोरोना: सरकारों ने गरीबों को संकट की घड़ी में उनके हाल पर छोड़ दिया है

हम वो देश हैं जो जुगाड़ पर नाज़ करता है, 5000 साल पहले की तथाकथित उपलब्धियों के ख्वाबों की दुनिया में रहता है. उससे यह उम्मीद करना बेमानी है कि वह व्यवस्थाओं को दुरुस्त करने में इतनी मेहनत करेगा कि वे बिना किसी रुकावट के और सक्षम तरीके से काम कर सकें.

भारत में पनपते इस्लामोफोबिया पर खाड़ी देशों में उठे सवाल

वीडियो: भारत में कोरोनावायरस संक्रमण को सांप्रदायिक रंग दिए जाने के बाद खाड़ी के देशों में काम करने वाले भारतीयों द्वारा सोशल मीडिया पर इसी तरह के पोस्ट लिखने पर इन देशों के पत्रकारों, वकीलों और शाही परिवार के लोगों ने विरोध जताया है. इस बारे में आरफ़ा ख़ानम शेरवानी से गल्फ़ न्यूज़ के संपादक बॉबी नक़वी की बातचीत.

लॉकडाउन: सरकार द्वारा मज़दूरों के लिए जारी नए दिशानिर्देश उनके प्रति संवेदनशील नहीं हैं

19 अप्रैल को गृह मंत्रालय द्वारा राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के भीतर मजदूरों के आवागमन को सुचारू रूप से संचालित करने के लिए दिशानिर्देश दिए गए हैं. हालांकि इनके व्यावहारिक रूप से लागू होने पर कई सवाल हैं.

लॉकडाउन के दौरान महानगरों में मज़दूरों की मौत: जो घर पहुंचने की आस लिए दुनिया से ही चले गए

बीते दस दिनों में पूर्वी उत्तर प्रदेश के रहने वाले दो मज़दूरों ने बीमारी के चलते मुंबई और दिल्ली में दम तोड़ दिया, पर लॉकडाउन और ख़राब आर्थिक स्थिति के चलते परिजन उनका शव लाने नहीं जा सके. आजीविका के लिए परिवार से हज़ारों मील दूर रह रहे इन लोगों को अंतिम समय में भी अपनों का साथ नसीब नहीं हुआ.

किसी एक समूह के गुनाह के लिए पूरे मुस्लिम समुदाय को ज़िम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता: नक़वी

भाजपा नेता और केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख़्तार अब्बास नक़वी ने कहा कि किसी एक संस्था या किसी व्यक्ति के गुनाह के लिए पूरे समुदाय को ज़िम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता. उस संस्था ने जो भी आपराधिक लापरवाही या अपराध, उसकी ज़्यादातर मुसलमानों ने निंदा की और कार्रवाई करने की मांग की है.

डीयू: वीसी ने प्रधानमंत्री राहत कोष को दी गई राशि पीएम केयर्स में डाली, शिक्षकों ने जताई आपत्ति

दिल्ली यूनिवर्सिटी टीचर्स एसोसिएशन का कहना है कि कुलपति योगेश त्यागी ने यूनिवर्सिटी के स्टाफ द्वारा प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष के लिए दिए गए करीब चार करोड़ रुपये बिना किसी की सलाह के पीएम केयर्स फंड में ट्रांसफर किए हैं.

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