लॉकडाउन: महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश में हुए हादसों में छह मज़दूरों समेत सात लोगों की मौत

महाराष्ट्र के यवतमाल ज़िले में मंगलवार सुबह मज़दूरों को ले जा रही बस की टक्कर ट्रक से हो गई थी. वहीं, दूसरा हादसा उत्तर प्रदेश के महोबा ज़िले में सोमवार रात हुआ.

महाराष्ट्र के यवतमाल जिले में हुआ हादसा. (फोटो साभार: एएनआई)

महाराष्ट्र के यवतमाल ज़िले में मंगलवार सुबह मज़दूरों को ले जा रही बस की टक्कर ट्रक से हो गई थी. वहीं, दूसरा हादसा उत्तर प्रदेश के महोबा ज़िले में सोमवार रात हुआ.

महाराष्ट्र के यवतमाल जिले में हुआ हादसा. (फोटो साभार: एएनआई)
महाराष्ट्र के यवतमाल जिले में हुआ हादसा. (फोटो साभार: एएनआई)

सोलापुरः महाराष्ट्र के यवतमाल जिले में प्रवासी मजदूरों को ले जा रही बस की मंगलवार तड़के एक ट्रक से टक्कर हो जाने से चार लोगों की मौत हो गई.

मृतकों में तीन मजदूर और बस के ड्राइवर शामिल हैं, जबकि इस हादसे में 15 लोग घायल हो गए.

ये मजदूर सोलापुर से झारखंड के लिए रवाना हुए थे.

इन प्रवासी मजदूरों को स्टेशन से झारखंड जाने वाली श्रमिक विशेष ट्रेन पकड़नी थी.

अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक नूरुल हसन ने बताया कि यह घटना कोलवन गांव में सुबह 3:30 बजे उस समय हुई, जब बस सोलापुर से नागपुर रेलवे स्टेशन की तरफ जा रही थी.

उन्होंने बताया कि बस चालक का वाहन से संतुलन खोने के बाद वाहन सड़क पर खड़े एक ट्रक से जा टकराया. ट्रक में सड़क निर्माण का सामान था.

अधिकारी ने बताया कि तीन प्रवासी मजदूर और बस चालक की हादसे में मौत हो गई, जबकि 15 घायल हुए हैं, जिन्हें अस्पतालों में भर्ती कराया गया है.

उन्होंने बताया कि पुलिस ने दुर्घटनावश मौत का मामला दर्ज कर लिया है.

उत्तर प्रदेश में सड़क दुर्घटना में तीन मजदूरों की मौत, 17 घायल

उत्तर प्रदेश के महोबा जिले में झांसी-मिर्जापुर राजमार्ग पर सोमवार रात प्रवासी मजदूरों को ले जा रहा एक डीसीएम ट्रक पलटने से उसमें सवार तीन मजदूरों की मौत हो गई और 12 मजदूर घायल हो गए.

सभी प्रवासी मजदूर दिल्ली से पैदल अपने गृह जिले महोबा आ रहे थे, लेकिन हरपालपुर के पास ये लोग डीसीएम ट्रक पर सवार हो गए थे.

महोबा के पुलिस अधीक्षक (एसपी) मणिलाल पाटीदार ने मंगलवार को बताया कि करीब 20-25 प्रवासी मजदूर पैदल आ रहे थे और हरपालपुर के पास सभी क्रशर का सामान ले जा रहे एक डीसीएम ट्रक में सवार हुए थे.

उन्होंने बताया कि पनवाड़ी थाना क्षेत्र में झांसी-मिर्जापुर राजमार्ग पर महुआ मोड़ के पास रात करीब साढ़े नौ बजे अचानक वाहन का पिछला टायर फटने से वह अनियंत्रित होकर खाई में पलट गया, जिससे उसमें सवार प्रवासी मजदूर क्रशर के सामान के नीचे दब गए.

पाटीदार ने बताया कि हादसे की सूचना मिलने पर जिलाधिकारी सहित अन्य अधिकारी मौके पर पहुंचे और मजदूरों को क्रेन से बाहर निकाला गया.

उन्होंने बताया कि घायल मजदूरों को इलाज के लिए सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया है. शवों का आज (मंगलवार) पोस्टमॉर्टम कराया जाएगा.

दुर्घटनाग्रस्त डीसीएम ट्रक को कब्जे में ले लिया गया है और जांच शुरू कर दी गयी है.

मालूम हो कि कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए लागू देशव्यापी लॉकडाउन के कारण प्रवासी मजदूर अपने गृह राज्यों की ओर पलायन करने को मजबूर हैं और लगातार इस तरह की मौतों की खबरें आ रहीं हैं.

उत्तर प्रदेश के औरैया जिले में 16 मई को ट्रक और डीसीएम वैन की टक्कर में 24 प्रवासी मजदूरों की मौत हो गई थी, जबकि 37 मजदूर घायल हो गए.

वहीं, इससे पहले मध्य प्रदेश के नरसिंहपुर जिले के पाठा गांव में पांच मजदूरों की ट्रक के अचानक पलट जाने से मौत हो गई थी, जबकि 13 अन्य घायल हो गए थे.

वहीं, तीन अलग-अलग हादसों में उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश में कम से कम 15 प्रवासी मजदूरों की मौत हो गई  थी जबकि 60 से अधिक प्रवासी मजदूर घायल हो गए थे.

उत्तर प्रदेश में मुजफ्फरनगर के समीप दिल्ली-सहारनपुर राजमार्ग पर तेज गति से आ रही एक बस से कुचलकर छह प्रवासी मजदूरों की मौत हो गई थी और पांच अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए.

वहीं, आठ मई को महाराष्ट्र के औरंगाबाद जिले में एक मालगाड़ी की चपेट में आने से 16 प्रवासी मजदूरों  की मौत हो गई थी. ये प्रवासी मजदूर अपने गृहराज्य मध्य प्रदेश लौटने के लिए श्रमिक विशेष ट्रेन में सवार होने के लिए महाराष्ट्र के जालना से भुसावल जा रहे थे कि वे थककर रेल की पटरियों पर ही सो गए थे.

एक गैर लाभकारी संगठन सेव लाइफ फाउंडेशन की रिपोर्ट से पता चला है कि 25 मार्च को लॉकडाउन शुरू होने के बाद से 18 मई सुबह 11 बजे तक लगभग 1,236 सड़क दुर्घटनाएं हुई हैं, जिनमें 423 लोगों की मौत हुई है और 833 लोग घायल हुए.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)