मोदी सरकार के आख़िरी बजट में असंगठित मज़दूरों की पेंशन योजना एक और छलावा है

नरेंद्र मोदी सरकार की पिछली कई योजनाओं की तरह यह नई योजना भी दिखाती है कि लुटियन दिल्ली असली भारत की सच्चाई से कितनी दूर है.

आज़ादी के इतने साल बाद भी घुमंतू जनजातियां विकास से कोसों दूर क्यों हैं?

केंद्र की मोदी सरकार ने लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए आर्थिक रूप से पिछड़े सामान्य वर्ग के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण लागू कर दिया गया. जबकि 20 करोड़ विमुक्त और घुमंतू जनजातियों की कोई फ़िक्र किसी भी राजनीतिक दल और सरकार को नहीं है.

हिंदुत्ववादी संगठन पुलवामा का इस्तेमाल मुसलमानों को निशाना बनाने के लिए कर रहे हैं: आयोग

दिल्ली अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष जफरुल इस्लाम खान ने दिल्ली पुलिस आयुक्त को पत्र लिख कर कहा है कि हिंदूवादी संगठन पुलवामा हमले के बाद कश्मीरियों और आम मुसलमानों को निशाना बना रहे हैं और दंगा भड़काना चाहते हैं.

कला के क्षेत्र में सरकार की दख़लअंदाज़ी से कलाकारों को दिक्कत होती है: अमोल पालेकर

बीते सप्ताह मुंबई में हुए एक कार्यक्रम के दौरान संस्कृति मंत्रालय की आलोचना करने पर अभिनेता और निर्देशक अमोल पालेकर को भाषण देने से रोक दिया गया था.

देश के उच्च जाति के हिंदू सबसे अमीर, कुल संपत्ति के 41% के मालिक: रिपोर्ट

जेएनयू, सावित्रीबाई फुले पुणे यूनिवर्सिटी और भारतीय दलित अध्ययन संस्थान द्वारा दो साल तक किए एक अध्ययन में सामने आया है कि देश की कुल संपत्ति का 41 प्रतिशत हिंदू उच्च जातियों और 3.7 प्रतिशत अनुसूचित जनजाति के हिंदुओं के पास है.

खान-पान को लेकर भीड़ द्वारा किसी की हत्या, संविधान की हत्या है: जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़

एक कार्यक्रम के दौरान सुप्रीम कोर्ट के जज जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि जब किसी कार्टूनिस्ट को देशद्रोह के आरोप में जेल में डाला जाता है या धार्मिक इमारत की आलोचना करने पर किसी ब्लॉगर को ज़मानत के बजाय जेल मिलती है, तब संविधान विफल होता है.

उत्तर प्रदेश: सवर्णों ने नहीं निकलने दी दलित की बारात

मथुरा के नौहझील थाना क्षेत्र का मामला. दुल्हन के परिजनों का आरोप है कि रविवार को वाल्मीकि समुदाय की एक लड़की की शादी थी, जहां गांव के दबंग ब्राह्मणों ने बारात को आने से रोका. पुलिस का कहना है कि ब्राह्मणों के माफ़ी मांगने के बाद दोनों पक्षों के बीच समझौता हो गया है.

भूपेन हज़ारिका के बेटे ने पिता को भारत रत्न देने की मोदी सरकार की मंशा पर उठाए सवाल

दिवंगत गायक और संगीतकार भूपेन हज़ारिका के बेटे तेज हज़ारिका का कहना है कि अब तक इस बारे में केंद्र सरकार का जो रवैया रहा है, वो किसी जाने-माने राष्ट्रीय सम्मान को देने-लेने के महत्व से ज़्यादा सस्ती और अल्पकालिक लोकप्रियता पाने का प्रदर्शन है.

बिहार बालिका गृह: अधिकारी का तबादला करने पर नागेश्वर राव ने सुप्रीम कोर्ट से माफ़ी मांगी

शीर्ष अदालत की फटकार के बाद सीबीआई के पूर्व अंतरिम निदेशक नागेश्वर राव ने माफ़ी मांगते हुए कहा कि अदालत के आदेश का उल्लंघन करने की सोच भी नहीं सकता.

सरकार की आलोचना करने पर अभिनेता अमोल पालेकर को बोलने से रोका गया

मुंबई के नेशनल गैलरी ऑफ मॉडर्न आर्ट में हुए एक कार्यक्रम में फिल्मकार और अभिनेता अमोल पालेकर ने संस्कृति मंत्रालय की आलोचना की थी. पालेकर ने कहा कि अभिव्यक्ति की आज़ादी दिन-ब-दिन कम होती जा रही है.

क्या कोका-कोला भारत की सार्वजनिक स्वास्थ्य नीतियों को प्रभावित कर रहा है?

भारत में खाद्य सुरक्षा मानकों को तय करने वाली संस्था एफएसएसएआई के दो सदस्य कोका-कोला द्वारा वित्त-पोषित संगठन द इंटरनेशनल लाइफ साइंसेज इंस्टिट्यूट के साथ काम करते हैं. चीन में यह संगठन ग्राहकों को ग़लत तरीके से प्रभावित करने के लिए जाना जाता है.

देवास्वोम बोर्ड का यू-टर्न, कहा- सबरीमला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का करता है समर्थन

उच्चतम न्यायालय ने केरल के सबरीमला मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं को प्रवेश की अनुमति देने के निर्णय पर पुनर्विचार के लिए दायर याचिकाओं पर सुनवाई पूरी कर ली. न्यायालय इस पर अपना आदेश बाद में सुनाएगा.

अपूर्वानंद की मास्टरक्लास: क्यों आनंद तेलतुम्बड़े की आज़ादी ज़रूरी है

आज की मास्टर क्लास में अपूर्वानंद सामाजिक कार्यकर्ता आनंद तेलतुम्बड़े की संभावित गिरफ़्तारी पर चर्चा कर रहे हैं.

‘मैं एक लड़की हूं, लेकिन मुझे मवेशियों की तरह बेचा गया, मेरे शरीर को नोचा गया…’

हरियाणा के फरीदाबाद की एक नाबालिग दलित लड़की का आरोप है कि अपहरण करने के बाद डेढ़ लाख रुपये में उसका सौदा कर जबरन शादी करवाई गई, जिसके बाद लगातार बलात्कार हुआ. पुलिस में मामला दर्ज होने बाद रसूखदार आरोपी मामला वापस लेने का दबाव बना रहे हैं.

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