पूर्व मुख्यमंत्री और पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ़्ती ने कहा कि लोगों को उम्मीद थी कि भारतीय प्रेस परिषद इन मामलों पर संज्ञान लेगा, लेकिन ऐसा लगता है कि अदालतों सहित किसी भी निगरानी संस्था की जम्मू कश्मीर में पैदा हुई दर्दनाक परिस्थितियों में कोई दिलचस्पी नहीं है.
व्यंग्य: बीते दिनों आरएसएस के सरसंघचालक मोहन भागवत ने कहा कि वे शुरू से ही मीडिया को संदेश देते रहे हैं कि निगेटिव ख़बरों को भी पॉज़िटिव तरीके से छापें. देश के एक वरिष्ठ पत्रकार ने उनकी राय पर अमल करते हुए 'नो निगेटिव न्यूज़' वाले अख़बार में प्रकाशित एक ख़बर के साथ ऐसा करने की कोशिश की है.
महामारी के बाद से मीडिया उपभोक्ताओं का एक बड़ा वर्ग अख़बार नहीं खरीद रहा है. डिजिटल मीडिया से प्रतिस्पर्धा के चलते विज्ञापन दरों में क़रीब 40 फीसदी की कमी हुई है. कुछ अपवादों को छोड़ दें, तो न्यूज़ मीडिया क्षेत्र के लगभग सभी बड़े नाम ख़तरे की स्थिति से बाहर आने के लिए संघर्ष कर रहे हैं.
वरिष्ठ पत्रकार गौरी लंकेश हत्या के मामले में उनकी बहन कविता लंकेश ने हाईकोर्ट के उस आदेश को चुनौती दी है जिसमें आरोपी मोहन नायक के ख़िलाफ़ जांच के लिए कर्नाटक संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम के प्रावधान का इस्तेमाल करने के पुलिस प्राधिकार के 14 अगस्त, 2018 के आदेश को रद्द कर दिया गया था.
बेल्जियम की सैन्य ख़ुफ़िया एजेंसी का मानना है कि रवांडा सरकार द्वारा ऐसा किए जाने की संभावना है. पत्रकार पीटर वरलिंडेन ने काफी लंबे समय तक मध्य अफ्रीका में रिपोर्टिंग की है. पत्रकार ने कहा कि पेगासस क्या कर सकता है, यह बहुत निराशाजनक है. जो कोई भी आपके फोन में पेगासस भेजता है, वह आपके फोन पर पूरा क़ब्ज़ा कर लेता है. वे अच्छी तरह जानते हैं कि आप कहां हैं.
हरियाणा की अंबाला पुलिस ने संदिग्ध आतंकी की गिरफ़्तारी की जगह ग़लत प्रकाशित करने के मामले में दैनिक भास्कर के पत्रकार सुनील बरार और न्यूज़ एडिटर संदीप शर्मा के ख़िलाफ़ विभिन्न वर्गों के बीच वैमनस्य पैदा करने का आरोप लगाते हुए आईपीसी की विभिन्न धाराओं में केस दर्ज कराया था. पत्रकार को ज़मानत देते हुए अदालत ने कहा कि मामले में ऐसा कुछ भी नहीं, जिससे विभिन्न वर्गों के बीच दुश्मनी पैदा की जा सके.
इंटरनेशनल प्रेस इंस्टिट्यूट ने एक प्रस्ताव पारित किया है, जिसमें चेतावनी दी गई है कि प्रेस की स्वतंत्रता के उल्लंघन के लिए ज़िम्मेदार लोगों के ख़िलाफ़ जब तक कार्रवाई नहीं की जाती, तब तक यह दमनकारी अभियान चलता रहेगा, जो आगे चलकर तेज़ ही होगा और स्वतंत्र ख़बरों के भविष्य और दुनियाभर में लोकतंत्र को जोख़िम में डालेगा.
डिजिटल न्यूज़ पब्लिशर्स एसोसिएशन, पत्रकार मुकुंद पद्मनाभन और संगीतकार टीएम कृष्णा की नए आईटी नियमों की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली जनहित याचिकाओं पर अदालत ने नियम 9 के उपबंध (1) एवं (3) पर रोक लगाई है. ये उप-खंड आचार संहिता के पालन को निर्धारित करते हैं.
एनसीआरबी के मुताबिक़, साल 2020 में फेक न्यूज़ के 1,527 मामले रिपोर्ट किए गए, जो साल 2019 में आए 486 और साल 2018 के 280 मामलों की तुलना में काफ़ी अधिक हैं.
अंग्रेज़ी अख़बार इंडियन एक्सप्रेस के एक फ्रंट पेज पर 12 सितंबर को प्रकाशित उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार के विज्ञापन में दिखाई गईं तीन प्रमुख तस्वीरों में से एक कोलकाता का फ्लाईओवर होने की वजह से विवाद हो गया है. तृणमूल कांग्रेस ने इस विज्ञापन को लेकर कड़ी आपत्ति जताई है, तो भाजपा ने दावा किया कि उत्तर प्रदेश सरकार जहां एक्सप्रेसवे का निर्माण करती है, वहीं पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी शासन में फ्लाईओवर धराशायी हो जाते हैं.
गुजराती समाचार पोर्टल ‘फेस ऑफ द नेशन’ के संपादक धवल पटेल ने पिछले साल कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों को लेकर गुजरात में नेतृत्व परिवर्तन का सुझाव देने वाली एक रिपोर्ट लिखी थी, जिसके चलते 11 मई 2020 को उनके ख़िलाफ़ राजद्रोह का केस दर्ज किया गया था. उनके माफ़ी मांगने के बाद यह मामला रद्द किया गया था.
मामला अंडमान निकोबार द्वीप समूह का है, जहां पुलिस ने पिछले साल एक स्वतंत्र पत्रकार को कोविड-19 वायरस की रोकथाम को लेकर अपनाई जा रही अजीबोग़रीब क्वारंटीन नीति से संबंधित एक ट्वीट पर हिरासत में लिया था. पत्रकार ने ट्विटर पर अंडमान प्रशासन को टैग करते हुए सवाल किया था कि जिन परिवारों ने केवल कोविड मरीज़ों से केवल फोन पर बात की है, उन्हें क्वारंटीन के लिए मजबूर क्यों किया जा रहा है.
आयकर विभाग ने बीते 10 सितंबर को दिल्ली के दो ऑनलाइन मीडिया पोर्टल्स- न्यूज़क्लिक और न्यूज़लॉन्ड्री के परिसरों का दौरा किया और दोनों के बही-खातों की जांच की थी. अधिकारियों ने बताया था कि ये ‘सर्वे’ था, न कि ‘छापेमारी.’ ‘सर्वे’ के दौरान अधिकारी संस्थान के वित्तीय रिकॉर्ड्स खंगालते हैं, लेकिन कोई चीज ज़ब्ज नहीं करते हैं.
जर्मन प्रसारण कंपनी ‘डॉयचे वेले’ ने कहा है कि अफ़ग़ानिस्तान में उसके नौ संवाददाता और एकमात्र महिला संवाददाता शुक्रवार को अपने परिवार के साथ देश छोड़कर निकलने में सफल रहे. इन संवाददाताओं को जर्मनी के बॉन शहर ले जाया जाना है.
बीते दिनों पूर्व केंद्रीय मंत्री एमजे अकबर ज़ी मीडिया के अंग्रेज़ी चैनल 'विऑन' से जुड़े हैं. अब उन्हें हटाने की मांग करते हुए पत्रकारों के एक समूह ने इस संस्थान से कहा है कि कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न और यौन उत्पीड़कों के लिए कोई जगह नहीं होनी चाहिए.