गोरखा जनमुक्ति मोर्चा सुप्रीमो बिमल गुरूंग कहा कि उनका संगठन तृणमूल कांग्रेस के साथ गठबंधन करेगा और 2021 में पश्चिम बंगाल विधानसभा का चुनाव भाजपा के ख़िलाफ़ लड़ेगा. गुरूंग दार्जिलिंग में गोरखालैंड के लिए आंदोलन के बाद 2017 से फ़रार चल रहे हैं.
साल 2019 के पार्टी घोषणापत्र में भाजपा ने गोरखालैंड का उल्लेख किए बिना 'दार्जिलिंग हिल्स, सिलीगुड़ी तराई और डुआर्स क्षेत्र' के मुद्दे पर स्थायी राजनीतिक समाधान का वादा किया गया था. 2014 के लोकसभा चुनाव के समय नरेंद्र मोदी ने अपने एक भाषण में कहा था, 'गोरखा का सपना, मेरा सपना'.
पश्चिम बंगाल सरकार और केंद्र के बीच कलह को लेकर नाखुशी ज़ाहिर करते हुए पीठ ने कहा, हालात तभी सुधर सकते हैं जब दोनों पक्ष साथ बैठें और मतभेद सुलझाएं.
सीएम पवन चामलिंग ने गृह मंत्री को लिखा पत्र. कहा- पिछले 30 सालों से गोरखालैंड की मांग के चलते राज्य की एकमात्र लाइफलाइन राष्ट्रीय राजमार्ग-10 के बार-बार बंद होने की वजह से सिक्किम को काफी नुकसान उठाना पड़ा है.
अस्सी के दशक में अशांति से निपटने के लिए ज्योति बसु सरकार ने दार्जिलिंग की पहाड़ियों को अर्धसैनिक बलों से पाट दिया था. सेना ने सिर्फ दहशत फैलाने का काम किया.
बिमल गुरूंग के परिसर पर छापे के बाद भड़के पृथक गोरखालैंड के समर्थक. पिछले दो दिनों से स्कूल, बाज़ार और एटीएम बंद होने से जनजीवन बुरी तरह प्रभावित.
गोरखा जनमुक्ति मोर्चा प्रमुख बिमल गुरूंग ने कहा, ‘पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री के तौर पर ममता बनर्जी ताकत दिखाने की कोशिश कर रही हैं लेकिन मैं भी पर्वतीय क्षेत्र का मुख्यमंत्री हूं.’