द कश्मीर फाइल्स का सिर्फ एक ही सच है, और वो है मुस्लिमों से नफ़रत

लोग ये बहस कर सकते हैं कि फिल्म में दिखाई गई घटनाएं असल में हुई थीं और कुछ हद तक वे सही भी होंगे. लेकिन किसी भी घटना के बारे में पूरा सच, बिना कुछ भी घटाए, जोड़े और बिना कुछ भी बदले ही कहा जा सकता है. सच कहने के लिए न केवल संदर्भ चाहिए, बल्कि प्रसंग और परिस्थिति बताया जाना भी ज़रूरी है.

द कश्मीर फाइल्स एक प्रोपगैंडा फिल्म है, जिसका मक़सद मुस्लिमों के ख़िलाफ़ भावनाएं भड़काना है

विवेक रंजन अग्निहोत्री भाजपा के पसंदीदा फिल्मकार के रूप में उभर रहे हैं और उन्हें पार्टी का पूरा समर्थन मिल रहा है.

द कश्मीर फाइल्स का मक़सद पंडितों के प्रति हमदर्दी है या एक वर्ग के प्रति नफ़रत उपजाना

कश्मीरी पंडितों के ख़िलाफ़ हिंसा ऐसी त्रासदी है जिस पर बात करते समय सिर्फ उसी पर ध्यान केंद्रित रखना चाहिए. किसी त्रासदी को तुलनीय बनाना उसका अपमान है. 'कश्मीर फ़ाइल्स' के निर्माताओं को यह सवाल करना चाहिए कि क्या वास्तव में कश्मीरी पंडितों की पीड़ा ने उन्हें फिल्म बनाने को प्रेरित किया या उसकी आड़ में वे अपनी मुसलमान विरोधी हिंसा को ज़ाहिर करना चाहते थे?

‘द कश्मीर फाइल्स’ के सरकारी प्रमोशन के क्या मायने हैं

कश्मीरी पंडितों का विस्थापन भारत की गंगा-जमुनी सभ्यता के माथे पर बदनुमा दाग़ है और उसे मिटाने के लिए तथ्यों के धार्मिक सांप्रदायिक नज़रिये वाले फिल्मी सरलीकरण की नहीं बल्कि व्यापक और सर्वसमावेशी नज़रिये की ज़रूरत है. दुर्भाग्य से यह ज़रूरत अब तक नहीं पूरी हो पाई है और पंडितों को राजनीतिक लाभ के लिए ही भुनाया जाता रहा है.

छत्तीसगढ़: नवा रायपुर परियोजना से प्रभावित किसान की विरोध प्रदर्शन के दौरान मौत

छत्तीसगढ़ के नवा रायपुर में नई राजधानी के लिए भूमि अधिग्रहण से प्रभावित 27 गांवों के किसान पिछले दो महीने से बेहतर पुनर्वास और मुआवज़े समेत अपनी विभिन्न मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे हैं.

केंद्रीय सूचना आयोग के पास 32,000 से अधिक आरटीआई अनुरोध लंबित: सरकार

केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने संसद में बताया कि 2021-22 में छह दिसंबर 2021 की स्थिति के अनुसार 32,147 आरटीआई अनुरोध लंबित थे. इससे पहले सतर्क नागरिक संगठन द्वारा जारी एक रिपोर्ट में बताया गया था कि केंद्रीय सूचना आयोग में अपील/शिकायत के निपटारे के लिए औसतन एक साल 11 महीने का समय लग रहा है.

कोरोना वायरस से प्रभावित यूपीएससी प्रतिभागी सरकार से क्या मांग रहे हैं?

वीडियो: कोरोना संकट के बीच सिविल सेवा के हज़ारों प्रतिभागी परीक्षा में बैठने के लिए अयोग्य हो गए हैं. फिलहाल वे दोबारा परीक्षा की मांग को लेकर धरना दे रहे हैं. बीते दिनों उन्होंने राजधानी दिल्ली में इस मांग के साथ प्रदर्शन किया था.

पेट्रोल-डीज़ल की बढ़ी कीमतों से मुफ़्त कोविड टीके की लागत की भरपाई हो रही है: केंद्रीय मंत्री

केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस राज्यमंत्री रामेश्वर तेली ने कहा कि ईंधन की कीमतें अधिक नहीं हैं, इसमें टैक्स शामिल है. फ्री वैक्सीन तो आपने ली होगी, पैसा कहां से आएगा? आपने पैसे का भुगतान नहीं किया है, इसे इस तरह से एकत्र किया गया है.

भारत में 14-18 आयु वर्ग के 80 फ़ीसदी बच्चों में कोविड के दौरान सीखने के स्तर में गिरावट आई: यूनिसेफ

संयुक्त राष्ट्र एजेंसी यूनिसेफ की रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में 6-13 वर्ष के बीच के 42 प्रतिशत बच्चों ने स्कूल बंद होने के दौरान किसी भी प्रकार की दूरस्थ शिक्षा का उपयोग नहीं करने की सूचना दी. इसका मतलब है कि उन्होंने पढ़ने के लिए किताबें, वर्कशीट, फोन या वीडियो कॉल, वॉट्सऐप, यूट्यूब, वीडियो कक्षाएं आदि का इस्तेमाल नहीं किया है.

ईडी प्रमुख का कार्यकाल अनिश्चितकाल तक बढ़ाना जारी नहीं रख सकतेः सुप्रीम कोर्ट

एनजीओ कॉमन कॉज़ ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर ईडी प्रमुख संजय कुमार मिश्रा के कार्यकाल को बढ़ाकर 18 नवंबर 2021 तक किए जाने के केंद्र सरकार के फ़ैसले को चुनौती दी है. 19 नवंबर 2018 को उनका कार्यकाल दो साल तय किया गया था. नवंबर 2020 में कार्यकाल के कुछ ही दिन शेष रहने पर सरकार ने वास्तविक नियुक्ति आदेश में संशोधन कर उसे तीन साल कर दिया था.

कोविड-19 लॉकडाउन ने भारत में महिलाओं के पोषण पर नकारात्मक प्रभाव डाला: अध्ययन

कृषि एवं पोषण के लिए टाटा कोर्नेल इंस्टिट्यूट द्वारा आर्थिक रूप से पिछड़े चार ज़िलों- उत्तर प्रदेश के महराजगंज, बिहार के मुंगेर, ओडिशा के कंधमाल और कालाहांडी में किए गए अध्ययन के बाद शोधकर्ताओं ने कहा है कि देश की खाद्य प्रणाली में विविधता लाने और यह सुनिश्चित करने के लिए व्यापक सुधारों की आवश्यकता है कि महिलाओं और अन्य हाशिये के समूहों के पास महामारी के दौरान और उसके बाद भी पौष्टिक आहार तक पहुंच हो.

रक्षा संबंधी आवश्यक सेवाओं में शामिल कर्मचारी नहीं कर सकेंगे हड़ताल, नया अध्यादेश जारी

आयुध निर्माणी बोर्ड से जुड़े कई बड़े संघों ने हाल ही में सरकार के बोर्ड को निगम बनाने के निर्णय के ख़िलाफ़ जुलाई में अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने की घोषणा की थी. अब नए आवश्यक रक्षा सेवा अध्यादेश 2021 के मुताबिक, हड़ताल शुरू करने या इसमें भाग लेने वाले को एक साल की क़ैद या जुर्माना या दोनों हो सकते हैं.

कोविड-19: कर्नाटक हाईकोर्ट ने टीकाकरण में असमानता पर केंद्र और राज्य सरकार से जांच करने को कहा

कर्नाटक सरकार ने कोवैक्सीन और कोविशील्ड की सप्लाई की कमी की वजह से 14 मई को 18 से 44 आयुवर्ग के लोगों के लिए टीकाकरण अभियान रोक दिया था. राज्य इस आयुवर्ग के सिर्फ़ फ्रंटलाइन वर्कर्स को ही कोविशील्ड वैक्सीन की पहली खुराक उपलब्ध करा रहा है, जबकि निजी अस्पतालों में 18 से 44 आयुवर्ग के लोगों के लिए पहली खुराक उपलब्ध है.

जो लोग चले गए वो मुक्त हो गए, अब उनको इस परिस्थिति का सामना नहीं करना है: मोहन भागवत

आरएसएस के सरसंघचालक मोहन भागवत ने कोविड-19 के ख़िलाफ़ लड़ाई में एकजुट और सकारात्मक बने रहने की अपील करते हुए कहा कि हम इस परिस्थिति का सामना कर रहे हैं क्योंकि सरकार, प्रशासन और जनता, सभी कोविड की पहली लहर के बाद ग़फ़लत में आ गए, जबकि डॉक्टरों द्वारा संकेत दिए जा रहे थे.

क्या भारतीय सेना का राजनीतिकरण हो गया है?

वीडियो: फ़ोर्स मैगज़ीन के संपादक प्रवीण साहनी बता रहे हैं कि किस तरह से भारतीय सेना का राजनीतिकरण हो गया है. किस प्रकार से सेना को राजनीतिक फायदे के लिए सत्ता द्वारा इस्तेमाल किया जा रहा है.

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