हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट में अडानी समूह पर स्टॉक हेरफेर और लेखा धोखाधड़ी का आरोप लगने के बाद सेबी मामले की जांच कर रहा है. सेबी ने जांच के लिए छह महीने का समय मांगा था. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जांच के लिए सेबी लंबा समय नहीं ले सकता है. हम उसे तीन महीने का समय देंगे.
बीते जनवरी माह में अमेरिका वित्तीय शोध कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ने अपनी एक रिपोर्ट में कहा था कि दो साल की जांच में पता चला है कि अडानी समूह दशकों से ‘स्टॉक हेरफेर और लेखा धोखाधड़ी’ में शामिल रहा है. सुप्रीम कोर्ट ने मामले की जांच के लिए एक विशेषज्ञ समिति का गठन किया था.
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अमेरिकी वित्तीय शोध कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा अडानी समूह पर लगाए गए आरोपों की जांच कर रहे भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड ने सुप्रीम कोर्ट में कहा है कि अब तक की जांच में 12 संदिग्ध लेन-देन के अलावा, उसने और भी संभावित उल्लंघन पाए हैं, जिनकी जांच पूरी करने के लिए कम से कम छह माह की ज़रूरत होगी.
भगोड़े हीरा कारोबारी जतिन मेहता के बेटे सूरज की शादी गौतम अडानी के बड़े भाई विनोद अडानी की बेटी से हुई है. कांग्रेस ने मोदी सरकार पर मेहता को देश से भगाने का आरोप लगाया है. मेहता पर कई शेल कंपनियों के माध्यम से अडानी समूह के साथ व्यापार करने का आरोप है. कांग्रेस ने सवाल किया कि इस बड़े खुलासे के बाद सीबीआई और ईडी ने क्या किया है?
पत्रकार करण थापर से बातचीत में जम्मू कश्मीर के पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने गौतम अडानी और नरेंद्र मोदी के घनिष्ठ संबंधों से जुड़े आरोपों पर कहा, 'मालूम नहीं कि मोदी साहब को कोई सलाह देता है या नहीं, मैं दे रहा हूं कि मेहरबानी करके अडानी से हाथ छुड़ा लीजिए. लोग ये मानने लगे हैं कि अडानी के आर्थिक मामलों में इनकी दिलचस्पी है.'
ब्लूमबर्ग में प्रकाशित एक रिपोर्ट के अनुसार, हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट का नतीजा यह रहा कि अडानी समूह द्वारा कुछ निवेशों को रोक दिया गया, इसके अलावा पूंजीगत व्यय में कटौती की गई और परियोजनाओं के वित्तपोषण के लिए एक अलग दृष्टिकोण पर विचार किया जाने लगा.
अडानी एंटरप्राइज़ेज़ लिमिटेड ने इसकी एक कंपनी मुंद्रा पेट्रोकेम लिमिटेड का काम अगली सूचना तक रोक दिया है. यह निर्णय अमेरिका की हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा अडानी समूह पर बड़े पैमाने पर ऑडिट धोखाधड़ी और स्टॉक हेरफेर के आरोप लगाने वाली रिपोर्ट सामने आने के दो महीने बाद आया है.
हिंडनबर्ग रिपोर्ट आने पर अडानी समूह की ओर से कहा गया था कि विनोद अडानी, समूह की किसी भी सूचीबद्ध संस्था या उसकी सहायक कंपनियों में कोई प्रबंधकीय पद नहीं रखते हैं और उनके दैनिक मामलों में उनकी कोई भूमिका नहीं है. समूह की ओर से अब कहा गया है अडानी समूह और विनोद अडानी को एक माना जाना चाहिए.
इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट में बताया गया है कि अडानी समूह के शेयर्स में मुख्य हिस्सा रखने वाले चार फंड्स में से एक- मॉरीशस की एलारा इंडिया ऑपर्च्युनिटीज फंड समूह की एक रक्षा कंपनी की सह-मालिक है, जिसका केंद्र सरकार के साथ 590 करोड़ रुपये का एक अनुबंध भी है.
बीते सोमवार को केंद्र की मोदी सरकार ने लोकसभा में यह जानकारी दी है. एक अन्य सवाल के जवाब में सरकार ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया है हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट में अडानी समूह के ख़िलाफ़ लगाए गए आरोपों के संबंध में चल रही जांच को सेबी दो महीने के भीतर पूरा करेगा.
द फाइनेंशियल टाइम्स की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि बीते जनवरी माह में अमेरिकी निवेश फर्म हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा स्टॉक हेरफेर और लेखा धोखाधड़ी के आरोपों लगाए जाने के बाद अडानी समूह की यह पहली परिसंपत्ति बिक्री होगी.
वीडियो: देश के माहौल में बढ़ती सांप्रदायिकता, लोकतंत्र की स्थिति, अडानी समूह पर लगे आरोपों और विपक्ष समेत विभिन्न विषयों पर लेखक और सामाजिक कार्यकर्ता अरुंधति रॉय से द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की बातचीत.
वीडियो: सुप्रीम कोर्ट द्वारा अडानी समूह पर लगे आरोपों की जांच के लिए सर्वोच्च न्यायालय के पूर्व जज की अध्यक्षता में पांच-सदस्यीय समिति बनाई गई है. हालांकि, वरिष्ठ पत्रकार शरत प्रधान का सवाल है कि क्या अडानी समूह के ये कथित घोटाले बिना सरकारी संरक्षण के संभव होते? उनका नज़रिया.
वीडियो: बीते दिनों सुप्रीम कोर्ट ने अडानी समूह को लेकर हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट से जुड़े मसलों की जांच के लिए शीर्ष अदालत के पूर्व जज जस्टिस अभय मनोहर सप्रे की अध्यक्षता में समिति बनाई है. यह इस बात का पता लगाएगी कि क्या भारत का नियामिकीय ढांचा ठीकठाक है या नहीं.