उर्दू के कई नामचीन लेखकों ने साल 2023 के लिए दिए गए साहित्य अकादमी पुरस्कार को लेकर ‘अयोग्य जूरी सदस्यों’ द्वारा इस साल नामांकित वरिष्ठ लेखकों की रचनाओं को नज़रअंदाज़ करने का आरोप लगाया है. उन्होंने अकादमी के उर्दू एडवाइजरी बोर्ड के संयोजक चंद्रभान ख़याल को तत्काल प्रभाव से हटाने की मांग भी की है.
‘आज़ादी का अमृत महोत्सव’ के तहत संस्कृति मंत्रालय के सहयोग से कॉमिक बुक ‘अमर चित्र कथा’ ने ‘स्वतंत्रता संग्राम के आदिवासी नेता’ नामक एक संग्रह प्रकाशित किया था, जिसमें ब्रिटिशराज के मणिपुरी सेनानायक पाउना ब्रजवासी की कहानी को भी शामिल किया था. मणिपुर के छात्र संगठनों ने इस पर आपत्ति जताते हुए कहा था कि ब्रजवासी न तो आदिवासी थे और न ही उन्होंने स्वतंत्रता संग्राम में हिस्सा लिया था.
दिल्ली के साकेत ज़िला अदालत में मामले को सुनते हुए जज ने सवाल किया कि वादी किस आधार पर ऐसी संरचना पर क़ानूनी अधिकार की मांग कर रहे थे जिसे कथित तौर पर 800 साल पहले नष्ट कर दिया गया था.
दिल्ली की एक अदालत ने भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) को अगले आदेश तक यहां कुतुब मीनार परिसर से भगवान गणेश की दो मूर्तियों को नहीं हटाने के आदेश दिए. एक याचिका में कहा गया था कि प्राचीन काल से परिसर में भगवान गणेश की दो मूर्तियां हैं और उन्हें आशंका है कि एएसआई उन्हें केवल कलाकृतियां मानते हुए किसी राष्ट्रीय संग्रहालय में भेज सकता है.
राष्ट्रीय स्मारक प्राधिकरण ने इस संबंध में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण को पत्र भेजा हैं, जिसमें मूर्तियों को संग्रहालय में सम्मानजनक स्थान दिए जाने की बात कही गई है. प्राधिकरण के अध्यक्ष भाजपा नेता तरुण विजय ने कहा कि हमें उस सांस्कृतिक नरसंहार को उलटने के लिए काम करने की जरूरत हैं, जिसका सामना हिंदुओं ने मुग़ल शासकों के हाथों किया था.