भारतीय सिनेमा के दिग्गज निर्देशक सईद अख़्तर मिर्ज़ा ने एक साक्षात्कार में विवादित फिल्म द कश्मीर फाइल्स को लेकर कहा, 'फिल्म मेरे लिए कचरा है. बात किसी का पक्ष लेने की नहीं है. इंसान बनिए और मामले को समझने की कोशिश कीजिए.'
शाहरुख़ ख़ान और दीपिका पादुकोण स्टारर ‘पठान’ फिल्म के गीत ‘बेशर्म रंग’ को लेकर जारी विवाद के बीच दिग्गज अभिनेत्री रत्ना पाठक शाह ने कहा कि किसी भी समाज के लिए इस तरह कार्य करना अच्छी बात नहीं है. कला और शिल्प को अपनी पूरी क्षमता पाने के लिए स्वतंत्रता की भावना की आवश्यकता होती है, जो मुश्किल होता जा रहा है.
अग्निपथ योजना के ख़िलाफ़ दाख़िल याचिकाओं पर दिल्ली हाईकोर्ट में चल रही सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार ने बताया है कि अग्निवीर कैडर को अलग कैडर के रूप में बनाया गया है. इसे नियमित सेवा के रूप में नहीं गिना जाएगा. चार साल तक अग्निवीर के रूप में सेवा करने के बाद फिट पाए जाने पर नियमित कैडर की सेवा शुरू होगी.
इस साल मार्च में विधानसभा में पारित धर्म परिवर्तन संबंधी विधेयक को मंत्रिमंडल के मंज़ूरी देने के बाद नियमों को अधिसूचित किया गया है. इसके तहत ज़िलाधिकारियों को किसी भी धर्मांतरण को मंज़ूरी देने से पहले एक सार्वजनिक नोटिस प्रकाशित करना होगा और इच्छित धर्मांतरण को लेकर आपत्तियां आमंत्रित करनी होंगी.
बस्तर संभाग के नारायणपुर ज़िले में कलेक्ट्रेट के बाहर सैकड़ों लोग डेरा डाले हुए हैं. उन्होंने कलेक्टर को सौंपे एक ज्ञापन में आरोप लगाया है कि आरएसएस और अन्य हिंदुत्ववादी संगठनों के उकसावे पर ईसाइयों के साथ हिंसा की जा रही है. उनकी मांग है कि दोषियों के ख़िलाफ़ एफआईआर दर्ज कार्रवाई की जाए.
बिहार के बेगूसराय ज़िले में बूढ़ी गंडक नदी पर 13 करोड़ रुपये की लागत से 206 मीटर लंबा यह पुल बनाया गया था. इस घटना में कोई भी घायल नहीं हुआ, क्योंकि पुल को औपचारिक रूप से जनता के लिए खोला जाना बाकी था.
भाजपा सांसद रमा देवी की अध्यक्षता वाली सामाजिक न्याय और अधिकारिता संबंधी संसद की स्थायी समिति ने लोकसभा में अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करते हुए मुआवज़े के भुगतान में देरी पर नाराज़गी व्यक्त की और कहा कि नीतिगत फैसलों को लागू करने का दायित्व केंद्र सरकार का है.
अर्थशास्त्री ज्यां द्रेज द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट में को लेकर उन्होंने कहा कि सर्वेक्षण से यह प्रदर्शित होता है कि वंचित और आदिवासी बच्चे शिक्षा विभाग द्वारा असहाय छोड़ दिए गए. स्कूल दो साल बंद रहे, लेकिन बच्चों के लिए कुछ नहीं किया गया. इस दौरान ऑनलाइन शिक्षा केवल मज़ाक बन कर रह गई, क्योंकि सरकारी स्कूलों में 87 प्रतिशत छात्रों की पहुंच स्मार्टफोन तक नहीं थी.
पश्चिम बंगाल की कल्याणी यूनिवर्सिटी के एक प्रोफेसर और रिसर्च स्कॉलर के ख़िलाफ़ यौन शोषण के आरोप को लेकर यूनिवर्सिटी की आंतरिक शिकायत समिति ने पीड़िता के जल्द शिकायत न करने की बात कही थी. उसकी रिपोर्ट को नियम विपरीत बताते हुए हाईकोर्ट ने कहा कि ऐसी शिकायतें आम तौर पर बहुत सोच-विचार के बाद दायर की जाती हैं.
अभिनेता शाहरुख ख़ान की फिल्म ‘पठान’ के गाने को लेकर जारी विवाद के बीच छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि भाजपा में आजकल जो सांसद हैं और विधायक बने हैं. वो हीरो भी हैं और हीरोइनों के साथ भगवा रंग के जो कपड़े पहनकर डांस कर रहे हैं, उसके बारे में इनके क्या विचार हैं. रंगों से किसी की जाति और धर्म तय नहीं करना चाहिए.
छात्रों ने आरोप लगाया कि सुरक्षा गार्डों ने पहले उन पर लाठीचार्ज किया और गोलियां चलाईं, जिससे हिंसा हुई. वहीं, विश्वविद्यालय प्रशासन ने कहा कि कुछ उपद्रवी तत्वों द्वारा विश्वविद्यालय गेट का ताला तोड़ने की कोशिश की गई और रोकने पर सुरक्षाकर्मियों से बदसलूकी और मारपीट की गई.
जेएनयू के अंतिम वर्ष के पीएचडी और एमफिल छात्रों को इस महीने के अंत तक शोध प्रबंध जमा करवाने को कहा गया है. छात्रों का कहना है कि कोविड महामारी के चलते बर्बाद हुए समय के एवज में पर्याप्त समय न मिलने के चलते वे इस समयसीमा में थीसिस नहीं दे सकेंगे और उन्हें समय विस्तार दिया जाना चाहिए.
भारत में कोरोना वायरस संक्रमण के 4,46,76,199 मामले सामने आए हैं और मृतकों का आंकड़ा 5,30,677 हो गया है. विश्व में संक्रमण के 65.38 करोड़ से ज़्यादा केस रिकॉर्ड किए गए हैं और इस महामारी की चपेट में आकर 66.67 लाख से अधिक लोगों अपनी जान गंवा चुके हैं.
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से संबद्ध भारतीय किसान संघ की ओर से दिल्ली के रामलीला मैदान में ‘किसान गर्जना रैली’ का आयोजन किया गया. न्यूनतम समर्थन मूल्य के अलावा किसानों ने कृषि गतिविधियों पर जीएसटी को वापस लेने, पीएम-किसान योजना के तहत प्रदान की जाने वाली वित्तीय सहायता में वृद्धि और जीएम फसलों के व्यावसायिक उत्पादन की अनुमति को ख़त्म करने की मांग की है.
सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि कमज़ोर और हाशिए पर रहने वालों को प्रभावशाली समूहों के हिसाब से चलने के लिए मजबूर किया जाता है और उत्पीड़न के कारण उनकी कोई प्रतिसंस्कृति विकसित नहीं हो पाती है. उनके पास अपने अस्तित्व के लिए प्रभावशाली संस्कृति के सामने झुकने के अलावा कोई विकल्प नहीं है.