उत्तराखंड के सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय के कुलपति की नियुक्ति रद्द करने के हाईकोर्ट के निर्णय को बरक़रार रखते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि एक वीसी के पास विश्वविद्यालय में प्रोफेसर के रूप में न्यूनतम 10 वर्ष का शिक्षण अनुभव होना चाहिए और उनका नाम एक सर्च कम सलेक्शन कमेटी द्वारा अनुशंसित किया जाना चाहिए.
केरल हाईकोर्ट ने राज्यपाल व राज्य के विश्वविद्यालयों के कुलाधिपति आरिफ़ मोहम्मद ख़ान को मामले की सुनवाई होने तक उन कुलपतियों के ख़िलाफ़ कोई कार्रवाई न करने का निर्देश दिया है, जिन्हें उन्होंने कारण बताओ नोटिस भेजा था. ख़ान ने राज्य के 11 विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को ऐसे नोटिस भेजे हैं.
हरियाणा सरकार एमबीबीएस में दाख़िले के वक़्त सात सालों के लिए 40 लाख रुपये का बॉन्ड भरवा रही है. इसके तहत सरकारी मेडिकल कॉलेज से पढ़ने वाले हर छात्र को कम से कम सात साल सरकारी अस्पताल में सेवा देनी होगी. रोहतक पीजीआई के छात्र बीते चार दिनों से इसके ख़िलाफ़ आंदोलनरत थे.
उत्तराखंड के हल्द्वानी शहर स्थित राजकीय मेडिकल कॉलेज में दाख़िले के लिए इस वर्ष से अभ्यर्थियों के सामान्य स्वास्थ्य परीक्षण के साथ ही उनकी ‘मनोवैज्ञानिक जांच’ भी अनिवार्य कर दी गई थी. विरोध के बाद इस निर्णय को वापस ले लिया गया है.
सीयूईटी परिणाम के बाद कई छात्रों द्वारा निजी संस्थान छोड़कर केंद्रीय विश्वविद्यालयों में प्रवेश लेने पर कॉलेज/विश्वविद्यालयों द्वारा पूरी फीस वापस न करने की शिकायतों के मद्देनज़र यूजीसी ने चेताया है कि उसके शुल्क वापसी और मूल प्रमाण-पत्र वापस करने संबंधी नियमों के उल्लंघन पर दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी.
बनारस हिंदू विश्वविद्यालय द्वारा शैक्षणिक सत्र 2022-23 से प्रस्तावित फीस वृद्धि के ख़िलाफ़ छात्र संगठन एबीवीपी और एनएसयूआई बीते दो हफ्तों से अधिक समय से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं.
महाराष्ट्र चिकित्सा शिक्षा विभाग के एक अधिकारी ने बताया है कि योजना के पहले चरण में मेडिकल डिग्री पाठ्यक्रमों के शुरुआती दो वर्षों के लिए मराठी में पाठ्यपुस्तकें तैयार की जाएंगी. ये वैकल्पिक पाठ्यपुस्तकें मराठी माध्यम से आने वाले छात्रों के लिए होंगी ताकि वे पाठ्यक्रम को बेहतर तरीके से समझ सकें.
स्कूल की प्रिंसिपल और इसे चलाने वाली गुजरात एजुकेशन सोसाइटी को भेजे गए पत्र में पूर्व छात्रों ने कहा है कि ध्रुवीकरण के मौजूदा माहौल में उनके जैसे राजनीतिक व्यक्ति को आमंत्रित करने से स्कूल आलोचना का शिकार हो जाएगा और यह स्कूल के चरित्र को कमज़ोर करेगा, जो संविधान और बहुलवाद के लिए जाना जाता है.
ऑल इंडिया फेडरेशन ऑफ यूनिवर्सिटी कॉलेज टीचर्स ऑर्गेनाइजेशन ने ऐलान किया है कि वे 16 से 18 नवंबर के बीच नई दिल्ली में विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के कार्यालय के सामने राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 में अपनी मांगों के समाधान को लेकर प्रदर्शन करेंगे.
केरल के राज्यपाल आरिफ़ मोहम्मद ख़ान ने श्रीनारायणगुरु मुक्त विश्वविद्यालय और केरल यूनिवर्सिटी ऑफ डिजिटल साइंसेज़, इनोवेशन एंड टेक्नोलॉजी’ के कुलपतियों को नोटिस जारी कर पूछा है कि उनकी नियुक्ति में यूजीसी के नियमों के कथित उल्लंघन के बाद क्या उन्हें पद पर बने रहना का क़ानूनी अधिकार है.
केरल के राज्यपाल आरिफ़ मोहम्मद ख़ान द्वारा रविवार को नौ कुलपतियों को सोमवार तक इस्तीफ़ा देने के निर्देश के ख़िलाफ़ आठ कुलपति हाईकोर्ट पहुंचे थे, जिसे कोर्ट ने अनुचित बताया है. वहीं, मुख्यमंत्री पिनराई विजयन का कहना है कि राज्यपाल राज्य के विश्वविद्यालयों को नष्ट करने की मंशा से काम कर रहे हैं.
मध्य प्रदेश सरकार के मेडिकल शिक्षा का पाठ्यक्रम हिंदी में शुरू करने के निर्णय में ऐसा करने में सक्षम शिक्षकों, इसके लिए ज़रूरी किताबों, मेडिकल जर्नल और सम्मेलनों की उपलब्धता से जुड़े सवालों पर कोई जवाब नहीं है.
वर्धा के महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय में ‘गो-बारस’ के मौक़े पर पूजा के आयोजन में कर्मचारियों को सपरिवार उपस्थित रहने को कहा गया. आए दिन ऐसे आयोजन कई विश्वविद्यालयों के कैलेंडर का हिस्सा बनते जा रहे हैं और ऐसा करते हुए विश्वविद्यालय अपनी अवधारणा, सिद्धांत और कर्तव्य से बहुत दूर हो रहे हैं.
केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान द्वारा जारी की गई नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क (एनसीएफ) में सिफ़ारिश की गई है कि सरकारी और निजी स्कूलों में आठ साल तक के बच्चों के लिए शिक्षा का प्राथमिक माध्यम मातृभाषा या घरेलू भाषा होना चाहिए. एक नई भाषा ‘सीखने की पूरी प्रक्रिया को’ उलट देती है. इसमें कहा गया है कि अंग्रेज़ी दूसरी भाषा के विकल्पों में से एक हो सकती है.
हमारे सामाजिक और सांस्कृतिक जीवन में पाखंड के अभ्यास के कारण ही हम मध्य प्रदेश की अधकचरी भाषा वाली मेडिकल किताबों का स्वागत करने को तैयार हैं क्योंकि हमें मालूम है कि इसका कोई असर हम पर नहीं पड़ेगा. जिन पर पड़ेगा उनसे हमारी कोई सहानुभूति है नहीं.