डिजिटल उपकरणों की ज़ब्ती हो या स्पायवेयर से सुरक्षा, सार्थक क़ानूनी प्रक्रिया वक़्त की ज़रूरत है

किसी इलेक्ट्रॉनिक उपकरण से असल में क्या चाहिए और इसे मांगने का कारण स्पष्ट रूप से लिखित रूप में बताया जाना चाहिए. हालांकि, भारत में पुलिस या एजेंसियों द्वारा ऐसी किसी प्रणाली का पालन नहीं किया जाता है.

केंद्र की राज्यों को पैरोल पर रिहा क़ैदियों की निगरानी के लिए ट्रैकिंग डिवाइस के उपयोग की सलाह

गृह मंत्रालय की ओर से जारी एक अधिनियम में सुझाव दिया गया है कि आवाजाही और गतिविधियों की निगरानी के लिए इलेक्ट्रॉनिक ट्रैकिंग डिवाइस पहनने की शर्त पर क़ैदियों को जेल से छुट्टी दी जा सकती है. क़ैदी द्वारा किसी भी उल्लंघन पर इसे रद्द कर दिया जाएगा और भविष्य में ऐसी किसी भी छुट्टी के अयोग्य घोषित कर दिया जाएगा.

अमशीपोरा फ़र्ज़ी एनकाउंटर केस: सेना के कैप्टन की उम्रक़ैद की सज़ा निलंबित, सशर्त ज़मानत दी गई

18 जुलाई 2020 को जम्मू-कश्मीर के शोपियां ज़िले के अमशीपोरा में एक फ़र्ज़ी एनकाउंटर के दौरान राजौरी जिले के तीन युवकों को आतंकवादी बताते हुए सेना ने मार दिया था. घटना के बाद उनके परिवारों ने दावा किया था कि तीनों का कोई आतंकी कनेक्शन नहीं था और वे शोपियां में मज़दूर के रूप में काम करने गए थे.

भारत में 5 जीवित अंग दाताओं में से 4 महिलाएं और 5 प्राप्तकर्ताओं में से 4 पुरुष हैं: अध्ययन

एक अध्ययन में पाया गया कि पु​रुषों के लिए अंग प्रत्यारोपण अधिक हुए, लेकिन इस मामले में महिलाओं की संख्या कम थी. अंग दान के लिए अधिकांश महिला का प्राथमिक कारण उन पर परिवार में देखभाल करने वाला होने और देने वाला होने का सामाजिक-आर्थिक दबाव है और चूंकि ज़्यादातर मामलों में पुरुष कमाने वाले होते हैं, इसलिए वे किसी भी सर्जरी से गुज़रने से झिझकते हैं.

गुजरात: ख़ुद को सीएमओ में अधिकारी बताने वाला व्यक्ति पुलिस को चकमा देकर फ़रार

ख़ुद को गुजरात के मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) का अधिकारी बताने वाले आरोपी विराज पटेल को बीते अप्रैल महीने में गिरफ़्तार किया गया था. वहा वडोदरा सेंट्रल जेल में बंद था और उसे मुंबई की एक महिला से कथित बलात्कार के मामले में 10 नवंबर को सत्र अदालत में पेश किया गया था, इसी दौरान वह फ़रार हो गया.

हरियाणा: यमुनानगर ज़िले की शराब त्रासदी में चार दिनों में कम से कम 18 लोगों की मौत

हरियाणा की यमुनानगर पुलिस ने बताया कि मृतकों में अधिकतर मज़दूर थे. मामले की जांच के लिए यमुनानगर पुलिस एक विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन भी किया है. इस संबंध में ज़िले में दो अवैध विक्रेताओं सहित कुल 10 लोगों को गिरफ़्तार किया गया है और अंबाला में चार लोगों को पकड़ा गया है.

एक एएमयू छात्र और दो पूर्व छात्रों समेत चार ‘आईएसआईएस लिंक’ के लिए गिरफ़्तार: एटीएस

उत्तर प्रदेश पुलिस के आतंकवाद-रोधी दस्ते (एटीएस) ने कुछ दिन पहले आतंकी संगठन आईएसआईएस से कथित तौर पर जुड़े तीन लोगों को गिरफ़्तार करने के बाद यह गिरफ्तारी की है. एटीएस ने बताया कि गिरफ़्तार आरोपियों के पास से प्रतिबंधित आईएसआईएस साहित्य, मोबाइल फोन और पेन ड्राइव ज़ब्त किए गए हैं.

गुजरात हाईकोर्ट ने अहमदाबाद की ऐतिहासिक दरगाह को मिले बेदख़ली आदेश पर रोक लगाई

रेलवे ने अहमदाबाद के कालूपुर रेलवे स्टेशन के पास स्थित 500 साल से अधिक पुरानी हज़रत कालू शहीद दरगाह को बेदख़ली का नोटिस दिया है. इस नोटिस को दरगाह प्रबंधन ने गुजरात हाईकोर्ट में चुनौती दी है. दरगाह प्रबंधन का कहना है कि उसके पास पर्याप्त सबूत हैं कि यह 1947 से पहले की एक मान्यता प्राप्त और अधिकृत संरचना है.

मध्य प्रदेश में शिवराज का ‘बुलडोज़र’ कमज़ोरों के ख़िलाफ़ ही क्यों चला है?

विशेष रिपोर्ट: 2020 में भाजपा की सत्ता में वापसी के बाद से लगभग हर संगीन अपराध में न्यायिक फैसले का इंतजार किए बिना आरोपियों को सज़ा देने के लिए उनसे जुड़े निर्माण अवैध बताकर बुलडोज़र चला दिया गया.  कथित अपराध की सज़ा आरोपी के परिजनों को देने की इन मनमानी कार्रवाइयों का शिकार ज़्यादातर मुस्लिम, दलित और वंचित तबके के लोग ही रहे.

हृदय रोग विशेषज्ञ ने मरीज़ों को घटिया पेसमेकर लगाए, 200 से ज़्यादा लोग प्रभावित: यूपी पुलिस

गिरफ़्तार आरोपी की पहचान उत्तर प्रदेश यूनिवर्सिटी ऑफ मेडिकल साइंसेज, सैफई के हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. समीर सराफ के रूप में हुई है. उनके ख़िलाफ़ काफी समय से शिकायतें मिल रही थीं. दिसंबर 2021 में संस्थान के चिकित्सा अधीक्षक ने आरोपी डॉक्टर के ख़िलाफ़ शिकायत दर्ज कराई और पुलिस ने फरवरी 2022 में केस दर्ज किया गया था.

उत्तर प्रदेश: पुलिस निरीक्षण के दौरान एक व्यक्ति की मौत के बाद 7 पुलिसकर्मी निलंबित

उत्तर प्रदेश के बरेली ज़िले का मामला. पुलिस ने बताया कि ज़िले के सरदार नगर इलाके में जुए की गतिविधियों की सूचना मिलने के बाद पुलिस टीम वहां पहुंची थी. इस दौरान एक व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गए और अस्पताल में दम तोड़ दिया. शख़्स के परिवार ने आरोप लगाया है कि पुलिस की पिटाई से उनकी मौत हुई है.

केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट से कहा- सीबीआई एक स्वतंत्र संस्था है, हमारे नियंत्रण में नहीं

केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट की पीठ के समक्ष यह टिप्पणी पश्चिम बंगाल सरकार की उस याचिका का विरोध करते हुए की, जिसमें सीबीआई पर राज्य की सहमति के बिना जांच शुरू करने का आरोप लगाया गया है. नवंबर 2018 में राज्य सरकार ने मामलों की जांच के लिए सीबीआई को दी गई अपनी सामान्य सहमति वापस ले ली थी.

सांसद-विधायकों के ख़िलाफ़ मामलों के शीघ्र निपटान के लिए पीठ गठित करें हाईकोर्ट: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने इस संबंध में दिशानिर्देश तैयार करने से परहेज़ किया, लेकिन कहा कि उच्च न्यायालयों को सांसदों और विधायकों के लिए लंबित आपराधिक मामलों के शीघ्र निपटान की निगरानी के लिए अपने संबंधित अधिकार क्षेत्र में ‘सांसदों और विधायकों के लिए नामित अदालतें’ शीर्षक से स्वत: संज्ञान मामले दर्ज करने चाहिए.