समृद्ध भारत फाउंडेशन के निदेशक पुष्पराज देशपांडे और पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी की प्रमुख महबूबा मुफ़्ती की बेटी इल्तिजा मुफ़्ती ने बताया है कि उन्हें स्मार्टफोन निर्माता एप्पल से ऐसे मैसेज मिले हैं कि उनके फोन को पेगासस जैसे किसी अन्य स्पायवेयर से निशाना बनाया जा रहा है.
रॉयटर्स की एक रिपोर्ट में दावा किया गया था कि फॉक्सकॉन कंपनी के तमिलनाडु स्थित आईफोन असेंबली प्लांट में विवाहित महिलाओं को नौकरी नहीं दी जाती है. अब केंद्र सरकार ने इस पर तमिलनाडु के श्रम विभाग से इस बारे में विस्तृत रिपोर्ट मांगी है.
किसी इलेक्ट्रॉनिक उपकरण से असल में क्या चाहिए और इसे मांगने का कारण स्पष्ट रूप से लिखित रूप में बताया जाना चाहिए. हालांकि, भारत में पुलिस या एजेंसियों द्वारा ऐसी किसी प्रणाली का पालन नहीं किया जाता है.
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मोबाइल फोन निर्माता कंपनी एप्पल ने इंडिया गठबंधन में शामिल विपक्ष के कई नेताओं और कुछ पत्रकारों को एक ईमेल भेजकर चेतावनी दी है कि उनके आईफोन से सरकार-प्रायोजित हमलावर छेड़छाड़ करने की कोशिश कर रहे हैं. विपक्षी नेताओं का कहना है कि यह स्थिति इमरजेंसी से भी बुरी है.
मोबाइल फोन निर्माता कंपनी एप्पल ने विपक्ष के कई नेताओं और कुछ पत्रकारों को एक ईमेल भेजकर चेतावनी दी है कि उनके आईफोन से सरकार-प्रायोजित हमलावर छेड़छाड़ करने की कोशिश कर रहे हैं. कंपनी ने चेतावनी को गंभीरता से लेने की भी बात कही है. वहीं विपक्ष के नेताओं ने कहा कि सरकार का डर देखकर उस पर तरस आता है.
वीडियो: महुआ मोइत्रा, प्रियंका चतुर्वेदी, राघव चड्ढा, शशि थरूर और अखिलेश यादव जैस विपक्षी दलों के कई शीर्ष नेताओं और कम से कम तीन पत्रकारों को मोबाइल फोन बनाने वाली कंपनी एप्पल से एक संदेश मिला है, जिसमें कहा गया है कि उनके आईफोन को सरकार-प्रायोजित हमलावरों द्वारा निशाना बनाया जा रहा है.
एशिया इंटरनेट कोअलिशन के अलावा इंडियन न्यूजपेपर सोसाइटी और एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया सहित विभिन्न प्रेस निकायों ने कानून और स्वतंत्र प्रेस पर इसके प्रभाव पर गहरी चिंता व्यक्त की है. इनकी ओर से कहा गया था कि आईटी नियम सरकार या उसकी नामित एजेंसी को कोई ख़बर फ़र्जी है या नहीं, यह निर्धारित करने के लिए ‘पूर्ण’ और ‘मनमानी’ शक्ति प्रदान करेंगे.
एक रिपोर्ट के मुताबिक, फॉक्सकॉन और ऐप्पल सहित भारतीय उद्योग लॉबी समूहों और विदेशी कंपनियों के ‘बहुत सारे इनपुट’ के बाद कर्नाटक सरकार ने अपने श्रम क़ानून में संशोधन किया है. संशोधन करने से पहले किसी भी श्रमिक समूह या ट्रेड यूनियन से परामर्श किया गया था या नहीं, इसका कोई उल्लेख नहीं है.
विवादित स्पायवेयर पेगासस की निर्माता इज़रायली कंपनी एनएसओ ग्रुप के सीईओ शालेव हुलिओ एक साल से भी कम समय के अंदर इस पद से इस्तीफ़ा देने वाले दूसरे व्यक्ति हैं. कंपनी का कहना है कि उनके चीफ ऑपरेटिंग अधिकारी यारोन शोहात अंतरिम आधार पर फर्म का कामकाज और प्रबंधन देखेंगे.
एनएसओ ग्रुप के अध्यक्ष का इस्तीफ़ा इज़रायल के एक न्यूज़ पोर्टल द्वारा प्रकाशित उस रिपोर्ट के बाद आया है, जिसमें दावा किया गया था कि देश की पुलिस ने भी पेगासस खरीदा था और इसे ग़ैरक़ानूनी तरीके से कुछ पूर्व सरकारी कर्मचारियों समेत कई नागरिकों के ख़िलाफ़ इस्तेमाल किया था.
पेगासस प्रोजेक्ट के तहत द वायर सहित 17 अंतरराष्ट्रीय मीडिया संस्थानों ने जुलाई में बताया था कि विपक्षी नेताओं, सरकार से असहमति जताने वालों और सरकारी अधिकारियों को संभवतः पेगासस के ज़रिये निशाना बनाया गया.
द वायर ने अपनी कई रिपोर्ट्स में बताया था कि किस तरह इज़राइल स्थित एनएसओ ग्रुप द्वारा निर्मित मिलिट्री ग्रेड स्पायवेयर पेगासस का इस्तेमाल कर भारत के पत्रकारों, कार्यकर्ताओं, राजनेताओं और सिविल समाज के सदस्यों को निशाना बनाया गया है.
अमेरिकी सांसदों ने वित्त विभाग और विदेश विभाग को पत्र भेजकर एनएसओ के शीर्ष अधिकारियों, संयुक्त अरब अमीरात की साइबरसिक्योरिटी कंपनी डार्कमैटर, यूरोपीयन ऑनलाइन बल्क सर्विलांस कंपनियों नेक्सा टेक्नोलॉजीज और ट्रोविकोर पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, इज़रायली कंपनी एनएसओ के पेगासस स्पायवेयर के ज़रिये युगांडा स्थित या युगांडा से संबंधित मामले देख रहे अमेरिकी विदेश विभाग के अधिकारियों के आईफोन में सेंधमारी की गई है. इस घटना को एनएसओ के माध्यम से अमेरिकी अधिकारियों पर की गई सबसे बड़ी हैकिंग बताया जा रहा है.