गुरुवार को रामनवमी के अवसर पर महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल, दिल्ली, कर्नाटक, बिहार, गुजरात राज्यों से दो समुदायों के बीच झड़प की खबरें आई हैं. महाराष्ट्र के संभाजीनगर, पश्चिम बंगाल के डलखोला और कर्नाटक के हासन में सांप्रदायिक टकराव में लोगों की जान गंवाने की भी सूचनाएं आई हैं.
वडगाम से कांग्रेस विधायक जिग्नेश मेवाणी ने जुलाई 2017 में ऊना में गोरक्षकों द्वारा दलित युवकों की पिटाई के सालभर पूरे होने पर बिना अनुमति के मेहसाणा से बनासकांठा ज़िले के धनेरा तक 'आज़ादी कूच' नाम की रैली निकाली थी. इसे लेकर पिछले साल उन्हें तीन महीने की सज़ा सुनाई गई थी.
वीडियो: राहुल गांधी की संसद सदस्यता उन्हें सूरत की अदालत द्वारा मानहानि के एक मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद रद्द हुई है. कोर्ट के इस निर्णय पर क़ानूनविदों ने सवाल उठाए हैं. इस मसले पर वरिष्ठ अधिवक्ता और राज्यसभा सांसद कपिल सिब्बल से आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की बातचीत.
विपक्ष के बिना लोकतंत्र की नदी सूख जाएगी. हर सरकार ग़लती करती है और ग़लतियां होने, उन्हें सुधारने में कोई शर्म नहीं है. पर जिन देशों में एक ही दल और उसके सुप्रीम नेता को ही लोकप्रियता और जनसमर्थन प्राप्त हो और विपक्ष कमज़ोर या ग़ायब हो, वहां इस सरकार और नेता की कोई ग़लती आपदा का रूप ले लेती है.
राहुल गांधी का चीनी घुसपैठ और अडानी विवाद को उठाना भाजपा की सबसे बड़ी ताक़तों- राष्ट्रवाद और भ्रष्टाचार मुक्त छवि- पर चोट करता है. पहली बार है, जब भाजपा ने राहुल के हमलों के जवाब में ‘पप्पू’ कहकर मज़ाक नहीं बनाया. महीनेभर में राहुल को जिस तरह से घेरा गया, वह दिखाता है कि यह बौखलाई हुई है.
डॉ. आंबेडकर ने कहा था कि कोई भी संविधान बुरा हो सकता है यदि इसे अमल में लाने वाले लोग बुरे हों. उनका कथन इस संदर्भ और प्रासंगिक हो जाता है कि कैसे संवैधानिक अधिकारों को तबाह करने के लिए नौकरशाही और निचली न्यायपालिका के स्तर पर सामान्य क़ानूनों का उपयोग या दुरुपयोग किया जाता है. लोकसभा से राहुल गांधी की सदस्यता जाना इसी का एक उत्कृष्ट उदाहरण है.
लोकसभा आवास समिति द्वारा कांग्रेस नेता राहुल गांधी को भेजे गए पत्र में उन्हें 22 अप्रैल तक अपना 12 तुग़लक लेन स्थित बंगला ख़ाली करने के लिए कहा गया है. गुजरात की एक अदालत द्वारा ‘मोदी सरनेम’ मानहानि मामले में दो साल की सज़ा सुनाए जाने के बाद बीते 24 मार्च को राहुल गांधी को लोकसभा से अयोग्य घोषित कर दिया गया था.
गुजरात के लोग अशिष्ट, भद्दे और असभ्य बयानों के आदी हो चुके हैं. हमारे लिए यह सब सामान्य हो चुका है. यहां ‘100 करोड़ नी गर्लफ्रेंड’ एक चुटकुला बन जाता है और प्रधानमंत्री मोदी की स्त्रीविरोधी टिप्पणियां उनके ‘सेंस ऑफ ह्यूमर’ के सबूत के तौर पर तालियां बटोरती हैं.
बिलक़ीस बानो के सामूहिक बलात्कार और उनके परिजनों की हत्या के 11 दोषियों को अगस्त 2022 में गुजरात सरकार की क्षमा नीति के तहत रिहा कर दिया गया था. उनमें से एक शैलेश भट्ट भी थे, जो बीते शनिवार को एक सरकारी कार्यक्रम में भाजपा सांसद जसवंतसिंह भाभोर, उनके भाई और भाजपा विधायक शैलेश भाभोर के साथ मंच पर मौजूद थे.
बीते वर्ष अप्रैल में रामनवमी और हनुमान जयंती पर देश के विभिन्न राज्यों में सांप्रदायिक झड़प के मामले देखे गए थे. इस संबंध में ‘सिटीजंस एंड लॉयर्स इनिशिएटिव’ द्वारा द्वारा तैयार एक रिपोर्ट बताती है कि इन घटनाओं में समानताएं पाई गई हैं कि अल्पसंख्यक समुदाय के ख़िलाफ़ हिंसा को अंजाम देने के लिए कैसे धार्मिक आयोजनों का इस्तेमाल किया गया.
वीडियो: बीते 23 मार्च को सूरत की एक अदालत ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी को साल 2019 के ‘मोदी सरनेम’ मानहानि मामले में दो साल की सज़ा सुनाई थी, जिसके बाद उनकी संसद सदस्यता रद्द कर दी गई है.
वीडियो: ‘मोदी सरनेम’ मानहानि मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद बीते 24 मार्च को कांग्रेस नेता राहुल गांधी को लोकसभा से अयोग्य घोषित कर दिया गया. इस क़दम के ख़िलाफ़ कांग्रेस कार्यकर्ता प्रदर्शन कर रहे हैं.
‘मोदी सरनेम’ मानहानि मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद बीते 24 मार्च को कांग्रेस नेता राहुल गांधी को लोकसभा से अयोग्य घोषित कर दिया गया. अमेरिकी प्रतिनिधि सभा में इंडिया कॉकस के डेमोक्रेट सह-अध्यक्ष रो खन्ना ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से ‘भारतीय लोकतंत्र की ख़ातिर’ इस निर्णय को उलटने का आग्रह किया है.
‘मोदी सरनेम’ मानहानि मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद बीते 24 मार्च को कांग्रेस नेता राहुल गांधी को लोकसभा से अयोग्य घोषित कर दिया गया. इसके ख़िलाफ़ तृणमूल कांग्रेस, सपा, बीआरएस, शिवसेना, राजद, वाम दलों सहित अन्य दलों के नेताओं ने इस तरह के सत्तावादी हमलों का विरोध करने और उन्हें हराने का आग्रह किया है.
गुजरात की भाजपा सरकार ने बीते 21 मार्च को गुजरात विधानसभा में उठाए गए कई सवालों के जवाब में ये आंकड़े प्रस्तुत किए हैं. इस दौरान अमरेली ज़िले में सबसे अधिक 425 परिवार बीपीएल सूची में शामिल किए गए हैं.