एनसीआरबी की रिपोर्ट के अनुसार, मध्य प्रदेश में 2021 में अनुसूचित जाति (एससी) समूहों के लोगों के ख़िलाफ़ अपराध दर सबसे अधिक थी. 2021 में देश में अनुसूचित जाति के ख़िलाफ़ अपराध की 50,900 घटनाएं हुईं. मध्य प्रदेश में यह संख्या 7,214 थी.
केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा ने राज्यसभा में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) की नेता फ़ौज़िया ख़ान के सवाल के जवाब में यह जानकारी दी. उन्होंने महिलाओं के ख़िलाफ़ अपराधों का ब्योरा मांगा था और सरकार से ऐसी घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए उठाए जा रहे क़दमों पर प्रकाश डालने का आग्रह किया था.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के अनुसार, जम्मू कश्मीर में वर्ष 2021 में आपराधिक मामलों का कुल आंकड़ा बढ़कर 31,675 हो गया, जिसमें 27,447 आईपीसी संबंधी अपराध और 4,228 ‘विशेष एवं स्थानीय क़ानून’ संबंधी अपराध शामिल हैं.
वीडियो: बीते दिनों संसद में केंद्र सरकार ने कहा कि उनके पास अलग से मॉब लिंचिंग का कोई आंकड़ा नहीं है. इस मुद्दे पर विशेषज्ञों से बातचीत कि सरकार को क्यों मॉब लिंचिंग के आंकड़े अन्य अपराधों से अलग सामने रखना चाहिए.
तृणमूल कांग्रेस के राज्यसभा सांसद जवाहर सरकार ने पूछा गया था कि देश में भीड़ द्वारा पिछले पांच वर्षों में कितने मुस्लिमों और दलितों पर सार्वजनिक रूप से हमला किया गया या गंभीर रूप से घायल किया गया है, जिनकी इसकी वजह से मौत हो गई. गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने संसद में बताया कि पुलिस और लोक व्यव्यवस्था राज्य के विषय हैं.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों के मुताबिक़, साल 2019 में 9,052 व्यापारियों ने आत्महत्या की थी, जो साल 2020 में 29 फीसदी बढ़कर 11,716 हो गई.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के आंकड़ों के अनुसार, 2020 में देश में 11,396 बच्चों ने आत्महत्या की, जो 2019 के मुकाबले 18 प्रतिशत अधिक है. 18 साल से कम उम्र के बच्चों की आत्महत्या के मुख्य कारण पारिवारिक समस्याएं, प्रेम प्रसंग, बीमारी थे. सबसे अधिक 4,006 बच्चों की आत्महत्या के पीछे वजह पारिवारिक समस्याएं रहीं.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) ने अपनी एक वार्षिक रिपोर्ट में बताया कि 2020 में 2019 की तुलना में आत्महत्या के मामलों में बढ़ोतरी हुई है. 2020 में आत्महत्या के 1,53,052 मामले यानी रोज़ाना औसतन 418 मामले दर्ज किए गए. वर्ष 2019 में इनकी संख्या 1,39,123 थी. केंद्रीय गृह मंत्रालय के तहत काम करने वाले एनसीआरबी ने बताया कि प्रति लाख जनसंख्या में आत्महत्या दर में भी बढ़ोतरी हुई है.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के अनुसार, देश में 2020 में सांप्रदायिक और धार्मिक दंगों के 857 मामले दर्ज किए गए. वर्ष 2019 में ऐसे मामलों की संख्या 438 थी, जबकि 2018 में ऐसे 512 मामले दर्ज किए गए थे.
एनसीआरबी के मुताबिक़, साल 2020 में फेक न्यूज़ के 1,527 मामले रिपोर्ट किए गए, जो साल 2019 में आए 486 और साल 2018 के 280 मामलों की तुलना में काफ़ी अधिक हैं.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) द्वारा जारी आंकड़ों अनुसार, साल 2020 में कोविड नियमों का उल्लंघन करना प्रमुख अपराधों की श्रेणी में रहा. कुल 66,01,285 संज्ञेय अपराध दर्ज किए गए, जिसमें आईपीसी के तहत 42,54,356 मामले और विशेष एवं स्थानीय क़ानून के तहत 23,46,929 मामले दर्ज किए गए.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के आंकड़ों के अनुसार, भारत में साल 2020 में रोज़ाना औसतन 80 हत्याएं और 77 बलात्कार के मामले दर्ज किए गए हैं. प्रतिदिन औसतन 80 हत्याओं के साथ कुल 29,193 लोगों की हत्या की सूचनाएं दर्ज की गईं, जिसमें उत्तर प्रदेश सबसे ऊपर है. इस वर्ष बलात्कार की 28,046 घटनाएं हुईं, जिसमें राजस्थान में सर्वाधिक मामले सामने आए हैं.
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने राजस्थान से बच्चों की तस्करी के संबंध में मिली शिकायत को लेकर कहा कि स्वतंत्रता के 70 साल बाद भी बच्चों के अधिकारों की रक्षा के लिए विभिन्न क़ानूनों और योजनाओं के बावजूद बाल मज़दूरी और बच्चों की तस्करी का जारी रहना राज्य की मशीनरी पर एक बड़ा प्रश्नचिह्न लगाता है.
सामाजिक कार्यकर्ता मेधा पाटकर द्वारा सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में कहा गया कि सबसे ज़्यादा उम्रदराज़ या बुज़ुर्ग क़ैदियों ख़ासकर 70 साल से अधिक उम्र के क़ैदियों के संक्रमित होने का ज़्यादा ख़तरा है. कुछ अपवादों को छोड़कर कुछ राज्यों ने वायरस के घातक प्रभावों के बावजूद वृद्ध क़ैदियों की रिहाई के संबंध में आवश्यक क़दम नहीं उठाए हैं.
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक, 2019 में कुल 139,123 लोगों ने आत्महत्या की है, जिसमें दिहाड़ी मज़दूरों की संख्या लगभग एक चौथाई यानी 32,563 है. इसके बाद गृहिणियों द्वारा आत्महत्या के सर्वाधिक मामले आए हैं. 2019 में 14,019 बेरोज़गारों ने आत्महत्या की थी, जो 2018 की तुलना में 8.37 प्रतिशत अधिक है.