कोर्ट ने सरकार से सवाल किया कि मान लीजिए पुलिस ने चार लोगों के ख़िलाफ़ मजिस्ट्रेट के सामने चार्जशीट दाखिल कर दी है लेकिन आगे की कार्रवाई के लिए सरकार की अनुमति चाहिए, जो नहीं दी गई, तब क़ानूनन मजिस्ट्रेट क्या करे.
शिया नेता बुक्कल नवाब व यशवंत सिंह ने समाजवादी पार्टी और ठाकुर जयवीर सिंह ने बसपा छोड़ी. इनके भाजपा में शामिल होने की अटकलें हैं.
जन गण मन की बात की 91वीं कड़ी में विनोद दुआ गोरखपुर दंगा मामले में योगी आदित्यनाथ को बचाने की यूपी सरकार की कोशिश पर चर्चा कर रहे हैं.
इंसेफलाइटिस से विकलांग मरीजों के इलाज व पुनर्वास लिए बने विभाग के 11 कर्मियों को 27 महीने से नहीं मिला वेतन, तीन चिकित्सकों और स्टेनोग्राफर ने नौकरी छोड़ी.
यूपी में सरकारों ने 2007 में हुए गोरखपुर दंगों में आदित्यनाथ की भूमिका की जांच को अटकाए रखा. हालांकि ऐसे तथ्य हैं, जिनके आधार पर कोर्ट चाहे तो मामले को दोबारा देखा जा सकता है.
विपक्ष के नेता राम गोविंद चौधरी ने कहा कि मार डालेंगे, काट डालेंगे से लेकर डंडा चलेगा जैसे शब्द जब सदन के नेता ही इस्तेमाल करें तो सत्ताधारी दल के बाकी नेताओं से क्या उम्मीद कर सकते हैं.
राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण की रिपोर्ट के अनुसार, एक साल तक के बच्चों की मौतों के मामले में उत्तर प्रदेश पूरे देश में टॉप पर है. बिहार के बाद सबसे ज़्यादा ठिगने बच्चे उत्तर प्रदेश में ही हैं.
उत्तर प्रदेश सरकार ने सदन में बताया, 15 मार्च से नौ मई के बीच प्रदेश में लूट की 799, अपहरण की 2682 और डकैती की 60 वारदातें हुईं.
तांत्रिकों के सान्निध्य में मंत्रियों का जाना और पाप-पुण्य के फेर में पेड़ों पर कुल्हाड़ी चलाना अंधश्रद्धा पर सरकारी मुहर लगाना है.
पूर्व आईपीएस एसआर दारापुरी समेत आठ लोग सोमवार को 'दलित अत्याचार और निदान' विषय पर प्रेस कॉन्फ्रेंस और गोष्ठी करने जा रहे थे, तभी उत्तर प्रदेश पुलिस ने उन्हें गिरफ़्तार कर लिया.
पुलिस अधीक्षक की ओर से जारी विज्ञप्ति में बताया गया है कि महिला जहां गिरी मिली थी, वहां किसी भी प्रकार के एसिड की मौजूदगी नहीं पाई गई है.
इसी प्रदर्शन में 125 किलो का साबुन लेकर शामिल होने आ रहे गुजरात के 45 दलित कार्यकर्ताओं को झांसी स्टेशन पर रविवार शाम पुलिस ने हिरासत में लिया था.
गुजरात से दस ज़िलों के दलित-आदिवासी कार्यकर्ता योगी आदित्यनाथ को महात्मा बुद्ध का संदेश देने आ रहे थे, झांसी में यूपी पुलिस ने उन्हें रोक लिया. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को सवा क्विंटल का साबुन देने आ रहे 45 गुजराती दलित-आदिवासी कार्यकर्ताओं को यूपी पुलिस ने झांसी में रोककर हिरासत में ले लिया. हिरासत में लिए गए लोगों में दलित और आदिवासी समाज के लोग हैं, जिनमें आठ महिलाएं भी हैं. गुजरात के दस ज़िलों के दलित-आदिवासी सामाजिक
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में रहने वाली इस पीड़ित महिला के साथ इससे पहले तीन बार बलात्कार हुआ है और चार बार चेहरे पर तेज़ाब फेंका जा चुका है.
उत्तर प्रदेश के बरेली की घटना, तेज़ संगीत बजाने को लेकर शुरू हुआ था विवाद, पुलिस का कहना है कि मामले की जांच की जा रही है.