केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा एक संसदीय पैनल को उपलब्ध कराए गए आंकड़ों के अनुसार, पिछले पांच वर्षों में सबसे ज़्यादा 2022 में 11,884 कर्मचारियों ने नौकरी छोड़ी है. इस अवधि के दौरान सबसे अधिक नौकरी बीएसएफ से छोड़ी गई.
बीते महीने केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने लोकसभा में बताया था कि देश के केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल और असम राइफल्स में कॉन्स्टेबल/राइफलमैन के पद पर भर्ती में पूर्व अग्निवीरों के लिए 10% रिक्तियों को आरक्षित करने का निर्णय लिया गया है. एक प्रावधान ऊपरी आयु सीमा में छूट और शारीरिक दक्षता परीक्षा से छूट का भी किया गया है.
केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने राज्यसभा को बताया कि देश के सबसे बड़े अर्धसैनिक बल केंद्रीय रिज़र्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) में 29,283, सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) में 19,987 और केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) में 19,475 कर्मियों की कमी है.
विशेष रिपोर्ट: अर्धसैनिक बलों के लगातार दो भर्ती चक्रों- 2015 और 2018 में केंद्र सरकार ने बिना कारण बताए हज़ारों सीटों को खाली छोड़ दिया. रिपोर्टर्स कलेक्टिव की पड़ताल में सामने आया है कि भर्ती की पेचीदा बनाई जा रही प्रक्रिया के कारण हर साल नौकरी के लिए पात्र हज़ारों युवाओं के सपने टूट रहे हैं.
केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने राज्यसभा में बताया कि केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों में सर्वाधिक 29,985 पद सीआरपीएफ में रिक्त हैं, जबकि बीएसएफ में 19,254 और एसएसबी में 11,402 पद ख़ाली हैं. इसके अलावा सीआईएसएफ में 10,918, असम राइफल्स में 9,659 और आईटीबीपी में 3,187 रिक्तियां हैं.
विभिन्न राज्यों में अग्निपथ योजना को लेकर विरोध प्रदर्शनों के बीच केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा है कि लघु संविदा पर सेना में काम करने के बाद 'अग्निवीरों' को सीएपीएफ और असम राइफल्स में भर्ती के लिए दस फीसदी आरक्षण के साथ ऊपरी आयु सीमा में छूट भी दी जाएगी.
केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने लोकसभा में बताया कि पिछले एक दशक में अर्द्धसैनिक बलों के 1,205 जवानों ने आत्महत्या की है, जिनमें सर्वाधिक मामले वर्ष 2021 में आए.
सुरक्षा बलों की कथित गोलीबारी में 14 नागरिकों की मौत के बाद स्थिति को तनावपूर्ण देखते हुए नगालैंड के मोन ज़िले में सीआरपीसी की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू कर दी गई है. नगालैंड पुलिस ने सेना के 21वें पैरा मिलिट्री फ़ोर्स के ख़िलाफ़ प्राथमिकी दर्ज की है. प्राथमिकी में आरोप लगाया गया है कि सुरक्षा बलों ने बिना किसी उकसावे के वाहन पर अंधाधुंध गोलीबारी की जिससे कई ग्रामीणों की मौत हो गई.
नगालैंड में सुरक्षा बलों की कथित गोलीबारी में 14 नागरिकों की मौत पर लोकसभा में बयान देते हुए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि उस शाम एक वाहन उस स्थान पर पहुंचा, सशस्त्र बलों ने उसे रोकने का संकेत दिया, लेकिन वह नहीं रुका, आगे निकलने लगा. वाहन में उग्रवादियों के होने के संदेह में गोलियां चलाई गईं, जिसमें सवार आठ में से छह लोग मारे गए.
मणिपुर के कंगपोकपी ज़िले के चालवा गांव का मामला. बीते तीन जून की देर रात 44 असम राइफल्स के मेजर अपने तीन जवानों के साथ एक ऑपरेशन को अंजाम देने पहुंचे थे. इसी दौरान उन्होंने गांव के एक व्यक्ति को हिरासत में लिया, जो बाद में गोली लगने के कारण घायल अवस्था में मिले. अस्पताल ले जाते वक़्त उनकी मौत हो गई थी.
कई छात्र संगठनों द्वारा प्रदेश के बाहर के असम राइफल्स के पूर्व कर्मचारियों को पंचायत चुनाव की मतदाता सूची में शामिल करने का विरोध किया जा रहा है. चांगलांग ज़िले के विजयनगर में ऐसे ही एक पूर्व कर्मी के पंचायत चुनाव का नामांकन पत्र भरने के ख़िलाफ़ एक छात्र संगठन की अगुवाई वाली भीड़ ने सरकारी दफ़्तरों में आग लगा दी और एक थाने में तोड़फोड़ की.
असम राइफल्स पर पूर्ण नियंत्रण को लेकर केंद्रीय गृह मंत्रालय और रक्षा मंत्रालय के बीच विवाद है. गृह मंत्रालय चाहता है कि उसे पूरा नियंत्रण मिले, लेकिन भारतीय सेना इसके विरोध में है. वर्तमान में पूर्वोत्तर में तैनात असम राइफल्स का प्रशासनिक नियंत्रण गृह मंत्रालय के पास है और ऑपरेशनल कंट्रोल सेना के पास है.
मिज़ोरम के गृह विभाग के अतिरिक्त सचिव रामदीन लियानी ने बताया कि मुख्य सचिव ने 24 अगस्त को केंद्रीय गृह सचिव को दो पत्र लिखकर असम राइफल्स द्वारा स्वतंत्रता दिवस समारोहों का ‘बहिष्कार’ करने तथा कोरोना स्क्रीनिंग प्रोटोकॉलों के कथित उल्लंघन के बारे में जानकारी दी है.
पूर्व-अर्धसैनिक बलों के कल्याण संघों के महासचिव रणबीर सिंह कहते हैं कि सेना के किसी निचले रैंकिंग के सैनिक का वेतन उसी रैंकिंग के सीआरपीएफ सैनिक के वेतन से 50 फीसदी अधिक होता है और इसका असर पेंशन पर भी पड़ता है.
सरकार द्वारा लोकसभा में दिए गए आंकड़ों के मुताबिक, केंद्रीय सैन्य पुलिस बलों में साल 2012-15 के बीच आत्महत्या के सबसे अधिक मामले सीआरपीएफ में देखे गए, जहां 149 जवानों ने आत्महत्या की.