लॉकडाउन: अलग-अलग सड़क हादसों में यूपी और मध्य प्रदेश में आठ प्रवासी मजदूरों की मौत

ऑटोरिक्शा में हरियाणा से बिहार जा रहे दंपति की लखनऊ-आगरा एक्सप्रेसवे पर पर मौत हो गई. मध्य प्रदेश के गुना में टेम्पो पलट जाने से एक व्यक्ति की मौत हो गई और 11 अन्य घायल हो गए. मध्य प्रदेश के बड़वानी में दो हादसों में पांच प्रवासियों की मौत हो गई.

कोरोना कहकर मणिपुरी युवती को पीटने के मामले में हरियाणा सरकार और पुलिस को एनएचआरसी का नोटिस

इससे पहले बीते मार्च महीने में दिल्ली विश्वविद्यालय से एमफिल की पढ़ाई कर रहीं मणिपुर की ही छात्रा को ‘कोरोना’ कहकर उन पर थूका गया था. इसके बाद अप्रैल महीने में मुंबई के सांताक्रूज इलाके में एक बाइक सवार मणिपुर की ही युवती पर थूककर भाग निकला था.

लॉकडाउन: दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश के बाद दिल्ली-हरियाणा सीमा पर प्रतिबंधों में मिलेगी छूट

हरियाणा सरकार ने दिल्ली हाईकोर्ट में हलफनामा दिया है कि सरकार तथा निजी अस्पतालों के डॉक्टरों, नर्सों, पुलिस और अदालत के अधिकारियों समेत ज़रूरी सेवाओं से जुड़े लोगों को ई-पास दिखाने पर दिल्ली-हरियाणा के बीच आवाजाही की अनुमति दी जाएगी.

श्रम संसदीय समिति ने श्रम कानूनों को ‘कमजोर’ किए जाने को लेकर नौ राज्यों से जवाब मांगा

समिति के अध्यक्ष भर्तृहरि महताब ने कहा कि श्रमिकों के अधिकारों की कीमत पर उद्योगों को बढ़ावा नहीं दिया जा सकता है. अंतरराष्ट्रीय श्रम संगठन ने कहा है कि भारत में श्रम कानूनों में हो रहे बदलाव अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप होने चाहिए.

भारत में श्रम कानूनों में हो रहे बदलाव अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप होने चाहिए: आईएलओ

अंतरराष्ट्रीय श्रम संगठन ने कहा कि सरकार, श्रमिक और नियोक्ता संगठनों से जुड़े लोगों के साथ त्रिपक्षीय वार्ता के बाद ही श्रम कानूनों में किसी भी तरह का संशोधन किया जाना चाहिए.

लॉकडाउन: कार की चपेट में आने से पैदल बिहार जा रहे प्रवासी श्रमिक की अंबाला में मौत

इस समूह में चल रहे एक श्रमिक ने बताया कि करीब 12 लोगों ने दो दिन पहले लुधियाना से पैदल ही यात्रा शुरू की थी क्योंकि वे रेलवे की विशेष ट्रेन के लिए पंजीकरण नहीं करा पाए थे.

‘श्रम क़ानून में बदलाव मज़दूरों के अधिकारों से खिलवाड़, उन्हें मालिकों के रहम पर जीना पड़ेगा’

उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश समेत देश के कई राज्य कोरोना महामारी के नाम पर गोपनीय तरीके से कुछ सालों के लिये कई श्रम क़ानूनों को हल्का कर रहे हैं या रोक लगा रहे हैं. राज्यों की दलील है कि इससे निवेश बढ़ेगा, लेकिन विशेषज्ञ कहते हैं कि निवेश श्रम क़ानूनों को ख़त्म करने से नहीं बल्कि बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर और स्किल्ड लेबर से होता है.

श्रमिकों की वापसी के बीच बिहार ने 222 मज़दूरों को राइस मिल में काम करने तेलंगाना भेजा

प्रवासी मज़दूरों के घर लौटने के प्रयासों के बीच बिहार और उत्तर प्रदेश के 1.09 लाख प्रवासियों ने अपने गृह राज्यों से वापस लौटने के लिए हरियाणा सरकार के वेब पोर्टल पर आवेदन किया है.

राज्य सरकारों द्वारा श्रम क़ानूनों में संशोधन को लेकर आठ दलों ने राष्ट्रपति को पत्र लिखा

पत्र के अनुसार, गुजरात, मध्य प्रदेश, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, राजस्थान और पंजाब ने फैक्ट्री अधिनियम में संशोधन के बिना काम की अवधि को आठ घंटे प्रतिदिन से बढ़ाकर 12 घंटे कर दिया है. इससे मजदूरों के मौलिक अधिकार को लेकर गंभीर ख़तरा पैदा हो रहा है.

कोरोना संक्रमित होने के शक में महिला के अंतिम संस्कार के दौरान पुलिस और डॉक्टरों पर पथराव

हरियाणा के अंबाला छावनी के चांदपुरा गांव का मामला. ग्रामीणों का शक था कि महिला की मौत कोविड-19 से हुई है और अंतिम संस्कार करने से इलाके में भी संक्रमण फैल सकता है.

हरियाणा: लॉकडाउन की भारी क़ीमत चुका रहे नूंह के ये ग़रीब परिवार

देशव्यापी लॉकडाउन की अवधि बढ़ने के बाद विभिन्न क्षेत्रों में सड़क किनारे या झुग्गी-बस्तियों में ज़िंदगी बिता रहे लोगों की मुश्किलें भी बढ़ गईं. हरियाणा के नूंह ज़िले के कुछ ऐसे ही मेहनतक़श परिवार केवल समाज के रहम पर दिन गुज़ार रहे हैं.

देश में आशा कार्यकर्ताओं पर हमले जारी, गुजरात में आरोपी गिरफ़्तार

गुजरात के मेहसाणा ज़िले में कोरोना वायरस के लक्षणों को जांचने गई एक आशा कार्यकर्ता से बदसलूकी की गई, वहीं हरियाणा के फरीदाबाद में एनआरसी के लिए डेटा इकट्ठा करने का आरोप लगाते हुए आशा कार्यकर्ताओं की एक टीम के साथ मारपीट की गई.

कोरोना वायरस: पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने ज़मानत पा चुके आरोपियों को रिहा करने का आदेश दिया

पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया है कि कोरोना वायरस के मद्देनज़र जारी किए गए प्रशासनिक दिशानिर्देशों के तहत ही आरोपियों को रिहा किया जाना चाहिए.

लॉकडाउन में पलायन: आठ सौ किलोमीटर, साठ घंटे और दस मज़दूरों का संघर्ष

कोरोना संक्रमण के मद्देनज़र हुए लॉकडाउन के बाद दस मज़दूर हरियाणा के बल्लभगढ़ से उत्तर प्रदेश के देवरिया में अपने घर पहुंचे हैं. 800 किलोमीटर की यह यात्रा उन्होंने तीन दिनों में पैदल, ट्रक, ऑटो और सरकारी बस की मदद से पूरी की.

‘रोजी-रोटी की तलाश में भटकते हुए बंधुआ मजदूर बन गए’

पिछले हफ्ते ह्ययूमन राइट लॉ नेटवर्क, एक्शन एड और नेशनल कैंपेन कमेटी फॉर इरेडिकेशन ऑफ बॉन्डेड लेबर द्वारा हरियाणा के पलवल जिले से छत्तीसगढ़ के 44 बंधुआ मजदूरों को मुक्त कराया गया, जिनमें पांच गर्भवती महिलाएं और कुछ नाबालिग भी शामिल हैं. 20 फरवरी को इन बंधुआ मजदूरों ने दिल्ली के जंतर-मंतर में अपने पुनर्वास और मुक्ति प्रमाणपत्र के लिए प्रदर्शन किया. उनसे संतोषी मरकाम की बातचीत.

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