वन क्षेत्र बढ़ा, लेकिन 10 सालों में 52 बाघ अभयारण्यों का हिस्सा 22.62 वर्ग किलोमीटर घटा: सरकार

केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव द्वारा जारी इंडिया स्टेट ऑफ फॉरेस्ट रिपोर्ट के अनुसार, शेरों को रहने के लिहाज़ से उपयुक्त वन क्षेत्र में पिछले 10 वर्षों के दौरान 33.43 वर्ग किलोमीटर की कमी आई है. हालांकि रिपोर्ट में कहा गया है कि देश के कुल वन क्षेत्र में साल 2019 के मुक़ाबले 2,261 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि दर्ज की गई है.

पर्यावरण मंत्रालय का अनुमानित बजट तीन साल में सबसे कम, 900 करोड़ अतिरिक्त फंड की ज़रूरत: समिति

राज्यसभा सांसद जयराम रमेश की अध्यक्षता वाली पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी संबंधी संसदीय स्थायी समिति ने कहा कि पर्यावरण मंत्रालय के बजट में 35 फीसदी की कटौती की गई. इसके साथ ही पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के बजटीय आवंटन में 770 करोड़ रुपये या 37 फीसदी की कमी दर्ज की गई है.

पर्यावरण बजट आवंटन में कटौती से साफ है कि सरकार पर्यावरण को लेकर गंभीर नहीं: विशेषज्ञ

सोमवार को पेश आम बजट में पर्यावरण मंत्रालय को बजटीय आवंटन में 230 करोड़ रुपये की कटौती की गई है. पर्यावरण के लिए काम करने वाले कार्यकर्ताओं का कहना है कि इससे पर्यावरण से जुड़े कई कार्यक्रम बाधित हो सकते हैं या उनकी रफ्तार घट सकती है.

नए संसद के निर्माण के लिए सुप्रीम कोर्ट ने सेंट्रल विस्टा परियोजना को दी हरी झंडी

सुप्रीम कोर्ट की तीन सदस्यीय पीठ ने 2:1 के बहुमत के फैसले में कहा कि सेंट्रल विस्टा परियोजना के लिए जो पर्यावरण मंज़ूरी दी गई है तथा भूमि उपयोग में परिवर्तन के लिए जो अधिसूचना जारी की गई है, वे वैध हैं.

प्रधानमंत्री मोदी ने भूमि पूजन कर नए संसद भवन का शिलान्यास किया

बीते सात दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट ने सरकार को सिर्फ़ सेंट्रल विस्टा परियोजना के तहत नए संसद भवन के आधारशिला कार्यक्रम के आयोजन की अनुमति इस शर्त पर दी थी कि परियोजना को चुनौती देने वाली याचिकाओं का निपटारा होने तक निर्माण कार्य या इमारतों को गिराने जैसा कोई काम नहीं किया जाएगा.

सेंट्रल विस्टा: काम शुरू न करने की शर्त पर केंद्र को सिर्फ़ शिलान्यास की मिली मंज़ूरी

सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट के तहत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 10 दिसंबर को नए संसद भवन की आधारशिला रखेंगे. सुप्रीम कोर्ट ने सरकार इस शर्त पर शिलान्यास की अनुमति दी कि सेंट्रल विस्टा परियोजना को चुनौती देने वाली याचिकाओं का निपटारा होने तक निर्माण कार्य या इमारतों को गिराने जैसा कोई काम नहीं किया जाएगा.

दिसंबर में नए संसद भवन का निर्माण कार्य शुरू होगा और अक्टूबर 2022 में पूरा होगा

सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट के तहत नए संसद भवन का निर्माण मौजूदा इमारत के नज़दीक ही किया जाएगा. इस परियोजना का विभिन्न स्तरों पर विरोध भी हो रहा है. परियोजना को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती भी दी गई थी, बीते मई महीने में शीर्ष अदालत ने इस पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था.

सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट: नए संसद भवन के निर्माण का टेंडर टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड को मिला

सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट के तहत नए संसद भवन का निर्माण मौजूदा इमारत के नज़दीक ही किया जाएगा. इसके 21 महीनों में पूरा होने की उम्मीद है. इस प्रोजेक्ट को लेकर पर्यावरणविदों द्वारा लगातार चिंता व्यक्त की गई है.

क्या देश को वाकई एक नए संसद भवन की ज़रूरत है

संसद भवन एक जीवित विरासत स्थल है, जो आज़ाद भारत के कई ऐतिहासिक पलों का साक्षी रहा है. एक समृद्ध ऐतिहासिक इमारत को किनारे कर एक नए संसद भवन के निर्माण की योजना समझ से बाहर है.

पुरानी संसद असुरक्षित, समुचित जगह नहीं, इसलिए सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट की ज़रूरत: केंद्र

केंद्र द्वारा सुप्रीम कोर्ट में दायर किए गए हलफनामे में कहा गया है कि मौजूदा इमारत में सुरक्षा संबंधी कई समस्याएं हैं और साल 2026 में सांसदों की संख्या बढ़ने के बाद अतिरिक्त जगह की ज़रूरत होगी इसलिए इस प्रोजेक्ट की ज़रूरत है.

सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट के काम पर रोक लगाने से सुप्रीम कोर्ट का इनकार

मोदी सरकार के महत्वाकांक्षी सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट को लेकर याचिकाकर्ता ने कहा है कि यह मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित होने के बावजूद विभिन्न अथॉरिटीज़ प्रोजेक्ट से जुड़ी निर्माण गतिविधियों के लिए सहमति दे रहे हैं, इसलिए इससे संबंधी किसी भी मंज़ूरी पर रोक लगानी चाहिए.

सेंट्रल विस्टा: पर्यावरण मंत्रालय की समिति की नए संसद भवन के नवीकरण को मंज़ूरी देने की सिफ़ारिश

नया संसद भवन केंद्र सरकार की सेंट्रल विस्टा परियोजना का एक हिस्सा है, जिसमें 922 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत पर मौजूदा संरचना से सटे भूखंड पर एक नया परिसर बनाना शामिल है.

जावड़ेकर के बयान पर डब्ल्यूएचओ ने कहा, प्रदूषण की वजह से स्वास्थ्य पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ता है

केंद्रीय पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने बीते शुक्रवार को संसद में कहा था कि किसी भी भारतीय अध्ययन से नहीं दिखता कि प्रदूषण का लोगों के जीवन और स्वास्थ्य पर असर पड़ता है.

उपग्रह से निगरानी के बावजूद जंगल में आग लगने की घटनाओं में तीन गुना की बढ़ोतरी: सरकार

पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक पिछले तीन साल के दौरान जंगल में आग लगने की घटनाओं में सर्वाधिक बढ़ोतरी ओडिशा और आंध्र प्रदेश में हुई है. उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल, राजस्थान और मणिपुर में भी जंगल में आग लगने की घटनाएं बढ़ी हैं.

वायु प्रदूषण के कारण मौत होने की पुष्टि करने वाले आंकड़े उपलब्ध नहीं: पर्यावरण मंत्री सुप्रियो

बाबुल सुप्रियो ने राज्यसभा में बताया कि देश में ऐसे कोई निर्णायक आंकड़े उपलब्ध नहीं हैं, जिससे केवल प्रदूषण के कारण मृत्यु अथवा बीमारी का प्रत्यक्ष संबंध स्थापित हो. वायु प्रदूषण सांस और इससे संबंधित रोगों को प्रभावित करने वाले कई कारकों में से एक है.