आज की तारीख़ में कांवड़ शिवत्व नहीं हिंदुत्व से ओतप्रोत हैं

कुछ साल पहले दिल्ली में कांवड़िए तिरंगा लेकर चलने लगे. वह त्रिलोक के स्वामी शिव का राष्ट्रवादीकरण था. तब से अब तक काफ़ी तरक्की हो गई है. यह शिवभक्तों की ही नहीं, उनके आराध्य की भी राष्ट्रवाद से हिंदुत्व तक की यात्रा है.

गोरखपुर: 1857 विद्रोह के नायक बंधू सिंह से जुड़ा तरकुलहा मंदिर, जहां है बलि चढ़ाने की परंपरा 

उत्तर प्रदेश के गोरखपुर ज़िले में तरकुलहा देवी का एक प्रसिद्ध मंदिर है. जनश्रुति है कि 1857 विद्रोह के नायक डुमरी रियासत के बाबू बंधू सिंह इसी स्थान से अंग्रेज़ों के ख़िलाफ़ गुरिल्ला संघर्ष छेड़े हुए थे. उन्होंने वर्तमान मंदिर के पास अंग्रेज़ों के सिर चढ़ाकर बलि की जो परंपरा शुरू की थी वह आज भी जारी है. ज़िले की सरकारी वेबसाइट के अनुसार, यह देश का इकलौता मंदिर है, जहां प्रसाद के रूप में मटन दिया जाता हैं.

नालंदा: धर्मों की खींचातानी के बीच माड़ी की मस्जिद को सहेजते इन हिंदुओं का धर्म मानवता है

नालंदा ज़िले के बेन ब्लॉक की कांट पंचायत के माड़ी गांव में क़रीब 200 साल पुरानी मस्जिद की देखरेख बीते कई बरसों से इस गांव की हिंदू आबादी के ज़िम्मे है. देश के धार्मिक दबंगई के माहौल में एक दूसरे की आस्था और विश्वास को बनाए रखने वाले इन ग्रामीणों में सूफ़ी और भक्ति परंपराओं की दुर्लभ तस्वीर नज़र आती है.

राजनीतिक अवसरवाद के लिए लोगों को बांटा जा रहा है: अमर्त्य सेन

नोबेल पुरस्कार से सम्मानित अर्थशास्त्री अमर्त्य सेन ने इस बात पर भी अफ़सोस जताया कि राजनीतिक कारणों से लोगों को क़ैद करने की औपनिवेशिक प्रथा भारत को आज़ादी मिलने के दशकों बाद भी जारी है. उन्होंने कहा कि राजनीतिक अवसरवाद के कारण हिंदुओं और मुसलमानों के सह-अस्तित्व में दरार पैदा की जा रही है.

आज न कोई कबीर नज़र आता है, न किसी नए पीटर ब्रुक की आहट सुनाई देती है…

कभी-कभार | अशोक वाजपेयी: पीटर ब्रुक ने पिछली शताब्दी के उत्तरार्द्ध में विश्व रंगमंच पर महाकाव्यात्मक दृष्टि का एक तरह से पुनर्वास किया. शेक्सपियर, अत्तार, महाभारत आदि सभी नाटक उनके लिए मनुष्य के संघर्ष, व्यथा-यंत्रणा, हर्ष-विषाद, उल्लास और उदासी, सार्थकता और व्यर्थता, उत्कर्ष और पराजय आदि की कथा कहने जैसे थे.

क्या एक फिल्म के पोस्टर से ‘आहत’ हुए लोगों की वास्तव में काली में आस्था है

एक स्त्री निर्देशक जब काली की छवि को अपनी बात कहने के लिए चुनती है तो वह लैंगिक न्याय और स्वतंत्रता में उसकी आस्था का प्रतीक है. क्या इंटरनेट पर आग उगल रहे तमाम ‘आस्थावान’ स्त्री स्वतंत्रता के इस उन्मुक्त चित्रण से भयभीत हो गए हैं? या उन्हें काली की स्वतंत्रता के पक्ष में स्त्रियों का बोलना असहज कर रहा है?

नए हिंदू राष्ट्र में आराध्यों को भी बहुसंख्यकों के हिसाब से अपना शुद्धिकरण करना होगा!

कहा जाता है कि मनुष्य अपनी छवि में अपने देवताओं को गढ़ता है. अज्ञेय ने लिखा है कि अगर आदमी की शक्ल घोड़े की होती तो उसके देवता भी अश्वमुख होते. इसलिए यदि वह शाकाहारी है तो उसके आराध्य को भी शाकाहारी होना होगा और दूषित आदतें छोड़नी होंगी.

कर्नाटक: दो समुदायों के बीच झड़प के बाद केरुर शहर में निषेधाज्ञा, 18 लोग हिरासत में

कर्नाटक के बगलकोट ज़िले के केरुर शहर में छेड़खानी को लेकर दो समुदायों के बीच हिंसक झड़प हो गई थी. इस दौरान आगज़नी और तोड़फोड़ शुरू हो गई, जिससे शहर का मुख्य बाजार क्षेत्र बंद करना पड़ा.

दिल्ली: 62 वर्षीय पुजारी की पीट-पीटकर हत्या

घटना उत्तरी दिल्ली के सोनिया विहार क्षेत्र की है. पुलिस ने बताया कि आरोपी के ख़िलाफ़ आईपीसी की धारा 302 के तहत मामला दर्ज किया गया है. एक अधिकारी ने कहा कि प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि आरोपी का मानसिक स्वास्थ्य ठीक नहीं है और वह पुजारी को पहले से जानता था.

झारखंड: डायन होने के संदेह में शख़्स ने अपनी रिश्तेदार की हत्या की

झारखंड के पश्चिमी सिंहभूम जिले के मंझारी थाना क्षेत्र का मामला है, जहां एक व्यक्ति ने डायन होने के संदेह में कुछ लोगों के साथ मिलकर अपनी 45 वर्षीय चाची की हत्या कर शव को जंगल में छुपा दिया. पुलिस ने बताया कि आरोपियों की तलाश की जा रही है.

एमपी: विवाहेतर संबंध के शक में आदिवासी महिला को पीटा; कंधे पर पति को बैठाकर गांव में घुमाया

मध्य प्रदेश के देवास ज़िले का मामला है. विवाहित आदिवासी महिला के किसी और से संबंध होने के शक में ग्रामीणों के एक समूह ने उनके कंधे पर उनके पति को बैठाया और फिर उनकी पिटाई करते हुए पूरे गांव में जुलूस निकाला. महिला के कपड़े भी फाड़ दिए गए और उनके साथ दुर्व्यवहार किया गया. महिला के पति सहित 11 नामज़द लोगों और कुछ अज्ञात लोगों के ख़िलाफ़ मामला दर्ज किया गया है. अब तक 12 लोग गिरफ़्तार किए

यूपी: अख़बार में मांस लपेटकर बेचने के आरोप में गिरफ़्तार शख़्स पर हत्या के प्रयास का आरोप लगाया

मामला संभल का है, जहां चिकन की दुकान के मालिक तालिब हुसैन को देवी-देवताओं के चित्र वाले अख़बार में चिकन लपेटने पर धार्मिक भावनाएं आहत करने के आरोप में गिरफ़्तार किया गया. पुलिस का दावा है कि हुसैन ने गिरफ़्तार करने गई टीम पर चाकू से हमला किया, वहीं उनके वकील ने कहा कि उन्हें फंसाया जा रहा है.

झारखंड: जादू-टोना करने के संदेह में 70 वर्षीय महिला की पीट-पीट कर हत्या

झारखंड के गढ़वा जिले के चिनियां थाना क्षेत्र का मामला. जादू-टोना करने के संदेह में किसी व्यक्ति की हत्या कर देना राज्य में एक बड़ी सामाजिक बुराई है. राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के अनुसार, ऐसे मामलों में 2001 और 2020 के बीच कुल 590 लोगों की मौत हुई, जिनमें ज़्यादातर महिलाएं थीं.

क्या हम असल में हत्या की संस्कृति के विरुद्ध हैं या सिर्फ़ अपने लिए हत्या का अधिकार चाहते हैं

उदयपुर की हत्या की वीभत्सता, नृशंसता को हम इतना भी अजनबी न मानें. यह हमारे समाज का स्वभाव है. पर क्या इस हत्या पर हमारा ध्यान इसलिए टिका हुआ है कि मारा जाने वाला कौन है और उसे मारा किसने है?

मध्य प्रदेश: ज़मीन विवाद को लेकर आदिवासी महिला को ज़िंदा जलाया, पांच गिरफ़्तार

घटना मध्य प्रदेश गुना ज़िले के बमोरी थाना क्षेत्र की है. आरोप है कि आरोपियों ने पीड़ित महिला के परिवार की ज़मीन पर क़ब्ज़ा कर रखा था, जिसे तहसीलदार बमोरी ने मई में ही मुक्त कराकर इस महिला के परिवार को सौंप दिया था. बीते दो जुलाई को महिला इसी खेत में गई हुई थीं, तभी आरोपी पक्ष के लोगों ने उनको खेत में ही जला दिया.

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