पंजाब: बाढ़ पीड़ितों के लिए प्रदर्शन के दौरान पुलिस के लाठीचार्ज करने से किसान की मौत

पंजाब में संगरूर ज़िले के लोंगोवाल का मामला. बीते जुलाई महीने में पंजाब और हरियाणा में बाढ़ आई थी, जिसके परिणामस्वरूप किसानों को भयानक वित्तीय नुकसान हुआ. तब से किसान संगठन बाढ़ प्रभावितों के लिए मुआवज़े की मांग कर रहे हैं. चंडीगढ़ में विरोध प्रदर्शन से पहले कई किसान नेताओं को हिरासत में भी लिया गया है.

वी-20 सम्मेलन की अनुमति से इनकार के बाद आयोजक बोले, हम पुलिस स्टेट बनने के ​क़रीब पहुंच गए हैं

वी-20 शिखर सम्मेलन दिल्ली के एचकेएस सुरजीत भवन में आयोजित किया जा रहा था, जिसका स्वामित्व भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) के पास है. इससे पहले बीते 19 अगस्त पुलिस ने कार्यक्रम को बाधित करने का प्रयास किया था, लेकिन लोगों के विरोध के बाद अंतत: इसे जारी रहने दिया.

जम्मू कश्मीर प्रशासन चुनिंदा तरीके से कश्मीरी कर्मचारियों को नौकरी से निकाल रहा है: महबूबा

पीडीपी अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ़्ती की यह प्रतिक्रिया जम्मू कश्मीर बैंक द्वारा अपने मुख्य प्रबंधक सज्जाद अहमद बज़ाज़ को कथित तौर पर ‘राज्य की सुरक्षा के लिए ख़तरा’ होने के आरोप में बर्ख़ास्त करने के एक दिन बाद आई है.

सीवीसी को गृह मंत्रालय के कर्मचारियों के ख़िलाफ़ भ्रष्टाचार की सर्वाधिक शिकायतें मिलीं

केंद्रीय सतर्कता आयोग की नवीनतम सालाना रिपोर्ट बताती है कि पिछले साल केंद्र सरकार के कर्मचारियों के खिलाफ प्राप्त कुल 1,15,203 शिकायतों में से 46,643 (41%) गृह मंत्रालय के कर्मचारियों के ख़िलाफ़ थीं. इसके बाद रेलवे को इसके कर्मचारियों की 10,580 और बैंकों को 8,129 शिकायतें मिलीं.

मणिपुर हिंसा: कांगपोकपी ज़िले में दो राष्ट्रीय राजमार्गों पर अनिश्चितकालीन नाकाबंदी

कमेटी ऑन ट्राइबल यूनिटी (सीओटीयू) ने मणिपुर के पहाड़ी इलाकों में कुकी-ज़ो समुदायों को आवश्यक वस्तुओं की पर्याप्त आपूर्ति की मांग करते हुए दो राष्ट्रीय राजमार्गों एनएच-2 और एनएच-37 पर नाकाबंदी शुरू कर दी. एनएच-2 इंफाल को नगालैंड के दीमापुर से जोड़ता है और एनएच-37 जो इंफाल को असम के सिलचर से जोड़ता है.

यूपी: व्यापारियों, उद्यमियों के ख़िलाफ़ एफआईआर दर्ज होने से पहले शिकायत की जांच होगी

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आदेश दिया है कि व्यापारियों और उद्यमियों के ख़िलाफ़ एफआईआर दर्ज करने से पहले प्रारंभिक जांच की जाए. कहा गया है कि यह क़दम राज्य में उद्यमियों को आधारहीन एफआईआर के ज़रिये अनुचित दबाव और उत्पीड़न से बचाने के लिए लिया गया है.

यूपी: मुस्लिम नाबालिग की पीट-पीटकर हत्या के आरोप में पांच पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ एफ़आईआर

उत्तर प्रदेश के बरेली ज़िले का मामला. यह घटना बीते 17 अप्रैल को हुई थी. मुस्लिम किशोर की पीट-पीटकर हत्या के आरोप में बिथरी चैनपुर थाने के पांच पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ घटना के चार महीने बाद केस दर्ज किया गया है. किशोर के पिता का आरोप है कि पुलिसकर्मियों ने न सिर्फ़ उनके बेटे के साथ बर्बर तरीके से मारपीट की थी, बल्कि उससे 30 हज़ार से अधिक रुपये भी लूट लिए थे.

जम्मू कश्मीर: सरकार ने ‘द कश्मीर वाला’ की वेबसाइट और सोशल मीडिया अकाउंट पर रोक लगाई

स्वतंत्र मीडिया संस्थान ‘द कश्मीर वाला’ के संस्थापक-संपादक फहद शाह आतंकवाद के आरोप में 18 महीने से जम्मू जेल में बंद हैं, जबकि इसके ट्रेनी पत्रकार सज्जाद गुल भी जनवरी 2022 से जन सुरक्षा अधिनियम के तहत उत्तर प्रदेश में जेल में बंद हैं. संस्थान ने एक बयान में कहा है कि सरकार की इस कार्रवाई के अलावा उन्हें श्रीनगर में अपने मकान मालिक से दफ़्तर ख़ाली करने का नोटिस भी मिला है.

दिल्ली: चर्च में प्रार्थना के दौरान ईसाइयों पर हमला, बाइबिल फाड़ी

घटना ताहिरपुर इलाके के सियोन प्रार्थना भवन में हुई. ईसाई लोगों का आरोप है कि कुछ लोगों ने आकर प्रार्थना रोक दी, वहां मारपीट और तोड़फोड़ की, साथ ही उकसावे वाले नारे लगाए. इसके बाद समुदाय के लोगों द्वारा एफआईआर दर्ज करवाने जाने पर क़रीब सौ लोगों की भीड़ ने कई घंटों तक थाने को घेरकर नारेबाज़ी की.

उत्तर प्रदेश: आवारा मवेशियों के साथ मंत्री का काफ़िला रोकने के आरोप में 90 लोगों के ख़िलाफ़ केस

बीते 17 अगस्त को बरेली ज़िले के आंवला विधानसभा क्षेत्र में आवारा मवेशियों की समस्या से नाराज़ लोगों ने उत्तर प्रदेश के पशुपालन मंत्री धर्मपाल सिंह के क़ाफ़िले को रोक दिया था. मंत्री ने ग्रामीणों को आश्वासन दिया है कि क्षेत्र में ग्राम सभा की ज़मीन चिह्नित कर शीघ्र ही गोशाला स्थापित की जाएगी.

अयोध्या के लोगों को ‘त्रेता की वापसी’ की अभी और कितनी बड़ी क़ीमत चुकानी होगी?

अयोध्या का रंग-रूप बदलकर ‘त्रेता की वापसी’ करा देने के लिए वहां चल रही व्यापक तोड़-फोड़ की आपाधापी और अनियोजित कवायदों से ध्वस्त हुई नागरिक व्यवस्थाओं के चलते कई लोग जान गंवा चुके हैं.

उमर ख़ालिद: एक ज़हीन इतिहासकार, जिसका क़ैद में रहना अकादमिक जगत का नुकसान है

सरकार जिस उमर ख़ालिद उनके मज़हब तक सीमित कर देना चाहती है, पर वो एक गंभीर शोधार्थी हैं, जिनकी पीएचडी का विषय सिंहभूम का आदिवासी समाज हैं. उनकी थीसिस में लिखा गया हर शब्द एक ऐसे शख़्स को हमारे सामने लाता है, जो बेहद गहराई से लोकतंत्र और इसके अभ्यासों के साथ जिरह कर रहा है.

गुजरात: मेहसाणा के एक स्कूल में टॉपर मुस्लिम लड़की को पुरस्कार देने से इनकार

गुजरात के मेहसाणा ज़िले के श्री केटी पटेल स्मृति विद्यालय में कथित तौर पर धर्म के नाम पर भेदभाव का मामला सामने आया है. अर्नाज़बानू के पिता का आरोप है कि 10वीं कक्षा की टॉपर उनकी बेटी को 15 अगस्त के पुरस्कार समारोह में सम्मानित नहीं किया गया. वहीं प्रिंसिपल ने कहा कि छात्रा को 26 जनवरी को उसका पुरस्कार मिलेगा.

महाराष्ट्र: नाबालिग से रेप का मामला उठाने पर विधायक के सहयोगियों ने पत्रकार पर हमला किया

घटना जलगांव ज़िले की है, जहां के पचोरा शहर के एक पत्रकार संदीप महाजन ने आठ वर्षीय लड़की के रेप और हत्या की हालिया घटना के बारे में बनाए गए वीडियो में सीएम एकनाथ शिंदे की आलोचना की थी. इसके कुछ दिन बाद उन पर शिंदे गुट के विधायक किशोर पाटिल के सहयोगियों द्वारा हमला किया गया.