स्वामीनाथन के भीतर एक सर्जनात्मक दृष्टि थी. उनका मूल कर्म आलोचक-दृष्टि को बरतना नहीं, बल्कि सर्जनात्मक कर्म करना था. गीता कपूर को सर्जनात्मक दृष्टि की कोई दरकार या कोई ज़रूरत नहीं थी.
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एक याचिका में दावा किया गया है कि इलाहाबाद में रसूलाबाद से संगम तक आठ किलोमीटर के क्षेत्र में 50 नालों से गंगा नदी में सीवेज गिर रहा है. एनजीटी का कहना है कि यदि नदी में सीवेज रोकने के लिए कोई प्रभावी कदम नहीं उठाया गया तो महाकुंभ में आने वाले लोगों का स्वास्थ्य प्रभावित होगा.
बाबा साहेब आंबेडकर ने कहा था कि अधिकारों को केवल क़ानून में लिख देने से उनकी रक्षा सुनिश्चित नहीं होती, समाज की सामूहिक नैतिक और सामाजिक चेतना ही इन अधिकारों को जीवन देती है. आज 'नए भारत' में रोज़ संवैधानिक अधिकारों पर हो रहे हमले इसी को लेकर चेता रहे हैं.
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे और संबित पात्रा ने आरोप लगाया है कि जॉर्ज सोरोस, खोजी पत्रकारों का अंतरराष्ट्रीय संगठन ओसीसीआरपी और राहुल गांधी एक साथ मिलकर देश की संसद न चलने देने और मोदी सरकार को गिराने की साज़िश रच रहे हैं.
राज्यसभा में केंद्र ने बताया है कि जुलाई, 2024 में छत्तीसगढ़ सरकार से मिली जानकारी के अनुसार, परसा ईस्ट केते बासन खदान में अब तक 94,460 पेड़ काटे गए हैं और आने वाले वर्षों में खनन गतिविधियों के लिए इस जंगल में 2,73,757 पेड़ काटे जाने हैं.
अयोध्या की सभा असत्य और अधर्म की नींव पर निर्मित हुई है, क्योंकि जिसे इसके दरबारीगण सत्य की विजय कहते हैं, वह दरअसल छल और बल से उपजी है. अदालत के निर्णय का हवाला देते हुए ये दरबारी भूल जाते हैं कि इसी अदालत ने छह दिसंबर के अयोध्या-कांड को अपराध क़रार दिया था.
बहुत कम लोगों को मालूम है कि आंबेडकर की अर्थशास्त्र पर भी गहरी पकड़ थी. लंदन स्कूल ऑफ इकोनोमिक्स से उनकी थीसिस भारतीय आर्थिक इतिहास और मुद्रा नीति को समझने में मदद करती है. इस पुस्तक ने स्वतंत्र भारत की वित्तीय नींव तैयार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी.